Sunday, May 18, 2025
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डॉ. नेहा शर्मा भाजपा प्रदेश मीडिया प्रभारी महिला मोर्चा नियुक्त

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देहरादून, फिक्की फ्लो उत्तराखंड चैप्टर के सदस्यों ने डॉ. नेहा शर्मा को भाजपा प्रदेश मीडिया प्रभारी महिला मोर्चा नियुक्त होने पर भाजपा प्रदेश अध्यक्षा महिला मोर्चा श्रीमती आशा नौटियाल का आभार जताया और डॉ. नेहा शर्मा को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं दी।

इस अवसर पर फिक्की फ्लो उत्तराखंड चैप्टर की अध्यक्ष डॉ. नेहा शर्मा और नव नियुक्त भाजपा प्रदेश मीडिया प्रभारी महिला मोर्चा ने सबका धन्यवाद प्रेषित करते हुए कहा प्रदेश अध्यक्षा महिला मोर्चा श्रीमती आशा नौटियाल जी के नेतृत्व में भाजपा प्रदेश महिला मोर्चा, महिलाओं को सशक्त बनाने में अपना अहम योगदान देगा और उनके उत्थान के लिए सहयोग करेगा।
प्रदेश की विकास यात्रा में महिलाएं स्वरोजगार से अहम भूमिका निभा रही हैं, आपके नेतृत्व में हम मिलकर महिलाओं के लिए सुरक्षित और प्रभावी समाज बनाने का प्रयास करेंगे। प्रदेश की महिला उद्यमियों , महिला स्वयं सहायता समूहों और प्रदेश के विभिन्न एनजीओ से जुड़ी महिलाओं को आत्मनिर्भर, आर्थिक और सामाजिक रूप से सशक्त बनाने में भाजपा प्रदेश महिला मोर्चा आगे बढ़ चढ़ कर कार्य करेगी और पार्टी की नीतियों और उद्देश्य को प्रदेश की महिलाओं तक पहुँचाने पूर्ण प्रयास करेगी।

भारत जोड़ो यात्रा : नफरत के बाजार में मोहब्बत का पैगाम लाया हूं : राहुल गांधी

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अलवर/देहरादून, कांग्रेस की भारत जोड़ो भारत जोड़ो यात्रा के अलवर पहुंचने पर उत्तराखण्ड़ से कई नेता और विधायक भी शामिल हुये, अलवर के बुर्जा गांव से लोहिया का तिजारा मोदी गढ़ तक की पद यात्रा में चकराता विधायक पूर्व नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह, विधानसभा प्रतापनगर के विधायक विक्रम सिंह नेगी एवं जसपुर के विधायक आदेश चौहान एवं द्वाराहाट के विधायक मदन बिष्ट ने कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष सांसद राहुल गांधी संग पदयात्रा में शामिल हुए ।

विशाल जन सभा को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा कि नफरत के बाजार में मोहब्बत का पैगाम लाया हूं । पदयात्रा से उत्साहित चकराता विधायक प्रीतम सिंह ने कहा कि भारत जोड़ो यात्रा सम्पूर्ण देश में राष्ट्रीय एकता एवम अखंडता का संदेश देता है जिसमें यात्रा के माध्यम से समूचे भारतवासियों को हम सब एक है और कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक भारत एकजुट है और हममें आपसी प्यार मोहब्बत भाई चारा है । उन्होंने कहा कि राहुल गांधी उस परिवार से आते हैं जिन्होंने देश को त्याग और बलिदान दिया है। भारत जोड़ो यात्रा के माध्यम से राहुल गांधी कई सौ किलोमीटर चल कर लोगो को गले लगा रहे है ये उनकी नफरत से जंग और मोहब्बत का संदेश दे रहा है जिसमे अपार जन सैलाब उमड़ रहा है ।

विधायक विक्रम सिंह नेगी ने कहा कि केंद्र सरकार मूलभूत समस्याओं से ध्यान भटकाने की कोशिश कर रही है और ज्वलंत मुद्दों देश में स्वास्थ्य शिक्षा बेरोजगारी महंगाई विकराल रूप ले रही है युवाओं किसानों मजदूरों के हितों पर कुठाराघात हो रहा है । राहुल जी ने त्याग तपस्या करके अपने पांवों में पड़े छालों के बावजूद लोगों को स्नेह प्यार के बंधन में जोड़ने का काम कर रहे हैं और मोहब्बत का संदेश दे रहे हैं ।
पदयात्रा में पूर्व विधायक विजयपाल सजवान राजकुमार प्रदेश कांग्रेस के महामंत्री राजेंद्र शाह, महेश जोशी, गौरव चौधरी संजय किशोर हिमांशु चौहान भरत शर्मा सुनीत राठौर समेत आदि ने पदयात्रा में शिरकत की ।

उत्तराखंड़ के समसामयिक सवालों पर बनी गढवाली फिल्म ‘मेरु गौं’

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‘मेरू गौं’ आज भी अपने वजूद के लिये संघर्ष कर रहा, राज्य बना सरकारें सत्तासीन हुई पर ‘मेरू गौं ‘ गमगीन पीड़ा में धंसता चला गया, आखिर क्यों…? प्रश्न आज भी चोट कर रहा है नीति नियंताओं पर..! क्या इन बीस वर्षो में पहाड़ी की पीड़ा कम हुई, बस इसी आयने को दिखाने का एक सार्थक प्रयास है “मेरू गौं”

आखिर ‘मेरू गौं’ क्यों..?

इसी माह 2 दिसंबर से दून के सिल्वर सिटी में ‘गंगोत्री फिल्मस’ के बैनर पर सुप्रसिद्ध रंगकर्मी और फिल्म निर्माता राकेश गौड़ की नई फिल्म ‘मेरु गौं’ ने उत्तराखण्ड के समसामयिक सवालों को उठाने की दिशा में महत्वपूर्ण काम किया है, लगातार गढ़वाली दर्शकों में अपनी पकड़ बना रही यह फिल्म ऐसे समय पर रिलीज हो रही है, जब देश में सरकारी तौर पर आजादी के 75 साल पूरे होने पर ‘अमृत महोत्सव’ मनाया जा रहा है, उत्तराखंड राज्य को बने भी 23 साल हो गये हैं, इन दोनों कालखंडों का महत्व और इस फिल्म का संदर्भ यह है कि आजादी के आंदोलन में उत्तराखंड के क्षेत्रीय सवाल राष्ट्रीय आंदोलन से जुड़े. लोगों ने जल, जंगल और जमीन पर अंग्रेज़ी जनविरोधी कानूनों से मूक्ति आजादी के साथ देखी. उन्हें लगता था कि देश आजाद होगा तो वह अपनी तरह की नीतियां बनाकर खुशहाल हो सकते हैं। लेकिन आजादी के कई दशकों बाद भी उनकी आंकाक्षाएं मूर्तरूप नहीं ले पाई। तब पर्वतीय क्षेत्र के आठ जिलों में रहने वाले लोगों को लगा कि उत्तर प्रदेश में रहकर उनके साथ भेदभाव हो रहा है। उन्हें लगा कि जब अपना पृथक पर्वतीय प्रदेश होगा तों हम स्थानीय संसाधनों को सही उपयोग कर नीतियां बनायेंगे। पहाड़ के सही नियोजन कर गांवों की तरक्की भी कर पायेंगे।

चार दशकों के आंदोलन और 42 शहादातों के बाद राज्य मिल गया। अब दो दशक से अधिक का समय बीत गया। समस्यायें वहीं खड़ी हैं, जहां से राज्य की मांग शुरू हुई थी। उत्तराखंड के लोगों की इन्हीं आकांक्षाओं और टूटते सपनों को बहुत तरीके से ‘मेरु गौं’ में रखा गया है। कहानी, विषयवस्तु, गीत-संगीत, अभिनय, फिल्मांकन, तकनीक की दृष्टि से यह फिल्म एक उम्मीद जगाती है कि उन विषयों पर अच्छी रचनात्मक फिल्में बनाई जा सकती हैं जिन्हें ‘मार्केट’ के डर से लोग हाथ लगाने से हिचकिचाते हैं या इस मुहावरे को तोड़ने की कोशिश नहीं करते जिसमें कहा जाता है ‘लोग ऐसा ही देखना चाहते हैं। निर्माता राकेश गौड़ और निर्देशक अनुज जोशी ऐसा कर पायें हैं जिसके लिये वे बधाई के पात्र हैं |

उल्लेखनीय है कि रोकश गौड़ ने कई चर्चित फिल्मों का निर्माण किया है। गौड़ जाने-माने रंगकर्मी हैं। जमीन से जुड़े रहने के कारण बहुत संवेदनशील भी। उनके साथ निर्देशक अनुज जोशी फिल्म के तमाम प्रारूपों की गहरी समझ रखते हैं। उन्होंने कई हिन्दी फिल्मों का सह-निर्देशन किया है। चर्चित टीवी सीरियल ‘कसौटी जिंदगी की’ के लगभग पचास एपेसोड का निर्देशन किया है। उन्होंने पहाड़ के विषयों का गहनता से अध्ययन किया है। उनकी विषय, स्क्रिप्ट, कैमरे, एडिटिंग आदि पर गहरी पकड़ है। इससे पहले वे कई गढ़वाली फिल्मों का निर्माण कर चुके हैं। इनमें उत्तराखंड राज्य आंदोलन पर बनी चर्चित फिल्म ‘तेरी सौं’ है। ‘मेरु गौं’ की कहानी, स्क्रिप्ट और संवाद भी अनुज जोशी ने ही लिखे हैं।

गढवाली फिल्म ‘मेरु गौं’ इन दोनों की समझ और पहाड़ के विषयों को आमजन तक पहुंचाने की मंशा का प्रतिफल है। ‘मेरु गौं’ में उत्तराखंड राज्य बनने के बाद लोगों की आकांक्षाओं पर हुए तुषारापात, नीति-नियंताओं की दृष्टि के अभाव में उपजी निराशा, इनके कारणों और मौजूदा सवालों को बहुत तरीके से संबोधित किया गया है। राज्य बनने के बाद पलायन, रोजगार, परिसीमन, राजधानी, स्थानीय संसाधनों पर अधिकार और विकास की नई परिभाषा से लुटते पहाड़ पर अलग-अलग तरीके से बातचीत की गई है। सबसे अच्छी बात यह है कि इन सब मुद्दों पर भावनात्मक तरीके से नहीं, बल्कि नीतिगत पहलुओं से समझने की कोशिश की है।

पहाड़ की पीड़ा :
एक गांव की पीड़ा और उसके इर्द-गिर्द ही घूमती इस कहानी में उन सभी पात्रों को शामिल किया किया गया है जो एक ग्रामीण, शिक्षक, प्रवासी, स्थानीय स्तर पर अलग-अलग पार्टियों का प्रतिनिधित्व या समर्थन करने वाले हैं। स्वभाविक रूप से उनके विचार भी अलग हैं, फिल्म में उन जिम्मेदार तत्वों को भी इंगित करने की कोशिश है जो किसी न किसी बहाने इन मुद्दों को हाशिए में धकेलते रहे हैं। यह कम साहस का काम नहीं है कि जहां फिल्म निर्माता ऐसी मसालेदार स्टोरी ढूंढने में लगे रहते हैं, जिनसे उनकी फिल्म चल निकले। वहीं परिसीमन जैसे महत्वपूर्ण एवं फिल्म की दृष्टि से नीरस विषय पर जोखिम उठाना प्रशंसनीय है। यह मुद्दा इसलिये भी महत्वपूर्ण है क्योंकि 2026 के बाद होने वाले परिसीमन से उत्तराखंड का राजनीतिक भूगोल पूरी तरह बदलने वाला है। अच्छी कहानी, प्रभावी संवाद, भावपूर्ण अभिनय, आकर्षक फिल्मांकन, ठोस तकनीक, कुशल निर्देशन, अर्थपूर्ण गीत और कर्णप्रिय संगीत लोगों को बांधने में सफल रहा । उत्तराखंड के सभी जान-पहचाने कलाकारों से सुसज्जित पूरी फिल्म लोगों को पसंद आ रही | बधाई के पात्र हैं अनुज जोशी, राकेश गौड़, मदन डुकलान, गोकुल पंवार, गंभीर ज्याड़ा, सुमन गौड़, अभिषेक मैंदोला और फिल्म में अपना साकार योगदान देने वाले सभी कलाकार |
इसके साथ एक अपील भी ‘मेरू गौं’ गढ़वाली फिल्म अवश्य देंखे और विचार करें आखिर क्यों…? जरूरत महसूस हुई फिल्म बनाने की |May be an image of 3 people and people standing

महानिदेशक शिक्षा ने ली समीक्षा बैठक : स्कूलों में अतिरिक्त कक्षाएं चलाने के दिए निर्देश

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हल्द्वानी – महानिदेशक शिक्षा बंशीधर तिवारी ने मंगलवार को राजकीय बालिका इण्टर कालेज, हल्द्वानी में कुमाऊं मण्डल के अपर निदेशक माध्यमिक, प्रारम्भिक के साथ ही समस्त शिक्षाधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की।
उन्होंने कुमाऊ मण्डल के समस्त शिक्षा अधिकारियों को निर्देशित किया कि एनएएस (नेशनल एचीवमेंट सर्वे) के लिए स्कूलों मे अतिरिक्त कक्षा चलाई जाए तथा कक्षा 3 से कक्षा 8 तक विज्ञान विषय को अंग्रेजी मे करने से आ रही परेशानियों को देखते हुये विस्तृत समीक्षा की। महानिदेशक  तिवारी ने शिक्षाधिकारियों को कहा कि सभी शिक्षकों प्रेरित करेें कि बच्चों की अतिरिक्त कक्षाओं को लगाया जाए जिससे बच्चों मे शिक्षा का स्तर बेहतर होगा। इसके लिए शिक्षकों को अतिरिक्त प्रोत्साहन भी दिया जायेगा। उन्होंने समीक्षा में बैठक में कहा कि सप्ताह में अभी तक एक दिन दूध मिलता था आने वाले नए साल से बच्चों को सप्ताह में 2 दिन दूध मिलेगा।
उन्होंने कहा गुरू द्वारा जो शिक्षा दी जाती है वह हमारेे जीवन के लिए सर्वश्रेष्ठ होती है। इसके लिए गुरूओं को निस्वार्थ भावना और पूर्ण समर्पण से अपने विचारों को बच्चों तक पहुचाना उनका कर्तत्य है। उन्होंने कहा बच्चों के लिए आने वाले बोर्ड परीक्षा के लिए अभ्यास जरूरी है। जब तक बच्चे पूर्व के प्रश्न पत्रों का अभ्यास करेंगे तो वे परीक्षा में बेहतर परिणाम दे सकते हैं!इसके लिए शिक्षकों को बच्चों को अधिक से अधिक अभ्यास करना होगा। अभ्यास से ही बच्चों की राइटिंग अच्छी बनेगी वही उनका मानसिक स्तर भी सुधरेगा।
श्री तिवारी ने सभी शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिये कि जिन विद्यालयों में किचन गार्डन स्थापित है उन किंचन गार्डनों पर केले के पेड लगाये जांए । महानिदेशक श्री तिवारी ने सभी शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिये कि कॉलेजों मे प्री0मेडिकल एवं प्री0 इंजीनियरिंग की तैयारी सम्पूर्ण जनपदों के मे कराई जाए। उन्होंने कहा कि सरकार का लक्ष्य है कि 2025 तक राज्य के समस्त विद्यालयों के भवनों को सुदृढ़ किया जाए इसके लिए सभी शिक्षाधिकारी अपने-अपने स्कूलों के भवनों की अद्यतन स्थिति से अवगत करायें।
उन्होंने जिलाशिक्षा अधिकारियों को निर्देशित किया कि एक माह के भीतर सभी जनपद बालवाटिका के लक्ष्यों को पूर्ण करें। उधमसिहं नगर में 50, नैनीताल में 30, चम्पावत में 8 पिथौरागढ में 15 व अल्मोडा में 40 बालवाटिकायें बनाई जानी है।
इस अवसर पर अपर निदेशक माध्यमिक लीलाधर व्यास, अजय नौडियाल, मुख्य शिक्षा अधिकारी अशोक जुकरिया, गजेन्द्र, सत्यनारायण, जितेन्द्र सक्सेना, रमेश चन्द्र आर्य जिला शिक्षा अधिकारी एचबी चन्द्र के साथ ही शिक्षा महकमे के अधिकारी उपस्थित थे।

 

हल्द्वानी में सम्पन्न हुआ श्रमजीवी पत्रकार युनियन का कुमायूं सम्मेलन,सूचना निदेशक बंशीधर तिवारी ने की शिरकत

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हल्द्वानी – श्रमजीवी पत्रकार यूनियन द्वारा आयोजित कुमाऊं सम्मेलन का प्रदेश के सूचना महानिदेशक बंशीधर तिवारी श्रमजीवी पत्रकार यूनियन के प्रदेश महामंत्री विश्वजीत नेगी प्रदेश उपाध्यक्ष तारा जोशी जिला अध्यक्ष सर्वेंद्र बिष्ट ने दीप प्रज्वलित कर शुभारंभ किया। इस मौके पर सूचना महानिदेशक के समक्ष कुमाऊं व गढ़वाल के विभिन्न जिलों से आए पत्रकारों ने अपनी अपनी समस्याओं को रखा जिस पर सूचना महानिदेशक द्वारा जल्द कार्रवाई का आश्वासन दिया गया।सम्मेलन में श्रमजीवी पत्रकार यूनियन के प्रदेश महामंत्री विश्वजीत नेगी ने कई पदाधिकारियों के दायित्व की घोषणा भी की जिनका सभी पत्रकारों ने ध्वनि मत के साथ स्वागत किया।इस दौरान चमोली से वरिष्ठ पत्रकार पुष्कर चौधरी,चम्पावत से विनय वर्मा को श्रमजीवी पत्रकार युनियन का जिलाध्यक्ष घोषित किया गया,जबकि युवा वरिष्ठ पत्रकार पंकज मैंदोली को पौडी जनपद का प्रभारी नियुक्त किया हैं।

हल्द्वानी के रुद्राक्ष बैंकट हॉल में आयोजित एक दिवसीय श्रमजीवी पत्रकार यूनियन कुमाऊं सम्मेलन का विधिवत शुभारंभ दीप प्रज्वलित कर किया गया कार्यक्रम के शुभारंभ के साथ ही पत्रकार के साथ संवाद सम्मेलन की शुरुआत करते हुए पौड़ी चमोली अल्मोड़ा उधम सिंह नगर तथा विभिन्न जिलों से आए पत्रकारों ने सूचना महानिदेशक के समक्ष मान्यता समिति की बैठक का कैलेंडर जारी करने। मान्यता दिए जाने में शिथिलीकरण बरतने, पत्रकारों को सरकारी अतिथि गृह में निशुल्क कक्ष दिए जाने और राज्य स्तर पर वृहद और प्रत्येक जिले स्तर पर भी पत्रकार कल्याण कोष बनाए जाने सहित कई समस्याओं को उठाया। जिस पर एक-एक कर सूचना महानिदेशक बंशीधर तिवारी ने त्वरित निस्तारण किए जाने का आश्वासन दिया। पत्रकारों को संबोधित करते हुए सूचना महानिदेशक बंशीधर तिवारी ने कहा कि सूचना विभाग और पत्रकारों का चोली दामन का साथ है, और उनके समक्ष उठाई गई समस्याएं और दिए गए सुझाव को वह अमल में लाने का पूरा प्रयास करेंगे साथ ही पत्रकारों को दी जाने वाली मान्यता की नियमावली को लेकर अध्ययन किया जाएगा यदि शिथिलीकरण आवश्यक होगा तो शिथिलीकरण की व्यवस्था भी की जाएगी इसके अलावा डिजिटल मीडिया को लेकर भी जल्द पॉलिसी लाई जा रही है साथ ही पत्रकार कल्याण कोष और विभिन्न परेशानी से जूझ रहे पत्रकारों के मदद के लिए भी सूचना विभाग आवश्यक कदम उठाएगा। कार्यक्रम में प्रदेश महामंत्री विश्वजीत नेगी ने कई जिलों के जिला अध्यक्ष और प्रदेश सचिव की घोषणा की।May be an image of 4 people and people standing इस मौके पर कुमाऊं संवाद सम्मेलन का आयोजन कर रही नैनीताल जिला इकाई ने सूचना महानिदेशक बंशीधर तिवारी और प्रदेश महामंत्री विश्वजीत नेगी का शॉल व स्मृति चिन्ह देकर स्वागत किया। बैठक में नैनीताल उधम सिंह नगर चंपावत अल्मोड़ा बागेश्वर पिथौरागढ़ चमोली पौड़ी रुद्रप्रयाग और हरिद्वार जिले के भी पत्रकारों ने सहभागिता दी। कार्यक्रम में जिला अध्यक्ष सर्वेन्द्र बिष्ट जिला महामंत्री भूपेंद्र रावत कोषाध्यक्ष हर्ष रावत नगर अध्यक्ष योगेश शर्मा नगर महामंत्री पुष्कर अधिकारी कोषाध्यक्ष भावनाथ पंडित, प्रकाश रावत, लक्ष्मण राणा,हरिप्रसाद पुरोहित,गणेश जोशी, नवीन सक्सेना, विजेंद्र श्रीवास्तव, उधम सिंह नगर के जिला अध्यक्ष राजीव चावला, एएन तिवारी, दिनेश पांडे, गोविंद बिष्ट, योगेश राणा, अरविंद मलिक, मनोज आर्य, दीपक, पंकज, अकरम, शोएब, तथा जिला सूचना अधिकारी ज्योति सुंद्रियाल, सोशल मीडिया स्पेलिंस्ट योगेश मिश्रा, अंकुर शर्मा, सहित दर्जनों पत्रकार मौजूद रहे।

कृषक जागरुकता एवं प्रशिक्षण कार्यक्रम का किया गया आयोजन

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डी पी उनियाल (गजा ) टिहरी वीर चंद्र सिंह गढ़वाली उत्तराखंड औद्यानिक एवं वानिकी विश्वविद्यालय रानीचौरी द्वारा अटल उत्कृष्ट राजकीय इंटर कालेज गजा के प्रांगण में कृषकों को कृषि के प्रति जागरूक करने एवं जैविक खेती व रासायनिक खेती के लाभ हानि विषयक संगोष्ठी का आयोजन किया गया। प्राकृतिक खेती विषय पर आयोजित कार्यक्रम का शुभारंभ विद्यालय के प्रधानाचार्य द्वारिका नाथ,पंतनगर परिसर रानी चौरी के डा अजय कुमार ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्ज्वलित कर किया, कार्यक्रम शुभारंभ करते हुए विद्यालय के प्रधानाचार्य द्वारिका नाथ ने अपने सम्बोधन में कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में इस तरह के जागरुकता अभियान चलाया जाना सराहनीय कार्य है उन्होंने पंतनगर परिसर रानी चौरी से आये बैज्ञानिकों व प्रशिक्षु छात्राओं को धन्यवाद दिया, पंतनगर परिसर रानी चौरी से आये बैज्ञानिकों डा अजय कुमार, शिखा , डा सचिन कुमार, दीक्षा ने विस्तार से प्राकृतिक खेती विषय पर जानकारी दी तथा बताया कि जीवामृत और बीजामृत बनाने की प्रक्रिया कैसे करनी है , परिसर से आयी क़ृषि शोधकर्ता छात्राओं कु. प्रतिक्षा गौड़, मोनिका रौथाण, कोमल तिवारी, आरची प्रीति कौर, अन्नन्या भट्ट,ने नुक्कड़ नाटकों व जन गीतों के माध्यम से किसानों का महत्व समझाया, इस अवसर पर अभिभावक संघ गजा के अध्यक्ष राजेंद्र सिंह खाती ने अपने सम्बोधन में कहा कि जैविक खेती करने से हमें स्वास्थ्य वर्धक अनाज मिलता है जो कि स्थानीय व्यवसाय से ही सम्भव है, उन्होंने उपस्थित लोगों से अपील करते हुए कहा कि परंपरागत बीजों का भंडारण व उपयोग ज़रुरी है ,आज हमारे कई बीजों को संरक्षण नहीं मिल पा रहा है , इंटर कालेज गजा की छात्राओं ने स्वागत गीत प्रस्तुत किया तथा कुमारी शिल्पा चौहान ने किसानों पर एक कविता प्रस्तुत की । जागरुकता एवं प्रशिक्षण कार्यक्रम में कालेज के शिक्षक, शिक्षिकाओं छात्र छात्राओं तथा गांव के लोगों ने भी प्रतिभाग किया, संगोष्ठी में आनन्द सिंह खाती,अमर देव उनियाल, सुभाष चंद्र वैलवाल,विनीत रतूड़ी जयबीर सिंह, उपस्थित रहे ।

ब्रैकिंग : धामी सरकार की कैबिनेट बैठक समाप्त, लिये गये महत्वपूर्ण फैसले, 20 आईटीआई को बनाया जाएगा मॉडल आईटीआई

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देहरादून, उत्तराखंड की आज की बड़ी खबर धामी कैबिनेट की बैठक हुई समाप्त, कैबिनेट बैठक 20 मामले आएं जिन पर कैबिनेट बैठक में हुई चर्चा | बैठक में लिये गये निम्न महत्वपूर्ण फैसले :

सचिवालय प्रशासन के मामले में सचिवालय सुरक्षा सेवा नियमवली क़ो लेकर संसोधन किया गया हैं
गृह विभाग के बंदियों के 15 दिनों का पैरोल अब जिला अधिकारी दें सकेंगे, बीमारी, घर निर्माण के लिए भी पैरोल 12 माह के लिए होगा,
उद्योग विकास 5 सड़कों क़ो मेंटेन कर रहा था अब लोनिवि क़ो हस्ताँतरित किया गया हैं उधमसिंहनगर की हैं सड़के,
यूनिवर्सिटी ऑफ़ इंजिनियरिंग रुड़की का नाम अब कोर यूनिवर्सिटी होगा |
राज्य 20 आईटीआई क़ो मॉडल आईटीआई बनाया जाएगा |
परिवाहन विभाग शहरी इलाकों मे सिटी बसों के मोटर यान कर मे शत प्रतिशत छूट पहाड़ी इलाकों मे 75 प्रतिशत छूट |
निशक्त जनो क़ो स्टाम्प शुल्क में 25 प्रतिशत की छूट का प्रावधान जमीन खरीदने के लिए लेकिन केवल 2 बार ही ये इसका लाभ लें सकेंगे |
रेलवे विभाग की जमीनों क़ो लेकर भी संशोधन किया गया हैं अब उनकी जमीनों मे राज्य के नियम आड़े नहीं आएंगे |
ऊर्जा विभाग की नई नवीन जल विधुत नीति हुई प्रख्यापित |
पर्यटन विभाग मास्टर प्लान अब INI संस्था जागेश्वर और महासू देवता का मास्टर प्लान तैयार किया जाएगा |
विधानसभा का सत्रअवसन की अनुमति दे दी गई है |
कैबिनेट मे लोजिस्टिक पालिसी लाई गई ware हॉउस के निर्माण क़ो लेकर समेत तमाम बुनियादी सुविधाओं क़ो लेकर नीति आई,
उत्तराखंड कैबिनेट के मुख्य बिंदु:
सचिवालय सुरक्षा प्रशासन की सेवा नियमावली संशोधन को मिली मंजूरी |
उत्तराखंड में कैदियों को पैरोल लिए जाने का अधिकार जिलाधिकारी को दिया गया |
औद्योगिक विकास विभाग के तहत सिडकुल की पांच सड़कों के निर्माण के लिए पीडब्ल्यूडी को दिया गया |
यूनिवर्सिटी ऑफ इंजीनियरिंग टेक्नोलॉजी रुड़की के नाम को बदलने पर लगी मुहर |
केदारनाथ-बदरीनाथ के मास्टर प्लान की तर्ज पर ही जागेश्वर और महासू देवता का भी प्लान किया जाएगा तैयार |
उत्तराखंड लॉजिस्टिक नियमावली को मिली मंजूरी |
उत्तराखंड परिवहन परिवर्तन कर्मचारी सेवा नियमावली के संशोधन प्रस्ताव को मिली मंजूरी |
राजस्व परिषद के सेवा नियमावली का किया गया गठन |
सेवा नियमावली 2022 को प्रख्यापित करने की मंजूरी |
नवीन जल विद्युत नीति को मिली मंजूरी |
विधानसभा सत्र के सत्रावसान को मंत्रिमंडल की मंजूरी |

1 जनवरी से बदल जाएंगे बैंक के ये नियम, जानें क्या होगा आप पर असर

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आपने बैंक लॉकर लिया हुआ है या लेने की योजना बना रहे हैं तो यह खबर आपके काम की है। अलगे साल की पहली तारीख यानी एक जनवरी 2023 (New Year) से लॉकर से जुड़े कई नियम बदलने वाले हैं।

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के संशोधित अधिसूचना के अनुसार बैंक लॉकर के मामले में मनमानी नहीं कर सकेंगे और ग्राहक को नुकसान होने की स्थिति में अपनी जिम्मेदारी से मुकर नहीं सकेंगे।

एसबीआई और पीएनबी समेत अन्य बैंकों ने ग्राहकों को एसएमएस के जरिये नए नियमों की जानकारी देनी शुरू कर दी है। बैंक एक 1 जनवरी 2023 तक मौजूदा लॉकर ग्राहकों के साथ अपने लॉकर करार (एग्रीमेंट) का नवीनीकरण करेंगे। उल्लेखनीय है कि बैंक लॉकर करार नीति के तहत किसी ग्राहक को लॉकर आवंटित करते समय बैंक उस ग्राहक के साथ करार करता है, जिसके बाद लॉकर की सुविधा प्रदान की जाती है। विधिवत मुहर लगे कागज पर दोनों पक्षों द्वारा हस्ताक्षरित लॉकर समझौते की एक प्रति लॉकर किराएदार को उसके अधिकारों और जिम्मेदारियों को जानने के लिए दी जाती है। जबकि, करार की मूल प्रति बैंक की उस शाखा के पास रहता है जहां लॉकर की सुविधा ग्राहक को दी गई होती है।

आरबीआई ने कहा कि बैंकों को खाली लॉकरों की सूची और लॉकर की प्रतीक्षा सूची संख्या दिखानी होगी। साथ ही, बैंक के पास अधिकतम तीन साल की अवधि के लिए लॉकर का किराया एक बार में लेने का अधिकार होगा है। उदाहरण के लिए, यदि लॉकर का किराया 1,500 रुपये है, तो बैंक को अन्य रखरखाव शुल्कों को छोड़कर आप से 4,500 रुपये से अधिक शुल्क नहीं ले सकते हैं।

अनुचित शर्त नहीं जोड़ पाएंगे बैंक

रिजर्व बैंक के संशोधित निर्देश अधिसूचना के अनुसार बैंक यह सुनिश्चित करेंगे कि उनके लॉकर करार में कोई अनुचित नियम या शर्तें शामिल नहीं हैं। आरबीआई ने ग्राहकों के हितों की सुरक्षा के लिए ऐसा किया है क्योंकि कई बार बैंक शर्तों का हवाला देकर अपनी जिम्मेदारियों से मुकर जाते हैं। इसके अलावा बैंक के हितों की रक्षा के लिए अनुबंध की शर्तें आवश्यकता से अधिक कठिन नहीं होंगी।

शुल्क में भी बदलाव

एसबीआई के मुताबिक बैंक लॉकर का शुल्क क्षेत्र और लॉकर के आकार के आधार पर 500 रुपये से लेकर तीन हजार रुपये तक है। बड़े शहर और महानगरों में बैंक छोटे, मध्यम, बड़े और अतिरिक्त बड़े आकार के लॉकरों के लिए दो हजार रुपये, चार हजार रुपये, आठ हजार रुपये और 12,000 रुपये सालाना शुल्क लेते हैं। वहीं अर्ध-शहरी और ग्रामीण स्थानों में बैंक छोटे, मध्यम, बड़े और अतिरिक्त बड़े आकार के लॉकरों के लिए 1,500 रुपये, तीन हजार रुपये, छह हजार रुपये और नौ हजार रुपये शुल्क लेता है।

एसएमएस और ईमेल से सूचना देना अनिवार्य

अनाधिकृत तौर पर लॉकर खोले जाने की स्थिति में, दिन खत्म होने से पहले बैंकों को ग्राहकों के पंजीकृत मोबाइल ई-मेल पर उसकी तारीख, समय और कुछ जरूरी कदम की जानकारी देनी अनिवार्य होगी। आरबीआई ने दिशानिर्देश में यह भी कहा है कि लॉकर की नई व्यवस्था की जानकारी हर ग्राहक को एसएमएस के माध्यम से भी दी जानी अनिवार्य है जिससे ग्राहक पहले से जागरूक रहें। इसके अलावा जब भी आप लॉकर का उपयोग करेंगे, आपको बैंक के जरिये ई-मेल और एसएमएस के माध्यम से सतर्क किया जाएगा।

सामान खराब होने पर बैंक होंगे जिम्मेदार

सामान्य तौर पर, बैंक अक्सर यह कहते हुए चोरी के मामलों से बच निकलते हैं कि लॉकर के अंदर रखे किसी भी सामान के लिए बैंक जिम्मेदार नहीं हैं। जैसा कि बैंक जवाबदेही से इनकार करते हैं, ग्राहक कानूनी लड़ाई लड़ने के लिए बाध्य होते हैं। जनवरी 2022 के बाद बैंक लॉकर से सामान के खराब होने या नुकसान होने की स्थिति में बैंक अपनी देनदारी से नहीं बच पाएंगे। भारतीय रिजर्व बैंक यानी RBI के नए स्टैंडर्ड के मुताबिक, अगर बैंक की लापरवाही की वजह से लॉकर के किसी सामान का कोई नुकसान होता है, तो बैंक को ग्राहकों को इसकी भरपाई करनी होगी।

आरबीआई के नोटिफिकेशन में कहा गया है कि यह बैंकों की जिम्मेदारी है कि वह अपने यहां सुरक्षा को देखते हुए सभी कदम उठाएं. नोटिफिकेशन के मुताबिक, यह सुनिश्चित करना बैंकों की जिम्मेदारी है कि बैंक में किसी कमी या लापरवाही की वजह से आग, चोरी, डकैती जैसे मामले नहीं हो।

यह बदलाव भी हुए

नए नियमों के मुताबिक, अगर लॉकर का मालिक किसी को नॉमिनी बनाता है तो बैंकों को उसे सामान निकालने की मंजूरी देनी होगी।
अगर किसी प्राकृतिक आपदा जैसे भूकंप, बाढ़, तूफान आदि से लॉकर के सामान को नुकसान पहुंचता है, तो बैंक की उसके लिए भरपाई करने की कोई जिम्मेदारी नहीं होगी
ग्राहक की खुद की गलती या लापरवाही से भी अगर नुकसान होता है, तो बैंक ग्राहकों को कोई पैसा नहीं देंगे

बीजेपी प्रदेश कार्यालय में कृषि मंत्री गणेश जोशी का चैयरमैन बनने पर हुआ भव्य स्वागत

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“पार्टी पाधिकारियों कार्यकर्ताओं ने मंत्री जोशी के COSAMB का चैयरमैन बनने पर खूब आतिशबाजी कर मनाया जश्न”

देहरादून, उत्तराखंड सरकार में कृषि मंत्री गणेश जोशी को भारत सरकार द्वारा काउंसिल ऑफ स्टेट एग्रीकल्चर मार्केटिंग बोर्ड (COSAMB) के चैयरमैन का सौंपा है। सोमवार को भाजपा प्रदेश कार्यालय में कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी का (COSAMB) के चैयरमैन बनने पर भाजपा के पाधिकारियों कार्यकर्ताओं ने स्वागत एवं अभिनंदन समारोह का आयोजन किया गया। जिसमे भारी संख्या में पहुंचे पार्टी कार्यकर्ताओं ने मंत्री गणेश जोशी का भव्य स्वागत एवं अभिनंदन किया।
कार्यक्रम में कार्यकर्ताओं ने खूब जमकर आतिशबाजी कर एक दूसरे को मिठाईयां खिलाकर कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी का भव्य स्वागत किया। स्वागत एवं अभिनंदन समारोह में मुख्यमंत्री के प्रतिनिधि के रूप में कैबिनेट मंत्री प्रेम चंद्र अग्रवाल ने कार्यक्रम में प्रतिभाग कर मंत्री गणेश जोशी को राज्य कृषि विपणन बोर्डों की राष्ट्रीय परिषद का चैयरमैन बनने पर बधाई एवं शुभकामनाएं दी।
इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने सबसे पहले केंद्रीय नेतृत्व का आभार व्यक्त किया और कहा जो जिम्मदारी उन्हें सौंपी गई है, वह बखूबी से निर्वहन करेंगे। इसके साथ ही उन्होंने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का भी आभार व्यक्त किया। मंत्री जोशी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की परिकल्पना के अनुसार प्रदेश में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में राज्य के समग्र विकास के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे है। मंत्री जोशी ने कहा प्रदेश सरकार एक विजन के साथ कार्य कर रही है। मंत्री ने कहा हमारा संकल्प है कि जब राज्य वर्ष का हो तो हम किसानों की आय दोगुनी और अपने उत्पादों को दुगना करेंगे। मंत्री जोशी ने कहा मुझे राज्य कृषि विपणन बोर्डों की राष्ट्रीय परिषद का चैयरमैन बनाया गया, यह मेरा सौभाग्य है, उसका लाभ देश एवं प्रदेश के हित में देंगे। मंत्री जोशी ने कहा कि हमारा प्रयास होगा कि देशभर की जितनी भी मंडिया है उनको आधुनिक रूप में विकसित कर अधिक से अधिक लाभ किसान भाइयों को मिले और आम जनता को भी सुविधा हो, इस दिशा में कार्य किए जायेंगे।
इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री प्रेम चंद्र अग्रवाल, विधायक खजान दास, प्रदेश महामंत्री आदित्य कोठारी, महानगर अध्यक्ष सिद्धार्थ अग्रवाल, प्रदेश उपाध्यक्ष नीरु देवी, आदित्य चौहान, मनवीर चौहान, नेहा जोशी, मेयर सुनील उनियाल गामा, मेयर अनीता ममगाई, पूनम नौटियाल, सुरेन्द्र राणा, निरंजन डोभाल, सिकंदर सिंह, वीजेंद्र थपलियाल, दीपक पुंडीर, बीर सिंह सहित हज़ारो कार्यकर्ता उपस्थित रहे।

“बीजेपी कार्यकर्ताओं के साथ-साथ संतगणों, पूर्व सैनिक, वकीलो ने भी बीजेपी कार्यालय पहुँचकर मंत्री को बधाई दी। टपकेश्वर महादेव मंदिर से भरत गिरी, पूर्व जीओसी जनरल सम्मी सभरवाल और देहरादून बार एसोसीयेसन के अध्यक्ष मनमोहन कंडवाल भी बधाई देने पहुँचे। बीजेपी प्रदेश मंत्री आदित्य चौहान के नेतृत्व में युवाओं ने आतिशबाजी कर मंत्री का विशेष स्वागत किया। बीजेपी प्रदेश मंत्री महिला मोर्चा कमली भट्ट के साथ मातृशक्ति की टीम ने भी मंत्री को बधाई दी।”

प्रदेश के 2000 छात्र छात्राओं को 150 टीचर कैरियर गुरु की ट्रेनिंग देंगे: शिक्षा मंत्री डॉ धन सिंह रावत

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देहरादून। शिक्षा मंत्री डॉक्टर धन सिंह रावत ने कहा है कि दसवीं और बारहवीं कक्षाओं के बाद विद्यार्थियों को विभिन्न क्षेत्रों में जाने के लिए तमन्ना एप्टिट्यूड टेस्ट से 150 शिक्षकों द्वारा 2000 बच्चों को करियर काउंसलिंग दी जाएगी।

शिक्षा मंत्री ने सोमवार को नवोदय विद्यालय रायपुर देहरादून की वर्चुअल स्टूडियो में द करियर गुरु प्रोग्राम के उद्घाटन अवसर पर कहा कि अभी प्रदेश में 2000 बच्चों को इससे जोड़ा जाएगा। एनसीईआरटी के माध्यम से तमन्ना एप्टिट्यूड टेस्ट पूरे देश भर में और राज्य में करवाए जा रहे हैं। जिसके माध्यम से छात्र-छात्राएं यह तय कर पाएंगे कि उन्हें किस दिशा में आगे बढ़ना है । उन्होंने कहा कि आठवीं कक्षा के बाद विद्यार्थी वोकेशनल कोर्स चुन सकते हैं जिसको लेकर 400 स्कूलों में वोकेशनल क्लासेज शुरू की जा रही है। स्नातक के पश्चात विद्यार्थी चॉइस आधारित विषय चुन सकते हैं, अर्थात साइंस, सांख्यिकी और कला संकाय के विषयों को चुन सकते हैं।

शिक्षा मंत्री डॉ रावत ने कहा कि अब जल्द ही गुजरात सरकार की तर्ज पर उत्तराखंड में भी विद्या समीक्षा केंद्र बनाए जा रहे हैं। विद्या समीक्षा केंद्र के द्वारा शिक्षक और छात्र छात्राओं के पठन-पाठन की जानकारी आसानी से उपलब्ध हो पाएगी। कक्षा में शिक्षक किस प्रकार छात्र छात्राओं को पढ़ा रहे हैं और बच्चा कैसे शिक्षा ग्रहण कर रहा है, ट्रांसफर एवं प्रमोशन सब ऑनलाइन हो जाएंगे।

शिक्षा मंत्री धनसिंह रावत ने कहा कि उत्तराखंड के 40 लाख छात्र छात्राओं की हेल्थ आईडी बनाने का कार्य चल रहा है। हेल्थ आईडी के माध्यम से बच्चे का पूरा मेडिकल रिकॉर्ड ऑनलाइन हो जाएगा। हर स्कूलों में स्वास्थ्य विभाग की टीम आकर यह हेल्थ आईडी बनाने जा रही है । हेल्थ आईडी बनने के बाद ऑनलाइन चिकित्सक की परामर्श ले पाएंगे।

शिक्षा मंत्री ने कहा कि प्रदेश में शैक्षिक गुणवत्ता के लिए राज्य सरकार द्वारा हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि वे स्वयं 200 स्कूलों का निरीक्षण कर चुके हैं। सरकार प्राइमरी स्कूलों को ₹5000 खेल सामग्री और ₹5000 पुस्तकालय के लिए दिए जा रहे हैं। जूनियर हाई स्कूल को ₹10000 और इंटरमीडिएट को ₹20000 दिए जा रहे हैं। शासकीय स्कूलों के साथ अब अशासकीय स्कूलों को भी ड्रेस जूते और किताबें मुफ्त सरकार देने जा रही है।

सचिव श्री बीवीआरसी पुरुषोत्तम ने शेवनिंग एलुमनाई फण्ड से इस प्रोजेक्ट के लिए 05 लाख रुपए की धनराशि प्रदान की। उन्होंने कहा कि आसरा ट्रस्ट विगत 13 वर्षों से देहरादून की सड़कों, मलिन बस्तियों तथा समाज के सबसे वंचित बच्चों के उत्थान के लिए कार्य कर रहा है। आसरा ट्रस्ट बच्चों की शिक्षा के साथ-साथ कौशल विकास, पोषण, चिकित्सा तथा निराश्रित बच्चों के लिए आश्रय गृह का संचालन करता है। उन्होंने कहा इसी दिशा में आसरा ट्रस्ट, प्रदेश के 10वी 12वी कक्षा के छात्र एवं छात्राओं के सही प्रकार से करियर चयन हेतु मार्गदर्शन करने
शेवनिंग एलुमनाई फण्ड द्वारा वित्तपोषित “द करियर गुरु कार्यक्रम का संचालन करने जा रहा है।

इस अवसर पर शिक्षा महानिदेशक श्री बंशीधर तिवारी ने कहा कि बोर्ड परीक्षाओं में टॉप मेरिट लिस्ट में राजकीय विद्यालयों के बच्चों का नाम अवश्य आना चाहिए। इसके लिए उन्होंने प्रदेश के सभी ऑनलाइन जुड़े अध्यापकों से कहा कि बच्चों को पढ़ाने के साथ ही प्रैक्टिस पेपर नियमित करवाएं।

इस अवसर पर आसरा ट्रस्ट की चेयरमैन शाहिला ब्रजनाथ ने कहा कि इस कार्यक्रम के अंतर्गत करियर काउंसलिंग प्रदान करने वाली संस्था “आई ड्रीम करियर के माध्यम से उत्तराखंड के राजकीय माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षकों को तमन्ना एप्टीट्यूड टेस्ट एवं करियर काउंसलिंग द्वारा छात्र एवं छात्राओं के मार्गदर्शन के लिए प्रशिक्षण दिया जायेगा । शिक्षक अपने विद्यालयों के छात्र एवं छात्राओं के साथ तमन्ना एप्टीट्यूड टेस्ट का प्रयोग करेंगे। इसके उपरांत परीक्षा के रिपोर्ट एवं छात्र छात्राओं के रुझान के अनुसार उनका मार्गदर्शन भी किया जायेगा।

मुख्यमंत्री ने शिकायतकर्ताओं एवं हेल्पलाइन 1905 पर स्वयं वार्ता कर परखी व्यवस्थायें

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देहरादून। मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने सीएम हेल्पलाइन 1905 पर प्राप्त होने वाली शिकायतों का निर्धारित अवधि में निस्तारण के निर्देश दिये हैं। यह पोर्टल औपचारिक नहीं बल्कि जन समस्याओं के समाधान का कारगर माध्यम बने, सभी विभागीय अधिकारियों को यह सुनिश्चित करना होगा। उन्होंने प्रत्येक 15 दिन में हेल्पलाइन पर प्राप्त होने वाली शिकायतों की शासन स्तर पर समीक्षा करने के भी निर्देश दिये हैं। मुख्यमंत्री प्रति सप्ताह सभी जनपदों के कुछ शिकायतकर्ताओं से भी वार्ता कर शिकायतों के क्रियान्वयन का फीडबैक लेंगे।

मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को सचिवालय स्थित वीर चंद्र सिंह गढ़वाली सभागार में सीएम हेल्पलाइन 1905 में प्राप्त शिकायतों एवं उनके निस्तारण की व्यवस्थाओं की समीक्षा की। समीक्षा बैठक में अपर मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी के साथ सभी प्रमुख सचिव, सचिव, विभागाध्यक्ष एवं वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जिलाधिकारी एवं अन्य अधिकारी मौजूद रहे। सचिव श्री शैलेश बगोली एवं अपर सचिव श्री जगदीश काण्डपाल द्वारा प्रस्तुतिकरण के माध्यम से इससे सम्बन्धित व्यवस्थाओं एवं प्रक्रियाओं की जानकारी प्रस्तुत की गई।

मुख्यमंत्री ने कहा कि सीएम हेल्पलाइन 1905 आम जन की सुविधा तथा जरूरतमंद लोगों की समस्याओं के त्वरित समाधान के लिये बनाया गया है। उन्होंने कहा कि शिकायतकर्ता की संतुष्टि हमारा उद्देश्य है। लोगों की संतुष्टि के लिये यदि इसमें कुछ सुधार की जरूरत हो तो वह भी की जानी चाहिए।

मुख्यमंत्री ने बैठक में ऊधमसिंह नगर के शिकायतकर्ता श्री सुनील तथा रूद्रप्रयाग के श्री वीरेन्द्र सिंह से वार्ता कर जानकारी भी प्राप्त की यही नहीं मुख्यमंत्री ने हेल्पलाइन 1905 पर फोन कर कंट्रोल रूम की व्यवस्थाओं को भी परखा। उन्होंने इस व्यवस्था से जुड़े कार्मिकों को भी और अधिक प्रशिक्षित किये जाने की भी जरूरत बतायी।

मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि शिकायतकर्ता की संतुष्टि ही समस्या का समाधान माना जाना चाहिए। उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिये कि आगामी 10 दिनों में लम्बित समस्याओं के समाधान का प्रयास किये जाएं। उन्होंने यह व्यवस्था बनाने को भी कहा कि शिकायतकर्ता को उनकी शिकायतों पर की गई कार्यवाही की भी जानकारी समय पर उन्हें उपलब्ध करायी जाय।

उन्होंने कहा कि इस योजना की जानकारी अधिक से अधिक लोगों को हो यह भी देखा जाना चाहिए। उन्होंने जन समस्याओं का समाधान ई ऑफिस के माध्यम से किये जाने की भी बात कही।

मुख्यमंत्री ने सभी सचिवों, विभागाध्यक्षों एवं जिलाधिकारियों से भी नियमित रूप से प्राप्त शिकायतों की समीक्षा तथा शिकायतकर्ताओं से संवाद करने को कहा। इससे लोगों में शिकायतों के प्रति संतुष्टि का स्तर बढ़ेगा तथा उन्हें तथ्यों की सही जानकारी भी प्राप्त होगी।

मुख्यमंत्री ने इस प्रक्रिया के तहत बेहतर तथा औसत कार्य करने वाले विभागों के चिन्हीकरण के भी निर्देश दिये ताकि इस दिशा में किये जा रहे प्रयासों की वस्तुस्थिति भी सामने आ सके।