Thursday, May 15, 2025
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देहरादून : गिरफ्तार हुआ करोड़ों की डकैती मामले में मुख्य आरोपी सुरेश जाटव उर्फ मिश्रा

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‘दून पुलिस की एसओजी की टीम ने मेरठ से किया गिरफ्तार’

देहरादून, उत्तराखंड के देहरादून में करोड़ों की डकैती मामले में देहरादून पुलिस ने मुख्य आरोपी सुरेश जाटव उर्फ मिश्रा को पुलिस की एसओजी की टीम ने गिरफ्तार कर लिया है, देहरादून में अभिमन्यु क्रिकेट अकेडमी के मालिक आरपी ईश्वरन के घर 22 सितम्बर 2019 में हुई डकैती के मामले में एसओजी (स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप) ने अंतिम नौवां आरोपी भी गिरफ्तार कर लिया। आरोपी के पास से बड़ी मात्रा में लूटे गए जेवरात बरामद हुए हैं।

आरोपी मेरठ का हिस्ट्रीशीटर है और उसके खिलाफ पहले से ही डकैती और लूट के 30 मुकदमे दर्ज हैं। पुलिस बदमाश की कस्टडी रिमांड मांगेगी ताकि अन्य चीजें भी बरामद की जा सकें, आरोपी को मेरठ के टीपी नगर से गिरफ्तार किया है, आरोपी के खिलाफ दिल्ली, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में 30 से ज्यादा मुक़दमे दर्ज हैं | पुलिस ने आरोपी से लाखों की कीमत के सोने चांदी के आभूषण बरामद किए हैं |
आरोपी इतना शातिर है कि इसका वास्तविक नाम और पता किसी को भी मालूम नहीं था | मुख्य आरोपी सुरेश जाटव जो कि अपना नाम बदलकर 1 साल से फरार चल रहा था उसको राजपुर पुलिस ने मेरठ से गिरफ्तार किया है |

 

पुलिस ने किया चौंकाने वाला खुलासा
एसएसपी देहरादून अरुण मोहन जोशी ने बताया कि 22 सितम्बर 2019 को देहरादून के मशहूर चार्टर्ड एकाउंटेंट आरपी ईश्वरन के घर डकै़ती की घटना को आरोपियों ने अंजाम दिया गया था, मामले में 8 आरोपी पहले ही गिरफ्तार किए जा चुके हैं. घटना के बाद से यह मुख्य आरोपी सुरेश जाटव गायब चल रहा था, जो कि टीपी नगर मेरठ में अपने ही घर में तयखाना बनाकर पिछले एक साल से रह रहा था |

हनीवैल एवं सीड्स ने 15 से अधिक सरकारी स्कूलों का जीर्णोद्धार किया और उन्हें उत्तराखंड के मुख्यमंत्री को सौंपा

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– हनीवैल से प्राप्त निधि के साथ, सीड्स इंडिया ने देहरादून और हरिद्वार में राज्य सरकार के 15 सरकार स्कूलों का जीर्णोद्धार, मरम्मत और विस्तारण किया है

देहरादून,  हनीवैल सेफ स्कूल कार्यक्रम के हिस्से के तौर पर, एक प्रमुख फॉर्च्यून 100 टेक्नोलॉजी कंपनी, हनीवैल, और एक प्रमुख गैर-लाभकारी संस्थान, सस्टेनेबल एनवायरनमेंट और इकोलॉजिकल डिवेलपमेंट सोसाइटी (सीड्स) ने देहरादून और हरिद्वार में राज्य सरकार के 15 के स्कूलों का जीर्णोद्धार, मरम्मत और विस्तारण किया और उन्हें उत्तराखंड के माननीय मुख्यमंत्री श्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को सौंप दिया। हनीवैल सेफ स्कूल एक अग्रणी स्कूल सुरक्षा कार्यक्रम है, जो इस क्षेत्र में बहुराष्ट्रीय कंपनी के कॉर्पोरेट सामाजिक दायित्व (सी.एस.आर.) प्रयासों का एक हिस्सा है।

 

हालाँकि, चल रही महामारी के दौरान स्कूल बंद रखे गए हैं, जिससे नियमित सी.एस.आर. आउटरीच कार्यक्रम बाधित हुआ है, हनीवैल और सीड्स ने छात्रों और शिक्षकों के स्कूल में वापस लौटने पर उनके लिए स्कूल के आधारभूत ढाँचे को सुरक्षित बनाने पर ध्यान दिया हैं।

 

सीड्स ने मरम्मत, विस्तारण और नवीनिकरण के जरिए स्कूल की इन इमारतों के ढाँचों को मजबूत करने के लिए आर्किटेक्ट्स और इंजीनियरों को काम पर लगाया था। पढ़ने-लिखने के वातावरण को ज्ञानवर्धक, आकर्षक, आरामदायक और विकलांगों के अनुकूल बनाने के लिए विशेषज्ञों को भी लाया गया था। जीर्णोद्धार की प्रक्रिया के जरिए एक ऐसा वातावरण बनाने पर ध्यान दिया जो न केवल सीखने को प्रोत्साहित करता है बल्कि बड़े पैमाने पर समाज के लोगों को आपस में जोड़ता है।

 

इस अवसर पर उत्तराखंड के माननीय मुख्यमंत्री, त्रिवेंद्र सिंह रावतने कहा, “हमारे राज्य को बेहतरीन शिक्षा प्रदान करने वाले स्कूलों और शैक्षणिक संस्थानों के लिए जाना जाता है। मैं हनीवैल और सीड्स (ैम्म्क्ै) का अभिनंदन करता हूं जिन्होंने हमारे छात्रों और शिक्षकों के लिए एक सुरक्षित माहौल के निर्माण का बीड़ा उठाया है। वर्तमान की सुरक्षा सुनिश्चित करके ही भविष्य को सुरक्षित बनाया जा सकता है! मैं हनीवैल सेफ स्कूल्स कार्यक्रम के माध्यम से सीड्स (ैम्म्क्ै) द्वारा शुरू की गई इस पहल की सराहना करता हूं, साथ ही मैं इस कार्यक्रम की प्रगति में हमारी ओर से निरंतर समर्थन का आश्वासन भी देता हूं।

 

हनीवैल सेफ स्कूल कार्यक्रम शुरू करने से पहले, सीड्स ने इन 100 स्कूलों पर एक आधार स्तर का सर्वेक्षण किया था, जिससे यह पता चला कि लगभग 40 प्रतिशत स्कूलों के भवनों को भूस्खलन, भूकंप और बाढ़ से उत्पन्न होनेवाले संरचनात्मक खतरों का सामना करना पड़ता है। संरचनात्मक नवीनिकरण का उद्देश्य इन जोखिमों को कम करना होता है।

डॉ. मनु गुप्ता, सह-संस्थापक, सीड्स ने कहा, “सीड्स में हम शिक्षा, स्वास्थ्य, आपदा से उबरना, प्रतिक्रिया और तैयारियाँ करने के क्षेत्र में व्यापक हस्तक्षेप के जरिए हालातों के अनुसार ढल सकने वाले समुदायों के निर्माण पर जोर देते हैं। हनीवैल सेफ स्कूल कार्यक्रम के तहत, हम स्कूल में एक सुरक्षित, अनुकूल वातावरण का निर्माण करते हैं जो छात्रों को और अधिक जानकारी प्राप्त करने के लिए प्रोत्साहित करेगा, जिससे वे भविष्य के परिवर्तन के सूत्रधार बन सकें।

 

डॉ. अक्षय बेलारे, अध्यक्ष, हनीवैल इंडिया, ने कहा, ’सुरक्षित और रक्षापूर्ण रहने और काम करने के स्थानों का निर्माण करने वाली एक प्रमुख प्रौद्योगिकी कंपनी होने के नाते, हनीवैल को उत्तराखंड में हमारे द्वारा सेवा प्रदान किए गए समुदायों में स्कूलों के वातावरण को सुरक्षित बनाने के लिए अपनी प्रतिबद्धता का विस्तार करते हुए प्रसन्नता की अनुभूति हो रही है।’

हनीवैल सेफ स्कूल कार्यक्रम राष्ट्रीय स्कूल सुरक्षा नीति (एन.एस.एस.पी.) के दिशानिर्देश, 2016, राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एन.डी.एम.ए.) के दिशानिर्देशों और आसियान स्कूल सुरक्षा पह का पालन करता है। ये ढाँचे स्कूल सुरक्षा की अनिवार्यता और बच्चों के लिए एक सुरक्षित वातावरण के निर्माण के महत्व को दर्शाते हैं। 2017 में दिल्ली में शुरू किए गए, हनीवैल सेफ स्कूल कार्यक्रम ने पहले ही दिल्ली और उत्तराखंड के 155 स्कूलों में 69,000 से अधिक छात्रों, 48,000 अभिभावकों और 4,500 शिक्षकों को प्रशिक्षित किया है।

कोरोना ब्रैकिंग : उत्तराखण्ड़ में आज 620 नए संक्रमित मिले, नौ की हुई मौत

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देहरादून, उत्तराखंड में आज भी कोरोना मामलों में कोई राहत की खबर नहीं ह, राज्य में आज 620 ने कोरोना संक्रमित मरीज मिलने के साथ राज्य में आंकड़ा बढ़कर के 84689 हो गया है जबकि आज नौ लोगों की मौत हुई है | वही आज 676 विभिन्न अस्पतालों से मरीज डिस्चार्ज हुए हैं अब तक 6062 लोग अभी भी विभिन्न अस्पतालों में अपना इलाज करा रहे हैं ।
उत्तराखंड राज्य स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी स्वास्थ्य बुलेटिन के अनुसार आज अल्मोड़ा में 48 बागेश्वर में 22 चमोली में 34 चंपावत में 14 तथा आज भी सबसे अधिक 194 लोग देहरादून में इस संक्रमण का शिकार हुए इसके अलावा हरिद्वार में 36 नैनीताल में 127 तथा पौड़ी गढ़वाल में आज कोई भी संक्रमित मरीज नहीं मिला है वही पिथौरागढ़ में 20 रुद्रप्रयाग में अट्ठारह टिहरी गढ़वाल में 28 उधम सिंह नगर में 40 तथा उत्तरकाशी में आज 39 संक्रमित मरीज पाए गए |

पोस्टमार्टम कर बच्चे का शव परिजनों को सौंपा

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अल्मोड़ा। बीते बुधवार देर शाम नगर के भ्यारखोला मोहल्ले में घर के आंगन में झूला झूल रहे बच्चे के गले में रस्सी का फंदा लगने से उसकी मौत हो गई थी। घटना के बाद पुलिस ने शव को कब्जे में ले लिया। इसके बाद गुरुवार को पुलिस ने पंचायतनामा भर शव को पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया।

इधर घटना के बाद मृतक के परिवार में कोहराम है। दरअसल बीते बुधवार देर शाम नगर के भ्यारखोला निवासी शकील अहमद का आठ वर्षीय पुत्र मोहम्मद अयान साथियों के साथ अपने घर के आंगन में खेल रहा था। जहां पास ही झूला लगा था। इसमें मासूम बच्चा अयान झूलने लगा। लेकिन इसी बीच झूले की रस्सी टूट गई। रस्सी बच्चे के गले में फंस गई। रस्सी फंसने से अयान की मौत हो गई।

साथ में खेल रहे बच्चों ने इसकी सूचना परिजनों को दी। जिसके बाद आनन-फानन में परिजन बच्चे को लेकर जिला अस्पताल पहुंचे। लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी। अस्पताल पहुंचते ही वहां तैनात डाक्टर ने बच्चें को मृत घोषित कर दिया। घटना के बाद बच्चे के परिवार में कोहराम है। इधर गुरुवार को पुलिस ने शव का पंचायतनामा भर पुलिस ने शव का पोस्टमार्टम कर परिजनों को सौंप दिया है।

 

मेलाधिकारी ने किया निर्माण कार्य का निरीक्षण

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हरिद्वार, 17 दिसम्बर (कुल भूषण) मेलाधिकारी दीपक रावत ने कुम्भ मेला में होने वाले अस्थाई निमार्ण कार्य,सेतुबंध का निरीक्षण किया।  मेलाधिकारी ने कुम्भ मेला में आने वाले श्रद्धालुओं ,अखाड़ों,साधु,सन्त महात्माओं को दी जाने वाली सुविधाओं हेतु होने वाले कार्यो में तेजी लाने के निर्देश दिए। लॉलजीवाला, चंडी टापू,अस्था पथ,चंडी पुल के नीचे का भी निरीक्षण किया। उन्होंने  समस्त कार्यो का तकनीकी परीक्षण कराने का निर्देश देते हुये कहा कि गुणवत्ता पर विशेष ध्यान देते हुये पारदर्शिता पर विशेष ध्यान दिया जाए।

इस अवसर पर अपर मेलाधिकारी हरबीर सिंह, उपमेलाधिकारी दयानंद ,तकनीकि सेल के अधीक्षण अभियंता हरीश पांगती एवं अन्य अधिकारी मौजूद थे।

किन्नर अखाड़े के संतों ने की गंगा पूजन

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हरिद्वार, 17 दिसम्बर (कुल भूषण) कुम्भ मेला 2021 के लिए सभी तेरह अखाड़ो के साथ साथ किन्नर अखाड़े ने भी अपनी तैयारियां शुरू कर दी है। किन्नर अखाड़े की आचार्य महामण्डलेश्वर लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी लगभग 25 किन्नरों का दल लेकर बीती शाम हरिद्वार पहुची। वृहस्पतिवार को उनके नेतृत्व में किन्नर अखाड़े के वरिष्ठ महामण्डलेश्वरों,संतो तथा अनुयायियों ने श्रीगंगा सभा के तत्वाधान में हर की पैड़ी पर कुम्भ मेले की सफलता तथा विश्व को कोरोना से मुक्ति दिलाए जाने की मंगलकामना के साथ मा गंगा का पूजन किया तथा दुग्धाभिषेक किया।

हर की पैड़ी पहुचने पर गंगा सभा के अध्यक्ष प्रदीप झा ने पदाधिकारियों के साथ आचार्य महामण्डलेश्वर का स्वागत किया तथा विधिवत गंगा पूजन कराया। इस अवसर पर जूना अखाड़े के राष्ट्रीय सचिव श्रीमहंत महेशपुरी भी उपस्थित थे। गंगा पूजन के पश्चात किन्नर अखाड़े के  संतो ने दक्षनगरी कनखल में दक्षेश्वर महादेव का जलाभिषेक किया तथा पूजा अर्चना की। यहा से यह दल सिद्वपीठ मायादेवी पहुचा,जहां मायादेवी तथा नगर कोतवाल श्री आंनद भैरव की पूजा अर्चना की। किन्नर अखाड़े के सदस्यों ने आचार्य महामण्डलेश्वर लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी के नेतृत्व में जूना अखड़े के अन्र्तराष्ट्रीय संरक्षक तथा अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के महामंत्री श्रीमहंत हरिगिरि महाराज से आर्शीवाद प्राप्त किया तथा कुम्भ मेले की व्यवस्थाओं को लेकर चर्चा की।

गंगा सभा के अध्यक्ष प्रदीप झा ने कहा की गंगा जी सभी के कल्याण का मार्ग प्रशस्त करती है जो भी मां गंगा जी को नमन करने के लिए आता है वह सभी का कल्याण करती है

आचार्य महामण्डलेश्वर लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी ने बताया किन्नर अखाड़ा गत नासिक व उज्जैन कुम्भ से अखाड़ा परिषद से कुम्भ पर्व पर अखाड़े के रूप में शाही स्नान किए जाने की मांग कर रखा था। लेकिन उन्हे गत 2016 के प्रयागराज कुम्भ में अखाड़ा परिषद के राष्ट्रीय महामंत्री श्रीमहंत हरिगिरि महाराज के प्रयासों से सफलता मिली और उनकी पहल पर जूना अखाड़े के साथ शाही स्नान किए जाने की प्रशासन ने अनुमति प्रदान की।
किन्नर अखाड़े का प्रतिनिधिमण्डल मेलाधिकारी व अन्य अधिकारियों से कुम्भ 2021 में शिविर लगाए जाने हेतू भूमि तथा अन्य सुविधाओं के लिए मिलेगा। तथा उन्हे मांग पत्र सौपेंगा। इस दल में गुजरात,महाराष्ट्र,दिल्ली बंगाल सहित कई राज्यों के प्रतिनिधि शामिल थे।जिनमें भवानी माई,कामिनी माई,पायल माई,पीताम्बरा माई,पुष्पा माता जी,शिवपुरी माता जी,सतना माई,मयूरी माई,शिल्पा माई,पीठाधीश्वर पवित्रा माई,पीठाधीश्वर दामिनी माई,महंत ऋषिकेश नंदगिरि,संरक्षक दुर्गा दास,पंण्डित राजेश शर्मा अमिनाथ कुलकुर्णी आदि मुख्य थे।

 

नेत्र रोगों से बचाव के लिए अधिक समय तक मोबाइल के उपयोग से बचे : डा0 वर्मा

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हरिद्वार, 17 दिसम्बर (कुल भूषण) नगर के जाने माने नेत्र रोग विशेषज्ञ डा 0 ओ0पी0वर्मा ने लोगो से मोबाइल का अधिक उपयोग नही करने का आहावान किया है उन्होने कहा की कोविड 19 के चलते लोगो द्वारा घरो में रहने के चलते इन पिछले कुछ समय में अधिक मोबाइल का प्रयोग किये जाने के चलते नेत्र रोगीयो की संख्या में इजाफज्ञ हुआ है उन्होने कहा की नेत्र रोगो से बचने के लिए लोगो को मोबाइल पर विभिन्न कार्यक्रमो को अधिक समय तक देखने सेबचना चाहिए।

उन्होने कहा की लगातार मोबाइल देखने से आखो पर प्रतिकुल प्रभाव पडता है जिसके चलते लोगो को नेत्ररोग सम्बन्घित परेशानी का सामना करना पड रहा है ऐसे में डा0 वर्मा ने कार्यालय में काम करने वालो लोगो को भी परामर्श दिया की वह लगातार लम्बे समय तक कम्प्युटर पर कार्य न करे कम्प्युटर पर काम करने वाले लोग काम करने के दौरान कुछ समय का ब्रेक लेकर आखो को आराम देकर अपना कार्य करे इस प्रकार के सामान्य उपायो से कई प्रकार के नेत्ररोगो से बचा जा सकता है ।

इण्टरनेंशनल मार्केटिंग पर व्याख्यानमाला का आयोजन

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हरिद्वार, 17 दिसम्बर (कुल भूषण) गुरूकुल कागडी विश्वविद्यालय के प्रबन्धन संकाय में इण्टरनेशनल मार्केटिंग एन ओवरव्यू विषय पर आन लाइन व्याख्यान का आयोजन किया गया इस मोैके पर जेम ग्रुप आॅफ कम्पनीस साईपरस के एमडी सुदीप मित्तल ने इस विषय पर विस्तार से चर्चा कर अपने अनुभव साझा किये । इस मौके पर गुरूकुल कांगडी के कुलपति प्रो0 रूपकिशोर ‘शास्त्री ने इंटरनेशनल मार्केटिंग को कोविड 19 में अतिआवश्यक सेवाओ की आपूर्ति में मार्केटिंग के महत्व को समझाया संकाय के संकायाध्यक्ष प्रो0 वी0के0 ंिसह ने इंटरनेशनल मार्केटिंग की गुणवक्ता और इसके प्रबन्धन पर प्रकाश डाला व्याख्यान माला में डा0 राजुल भारद्वाज डा0 आशीष आर्य डा0 मिहिर जोशी डा0 सुरेखा राणा डज्ञ0 पतिराज कुमारी डा0 पूनम पैन्यूली सहित विभिन्न शिक्षको व छात्रो ने प्रतिभाग किया।

मंत्रोच्चार के साथ अंतरराष्ट्रीय मुक्केबाज धर्मचंद की स्मृति में किया पौधा रोपित

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पिथौरागढ़। अंतरराष्ट्रीय मुक्केबाज धर्मचंद को विभिन्न जनसंगठनों ने पौध लगाकर श्रद्धांजलि दी। इस दौरान आयोजित कार्यक्रम में लोगों ने चंद के खेल जीवन की चर्चा करते हुए उन्हें याद किया। गुरुवार को शहीद स्मारक परिसर में सामाजिक सरोकारों से जुड़े जुगल किशोर पाण्डे की पहल पर अंतरराष्ट्रीय मुक्केबाज धर्मचंद की स्मृति में गोल्डन साइप्रस का पौधा रोपा गया।

डॉ. गुरुकुलानंद कच्चाहारी व पंडित गोपाल सती ने वैदिक मंत्रोचारों के साथ पौधरोपण कराया।केएमवीएन के साहसिक पर्यटन प्रबंधक दिनेश गुरुरानी ने पौधरोपण का महत्व बताया।

मुक्केबजा चंद के पुत्र ललित ने पिता की स्मृति में आयोजित कार्यक्रम के लिए सभी का आभार जताया। कहा यह पौध उन्हें हमेशा जीवन में आगे बढ़ने की प्रेरणा देगा। इस दौरान देवी चंद, जनार्दन वल्दिया,कल्याण सिंह वल्दिया, बहादुर बोरा, गणेश बिष्ट,चंचल भंडारी,अर्जुन कसनियाल,राजेन्द्र भाटिया, मान सिंह खोलिया,विजेन्द्र मल्ल, भूपेन्द्र बसेड़ा,हेम उपाध्याय,बिशन भट्ट आदि मौजूद रहे।

 

चाय विकास बोर्ड का मुख्यालय ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैंण में बनाने के मुख्यमंत्री ने दिए निर्देश

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देहरादून, मुख्यमंत्री  त्रिवेंद्र सिंह रावत की अध्यक्षता में गुरुवार को मुख्यमंत्री आवास में चाय विकास बोर्ड की बैठक आयोजित हुई। बोर्ड बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। मुख्यमंत्री  त्रिवेन्द्र ने निर्देश दिए कि चाय विकास बोर्ड का मुख्यालय ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैंण में स्थापित किया जाए। उन्होंने जिलाधिकारी चमोली को इसके लिए जमीन तलाशने के निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री  त्रिवेन्द्र ने कहा कि किसानों को बाजार उपलब्ध कराने हेतु राज्य में 04 नई फैक्ट्रियाँ स्थापित की जाएं। साथ ही, चाय बागानों से उत्पादित हरी पत्तियों के न्यूनतम विक्रय मूल्य को निर्धारित करने हेतु एक समिति भी गठित की जाए। यह समिति प्रत्येक वर्ष हेतु न्यूनतम विक्रय मूल्य निर्धारित करेगी। उन्होंने कहा कि न्यूनतम विक्रय मूल्य फार्मगेट मूल्य होना चाहिए। उन्होंने कहा कि टी-गार्डन विकसित करने में चाय विशेषज्ञ अवश्य रखा जाए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि चाय विकास बोर्ड द्वारा टी-गार्डन विकसित कर काश्तकारों को सौंप दिया जाए। इसके लिए अगले एक माह में एक व्यवहारिक माॅडल तैयार करते हुए कार्ययोजना तैयार की जाए। इस माॅडल को तैयार करने में काश्तकारों के सुझावों को भी शामिल किया जाना चाहिए। टी-गार्डन विकसित कर काश्तकारों को दिए जाने के बाद उन्हें तकनीकी विशेषज्ञता भी उपलब्ध करायी जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में जो निजी चाय फैक्ट्रियाँ किसी भी कारण से बंद हैं, उन्हें चलाने हेतु प्रयास किए जाएं। यदि निजी फैक्ट्रियों के मालिक इन्हें चलाने में सक्षम नहीं हैं तो, बोर्ड द्वारा इन्हें चलाए जाने हेतु प्रयास किए जा जाएं। इससे स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा होंगे और उन्हें आजीविका का साधन मिलेगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि चाय विकास बोर्ड की बैठक, वर्ष में 04 बार आयोजित की जाए। इससे बोर्ड और किसानों की समस्याओं से अवगत होने के अधिक अवसर बनेंगे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार लगातार प्रदेश के किसानों की आर्थिकी को मजबूत करने के प्रयास कर रही है। उन्होंने कहा कि राज्य में टी-गार्डन, पर्यटन के क्षेत्र में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। उन्होंने जिलाधिकारियों को राज्य में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए टी-टूरिज्म पर भी फोकस करने के निर्देश दिए।
बोर्ड बैठक में अवगत कराया गया कि उत्तराखण्ड चाय विकास बोर्ड द्वारा वर्तमान तक विभिन्न स्थानों कुल 1387 हैक्टेयर क्षेत्रफल पर चाय प्लान्टेशन किया जा चुका है। उत्तराखण्ड चाय विकास बोर्ड द्वारा वर्तमान में उत्तराखण्ड के 09 पर्वतीय जनपदों (बागेश्वर, चम्पावत, नैनीताल, अल्मोड़ा, पिथौरागढ़, चमोली, रुद्रप्रयाग, पौड़ी, टिहरी) के 28 विकास खण्डों में स्वयं संचालित योजना, स्पेशल कम्पोनन्ट प्लान, मनरेगा के अन्तर्गत चाय विकास कार्यक्रम संचालित कर 1387 हैक्टेयर भूमि में 3,882 काश्तकार/राजकीय/गैर राजकीय भूमि को लीज पर लेकर सफलतापूर्वक चाय प्लान्टेशन किया जा चुका है। जिसमें अनुमानित 4,000 श्रमिक कार्यनियोजित किये गये हैं जिसमें 70 प्रतिशत महिलाओं की भागीदारी हैं।

वर्तमान में बोर्ड द्वारा निर्मित की जा रही चाय को उत्तराखण्ड टी ब्राण्ड नेम से रजिस्स्ट करते हुए बिक्री किया जा रहा है। वर्तमान में बोर्ड द्वारा जैविक/अजैविक आर्थोडोक्स ब्लैक व ग्रीन टी तैयार कर, स्थानीय स्तर पर स्वयं के शो-रूम, दुकानदारों य पोस्टल सेवा एवं कोलकाता ऑक्सन हाउस के माध्यम से बिक्री की जा रही है, चाय की बिक्री बढ़ाने व अधिक से अधिक प्रचार-प्रसार हेतु शासन स्तर से शासकीय कैन्टीनों, व अन्य संस्थानों को चाय की मांग बोर्ड को उपलब्ध कराने हेतु आदेश निर्गत किये जा चुके है।
इस अवसर पर उद्यान मंत्री  सुबोध उनियाल, उपाध्यक्ष चाय विकास बोर्ड  गोविन्द सिंह पिल्खवाल, अपर मुख्य सचिव मनीषा पंवार, प्रमुख सचिव  आनन्द वर्धन एवं सचिव उद्यान हरबंस सिंह चुघ सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।