Saturday, May 10, 2025
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प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना का तीसरा चरण 15 जनवरी से देश के सभी राज्‍यों में होगा शुरू, जानिये क्‍या होगा फायदा

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प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना (पीएमकेवीवाई) का तीसरा चरण देश के सभी राज्यों में करीब 600 जिलों में शुक्रवार से शुरू होगा। कौशल विकास तथा उद्यमिता मंत्रालय द्वारा जारी एक विज्ञप्ति में बताया गया है कि इस चरण में कोरोना से जुड़े कौशल विकास पर फोकस होगा। मंत्रालय के मुताबिक स्किल इंडिया मिशन पीएमकेवीवाई 3.0 के तहत 2020-2021 के योजना काल में आठ लाख लोगों को प्रशिक्षित करने का लक्ष्य है,

जिसके लिए 948.90 करोड़ रुपये का आंवटन किया गया है। यह प्रशिक्षण कार्यक्रम 729 प्रधानमंत्री कौशल विकास केंद्र तथा 200 से अधिक आइआइटी द्वारा चलाया जाएगा। सरकार ने पीएमकेवीवाई 1.0 तथा पीएमकेवीवाई 2.0 के अनुभवों के आधार पर नए संस्करण में कोरोना के कारण पैदा हुई मौजूदा स्थितियों को देखते हुए और सुधार किया गया है।

बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 15 जुलाई, 2015 में स्किल इंडिया मिशन की शुरुआत की थी और इसके तहत महत्वपूर्ण पीएमकेवीवाई से इसमें गति आई। पीएमकेवीवाई 3.0 का शुभारंभ केंद्रीय कौशल विकास तथा उद्यमिता मंत्री महेंद्रनाथ पांडेय करेंगे। इस मौके पर राज्यमंत्री राज कुमार सिंह भी मौजूद रहेंगे। कार्यक्रम को राज्यों के कौशल विकास मंत्री तथा सांसद भी संबोधित करेंगे।

अन्ना की PM को चिट्ठी- किसानों को लेकर दिल्ली में होगा आखिरी अनशन

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पुणेः सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने बृहस्पतिवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक पत्र लिखा और अपना फैसला दोहराया कि ”वह जनवरी के अंत में दिल्ली में किसानों के मुद्दे पर अंतिम भूख हड़ताल करेंगे।” केंद्र के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली की सीमाओं पर विभिन्न किसान संगठनों के जारी आंदोलन के बीच हजारे ने यह चिट्ठी लिखी है। हजारे (83) ने तारीख बताए बिना कहा कि वह महीने के अंत तक उपवास शुरू करेंगे।

पिछले साल 14 दिसंबर को हजारे ने केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर को पत्र लिखकर आगाह किया था कि कृषि पर एम एस स्वामीनाथन कमेटी की सिफारिशें समेत उनकी मांगें नहीं मानी गई तो वह भूख हड़ताल करेंगे। उन्होंने कृषि लागत और मूल्य के लिए आयोग को स्वायत्तता प्रदान करने की भी मांग की है। हजारे ने कहा, ”किसानों के मुद्दे पर मैंने (केंद्र के साथ) पांच बार पत्र व्यवहार किया लेकिन कोई जवाब नहीं आया।” हजारे ने प्रधानमंत्री को पत्र में लिखा है, ”इस कारण से मैंने अपने जीवन की अंतिम भूख हड़ताल पर जाने का फैसला किया है।”

हजारे ने कहा कि उन्होंने दिल्ली के रामलीला मैदान में अपनी भूख हड़ताल के लिए संबंधित प्राधिकारों से अनुमति के लिए चार पत्र लिखे थे लेकिन एक का भी जवाब नहीं आया। वर्ष 2011 में भ्रष्टाचार रोधी मुहिम के अग्रणी चेहरा हजारे ने याद दिलाया कि उन्होंने जब रामलीला मैदान में भूख हड़ताल शुरू की थी तो तत्कालीन संप्रग सरकार को संसद का विशेष सत्र आहूत करना पड़ा था। उन्होंने कहा, ”उस सत्र में आप और आपके वरिष्ठ मंत्री (भाजपा उस समय विपक्ष में थी) ने मेरी प्रशंसा की थी लेकिन अब मांगों पर लिखित आश्वासन देने के बावजूद आप उन्हें पूरा नहीं कर रहे हैं।”

रोडवेज कर्मचारी यूनियन और प्रबंधन बीच ढाई घंटे चली वार्ता : बनी बात और रोडवेज की हड़ताल समाप्त

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देहरादून, उत्तराखंड़ में दो दिन से चली आ रही रोडवेज कर्मचारी यूनियन की हड़ताल प्रबंधन के साथ गुरुवार देर शाम करीब ढाई घंटे चली वार्ता के बाद खत्म हो गई। प्रबंधन ने वादा किया है कि आगामी मार्च तक संविदा एवं विशेष श्रेणी कर्मचारियों को पांच महीने के लंबित वेतन (अगस्त से दिसंबर-2020) का भुगतान कर दिया जाएगा।

नियमित कर्मचारियों को मार्च तक (अगस्त से नवंबर-2020) चार महीने के लंबित वेतन का भुगतान करने पर प्रबंधन ने सहमति दी। यूनियन की मांग के तहत अनुशासनात्मक कार्रवाई के प्रकरणों में महाप्रबंधक (प्रशासन) की अध्यक्षता में समिति बनाई गई है, जो पंद्रह दिन में सभी मामलों की जांच कर अपनी रिपोर्ट रोडवेज के प्रबंध निदेशक रणवीर सिंह चौहान को सौंपेगी। प्रबंधन से सुलह के बाद कर्मचारी यूनियन के प्रांतीय महामंत्री अशोक चौधरी ने हड़ताल वापस लेने का एलान करते हुए देर शाम से ही बसों का संचालन शुरू करा दिया।

 

पांच माह के लंबित वेतन की भुगतान की मांग समेत अन्य मांगों को लेकर उत्तरांचल रोडवेज कर्मचारी यूनियन ने बुधवार तड़के से पूरे प्रदेश में रोडवेज बसों के पहिये थाम दिए थे। हालांकि, यूनियन दून मंडल में गत आठ जनवरी से बेमियादी हड़ताल पर बैठी थी, लेकिन प्रदेशव्यापी हड़ताल बुधवार को शुरू की गई थी। हड़ताल के कारण करीब 70 फीसद बसों के पहिये थमे रहे, जबकि बाकी 30 फीसद का संचालन दूसरे संगठन के चालक-परिचालकों से जैसे-तैसे कराया गया। प्रबंधन ने ग्रामीण डिपो में विवाद के मामले में बर्खास्त कर्मचारी यूनियन के मंत्री संदीप कुमार पर जांच बगैर कार्रवाई करने के मामले में दून के मंडलीय प्रबंधक सीपी कपूर और प्रभारी एजीएम रामलाल पैन्यूली को मंगलवार को ही पद से हटाकर रोडवेज मुख्यालय अटैच कर दिया था।

इसके बाद भी यूनियन संतुष्ट नहीं थी और अन्य मांगों पर भी कार्रवाई चाहती थी। हड़ताल समाप्त कराने के लिए बुधवार शाम भी यूनियन के पदाधिकारियों और रोडवेज प्रबंधन के बीच दो घंटे की सुलह वार्ता हुई थी, लेकिन यह विफल हो गई। जिसके चलते यूनियन द्वारा गुरुवार को भी हड़ताल जारी रखी गई। इस दौरान देहरादून मंडल समेत काठगोदाम एवं टनकपुर मंडल में लंबी दूरी के समस्त मार्गो पर बसों का संचालन प्रभावित रहा।

गुरुवार शाम चार बजे रोडवेज के प्रबंध निदेशक रणवीर सिंह चौहान, महाप्रबंधक प्रशासन हरगिरी और महाप्रबंधक संचालन दीपक जैन समेत मंडलीय प्रबंधक संजय गुप्ता की मौजूदगी में हड़ताली यूनियन के पदाधिकारियों के साथ वार्ता शुरू हुई। इस दौरान यूनियन के प्रांतीय महामंत्री अशोक चौधरी, प्रांतीय प्रवक्ता विपिन चौधरी, उप महामंत्री हरेंद्र कुमार, दून मंडलीय अध्यक्ष प्रवीण सैनी व मंत्री केपी सिंह मौजूद रहे। लंबित वेतन पर सकारात्मक हल निकालने के बाद अनुशासनात्मक मामलों में कार्रवाई को लेकर प्रबंधन ने कहा कि वह पहले ही आरएम व एजीएम को मुख्यालय में अटैच कर चुका है। प्रबंध निदेशक ने बताया कि कोटद्वार डिपो के हुक्का प्रकरण में बर्खास्त कर्मचारियों व ग्रामीण डिपो में हुए विवाद में बर्खास्त कर्मचारी नेता संदीप कुमार के मामलों में महाप्रबंधक प्रशासन हरगिरी को जांच दी गई है। वह पंद्रह दिन में मामलों का पूरा परीक्षण कर रिपोर्ट देंगे। यूनियन ने जो अन्य अनुशासनात्मक प्रकरण उठाए हैं, उसमें भी महाप्रबंधक प्रशासन जांच करेंगे। गलत एसीपी मामलों में चल रही कार्रवाई के परीक्षण के लिए प्रबंधन पहले ही एक कमेटी बना चुका है। प्रमोशन का मामला बोर्ड बैठक में रखने व समान काम समान वेतन का मामला न्यायालय के आदेशों के क्रम में मानने की बात कही गई। वार्ता के बाद यूनियन के महामंत्री अशोक चौधरी ने हड़ताल समाप्त करने का एलान किया।

उल्लेखनीय हो कि रोडवेज प्रबंधन ने हड़ताल के कारण आठ जनवरी से 14 जनवरी तक हुए नुकसान की रिपोर्ट सभी मंडलों से मांगी है और दूसरी तरफ प्रबंधन ने यूनियन के साथ समझौता कर लिया कि हड़ताल की वजह से गैर-हाजिर रहे कर्मियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी। प्रबंधन ने ग्रामीण डिपो में सात जनवरी व दून मंडल में आठ जनवरी से चल रही हड़ताल के कारण बस संचालन प्रभावित होने का ब्योरा मांगा था। सभी डिपो से यह रिपोर्ट आ गई। इस बीच गुरुवार को महाप्रबंधक दीपक जैन ने सभी मंडलों व डिपो को नया आदेश जारी करते हुए 14 जनवरी तक चली हड़ताल का पूरा ब्योरा देने के आदेश दिए। कितने कर्मचारी अनुपस्थित रहे और कितनी बसें संचालित नहीं हुई, यह जानकारी मांगी गई है। वहीं, यूनियन के साथ हुए समझौते में प्रबंधन ने हड़ताल की वजह से गैर-हाजिर रहे समस्त कर्मियों की अनुपस्थिति दर्ज करने के बदले अवकाश दर्ज करने की बात कही। फिर चलने लगे बसों के पहिये, देर शाम करीब साढ़े छह बजे हड़ताल खत्म होने का एलान होते हुए यूनियन ने अपने समस्त चालक-परिचालकों को तुरंत ड्यूटी पर बुला लिया। लंबी दूरी की बसों का संचालन फिर शुरू हो गया। देहरादून समेत काठगोदाम व टनकपुर मंडल में भी रात्रि सेवाओं का संचालन शुरू हो गया |

राज्य आंदोलनकारी जीतपाल बर्थवाल की सड़क दुर्घटना में मौत

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देहरादून, उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारी जीतपाल बर्थवाल की सड़क हादसे में मौत हो गई है। जानकारी के मुताबिक वह देहरादून स्थित आईएसबीटी के पास एक ट्रक की चपेट में आ गए। उनकी उम्र 65 साल थी। वह चार साल पहले ही शिक्षक के पद से सेवानिवृत्त हुए थे। राज्य आंदोलन के समय में वह मुजफ्फरनगर कांड में सीबीआई के गवाह भी रहे थे।
पुलिस से मिली सूचना के मुताबिक बुधवार की रात थाना पटेलनगर को सूचना प्राप्त हुई कि आईएसबीटी फ्लाई ओवर के पास एक बाइक अनियंत्रित होकर पीछे से आ रहे ट्रक की चपेट में आ गई, जिसमें बाइक सवार एक व्यक्ति की मौके पर मौत हो गई। सूचना पर पुलिस बल द्वारा मौके पर पहुंच कर जानकारी की गई।

 

बताया गया कि आईएसबीटी गेट नम्बर 2 के पास एसबीआई एटीएम के सामने एक मोटर साइकिल पीछे से आ रहे ट्रक द्वारा ओवरटेक करते समय अनियंत्रित होकर ट्रक के सामने रपट गई, जिससे बाइक पर पीछे बैठा व्यक्ति ट्रक के पिछले टायर के नीचे आ गया तथा उसकी मौके पर ही मौत हो गई।

मृतक व्यक्ति की पहचान जीतपाल सिंह निवासी मोथोरावाला देहरादून के रूप में हुई है। घटना में मृतक के पुत्र विवेक बर्तवाल, जो मोटर साइकिल चला रहे थे, उनको हल्की चोट आई है। पुलिस द्वारा शव को अग्रिम कार्रवाई के लिए कोरोनेशन अस्पताल भेजा गया है। वहीं घटना के वक्त मौके से ट्रक चालक, ट्रक को छोड़कर फरार हो गया था। सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस द्वारा वाहन को चौकी पर खड़ा किया गया है। घटना के सम्बन्ध में पुलिस अग्रिम कार्रवाई कर रही है, जीतपाल बर्थवाल के निधन क़ी सूचना से सभी राज्य आन्दोलनकारियों क़ो गहरा धक्का लगा है।

राज्य आंदोलनकारी मंच ने उनके निधन पर गहरा दुःख व्यक्त करते हुए श्रद्धांजली अर्पित क़ी है। जीतपाल दिल्ली रैली के दौरान मुजफ्फरनगर कांड मे़ घायल हुए थे। वह अपने पीछे पत्नी के साथ दो पुत्र एवं दो पुत्रियों क़ो छोड़ गये। आज पोस्टमार्टम के पश्चातम लक्खीबाग घाट पर अंतिम संस्कार किया गया। अंतिम संस्कार में राज्य आंदोलनकारियों के साथ सामाजिक, राजनैतिक संगठन के कई लोग मौजूद थे |

 

फ्लाई ओवर पर कार की चपेट आये व्यक्ति की मौत

बल्लूपुर फ्लाईओवर के पास सड़क पार कर रहे व्यक्ति की कार की चपेट में आने से मौत हो गई। कैंट कोतवाली पुलिस ने आरोपित वाहन चालक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है।

इंस्पेक्टर विद्याभूषण नेगी ने बताया, बुधवार देर रात सूचना मिली कि बल्लूपुर फ्लाईओवर के पास एक व्यक्ति को किसी वाहन ने कुचल दिया है। पुलिस तुरंत मौके पर पहुंची और घायल व्यक्ति को कोरोनेशन अस्पताल पहुंचाया। उसकी हालत काफी गंभीर थी। इलाज के दौरान व्यक्ति ने दम तोड़ दिया। मृतक की पहचान संतोष पाल मूल निवासी दरभंगा (बिहार) हाल निवासी चोरखाला कैंट के रूप में हुई। वहीं, घटनास्थल और उसके आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगालने पर पता चला कि हादसा फॉ‌र्च्यूनर कार से हुआ है। हादसे के बाद कार चालक किशन नगर चौक की तरफ भाग गया। इंस्पेक्टर ने बताया कि कार चालक के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है। जल्द ही उसे गिरफ्तार कर लिया जाएगा |

उत्तराखंड : राज्य में कोरोना के नए स्ट्रेन की दस्तक, गुरुवार को मिले 154 नए संक्रमित, दून में मिले 40 संक्रमित

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देहरादून, उत्तराखंड में कोरोना वायरस के नए स्ट्रेन ने दस्तक दे दी है। राजधानी देहरादून में यह पहला मामला सामने आया है। दिल्ली से आई जांच रिपोर्ट में मरीज में नए स्ट्रेन की पुष्टि हुई है। मरीज को तीलू रौतेली छात्रावास स्थित कोविड केयर सेंटर में आइसोलेट कर दिया गया है। स्वास्थ्य विभाग के जिला सर्विलांस अधिकारी डॉ. राजीव दीक्षित ने इस मामले की पुष्टि की है। प्रदेश में कोरोना संक्रमितों और मरीजों की मौतों में कमी आई है। एक माह के बाद प्रदेश में सबसे कम कोरोना मरीजों की मौत हुई है। पिछले 24 घंटे के भीतर तीन मरीजों की मौत और 154 नए संक्रमित मिले हैं। कुल संक्रमितों की संख्या 94324 हो गई है।

स्वास्थ्य विभाग के अनुसार गुरुवार को 8055 सैंपल जांच में निगेटिव पाए गए। जबकि 154 लोग कोरोना संक्रमण की चपेट में आए हैं। देहरादून जिले में 40 कोरोना मरीज मिले हैं। हरिद्वार में 37, नैनीताल में 30, ऊधमसिंह नगर में 15, पौड़ी में नौ, टिहरी में छह, रुद्रप्रयाग में चार, बागेश्वर में चार, चमोली में तीन, चंपावत में तीन, उत्तरकाशी में दो, अल्मोड़ा जिला में एक संक्रमित मिला है।

प्रदेश में तीन कोरोना मरीजों की मौत हुई है। इसमें हिमालयन हास्पिटल में दो, श्री महंत इंदिरेश हास्पिटल में एक मरीज ने इलाज के दौरान दमतोड़ा है। प्रदेश में अब तक 1596 कोरोना मरीजों की मौत हो चुकी है। वहीं, 187 मरीजों को ठीक होने के बाद घर भेजा गया है। इन्हें मिलाकर 88948 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं। संक्रमितों की तुलना में ज्यादा मरीज ठीक होने से रिकवरी दर 94.30 प्रतिशत पहुंच गई है। 2510 सक्रिय मरीजों का उपचार किया जा रहा है।

चमोली : सड़क चौड़ीकरण की मांग को लेकर मोबाइल टावर पर चढ़े दो आंदोलनकारी, मचा हड़कंप

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चमोली, उत्तराखंड के जनपद चमोली जिले में सड़क चौड़ीकरण की मांग को लेकर आंदोलन कर रहे ग्रामीणों का सब्र गुरुवार को जवाब दे गया। दोपहर करीब एक बजे उस वक्त अफरा तफरी मच गई जब पुलिस आंदोलनकारियों को उठाने पहुंची। इस दौरान दो आंदोलनकारी विरोध प्रदर्शन करते हुए मोबाइल टावर पर चढ़ गए। इस दौरान एक आंदोलनकारी टावर पर पानी देने के लिए चढ़ा और वापस नीचे उतर गया। दोनों आंदोलनकारी नीचे उतरने को तैयार नहीं है।

घाट-नंदप्रयाग सड़क को डेढ़ लेन करने की मांग को लेकर ग्रामीणों का आमरण अनशन आज पांचवे दिन भी जारी है। पुलिस सुबह अनशन पर बैठे आंदोलनकारियों को उठाने पहुंची थी, लेकिन भारी विरोध के चलते नहीं उठा पाई। इस दौरान ग्रामीणों की पुलिस से तीखी झड़प भी हुई। व्यापारियों ने दुकानें बंद कर दीं। वाहन चालकों ने वाहन भी वहीं खड़े कर दिए। इस दौरान एक आंदोलनकारी गुड्डू लाल धरनास्थल घाट से तीन किमी दूर टावर पर चढ़ गया। वहीं, दूसरी ओर मदन सिंह उर्फ मद्दी भी पास ही के टावर पर चढ़ गया। इसके बाद वहां हंगामा खड़ा हो गया। पुलिस के समझाने पर भी वे नीचे नहीं उतरे। धरनास्थल पर माहौल तनावपूर्ण बना हुआ है।

गौरतलब हो कि ग्रामीण करीब एक महीने से धरना दे रहे हैं। वहीं, अब धरना आमरण अनशन में तब्दील हो चुका है। बुधवार को सीएचसी घाट से डा. मनोज शाह धरना स्थल पर पहुंचे थे और आमरण अनशन पर बैठे आंदोलनकारियों के स्वास्थ्य की जांच की थी। इस दौरान उनके स्वास्थ्य में गिरावट दर्ज की गई। डा. मनोज ने बताया कि अनशनरत चारों लोगों के वजन में दो से तीन किलो की गिरावट आई है। घाट बैंड तिराहे पर भूख हड़ताल पर बैठे लोगों ने कहा कि जब तक सरकार उनकी मांग पूरी नहीं करती आंदोलन वापस नहीं लेंगे।

उन्होंने आंदोलन को लेकर सरकार के रवैए पर भी नाराजगी जताई। कहा कि इतने दिनों से चल रहे आंदोलन की सरकार की ओर से सुध नहीं ली जा रही है। रविवार को ही ग्रामीणों ने अनोखे तरीके से विरोध प्रदर्शन किया था। घाट और कर्णप्रयाग ब्लाक के 70 ग्राम पंचायतों के 7000 से अधिक ग्रामीणों ने एकजुट होकर घाट बाजार से नंदप्रयाग बाजार तक 19 किमी मानव श्रृंखला बनाई थी। ग्रामीणों का कहना है कि दो वर्ष पूर्व मुख्यमंत्री ने सड़क को डेढ़ लेन चौड़ीकरण में तब्दील करने की घोषणा की थी, लेकिन सरकार की वादाखिलाफी पर ग्रामीणों में आक्रोश है। सरकार ने जल्द मांग न मानी तो आंदोलन और तेज किया जाएगा।

कृषि कानूनों का विरोध जारी : क्या सरकार-किसान संगठनों की नौवें दौर की वार्ता होगी ? कृषि मंत्री ने दिया यह जवाब

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नयी दिल्ली, केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने बृहस्पतिवार को कहा कि प्रदर्शनकारी किसान संगठनों और सरकार के बीच नौवें दौर की वार्ता तय कार्यक्रम के तहत शुक्रवार को होगी और केंद्र को उम्मीद है कि चर्चा सकारात्मक होगी। तोमर ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘सरकार खुले मन से किसान नेताओं के साथ बातचीत करने को तैयार है।’’ उच्चतम न्यायालय द्वारा गतिरोध सुलझाने के लिए चार सदस्यीय कमेटी नियुक्त किए जाने और फिर एक सदस्य के इससे अलग हो जाने के कारण नौवें दौर की वार्ता को लेकर भ्रम की स्थिति को दूर करते हुए

तोमर ने कहा कि सरकार और किसान प्रतिनिधियों के बीच 15 जनवरी को दिन में 12 बजे से बैठक होगी। किसान संगठनों ने कहा है कि वे सरकार के साथ वार्ता करने को तैयार हैं। लेकिन, वे उच्चतम न्यायालय द्वारा नियुक्त कमेटी के समक्ष पेश नहीं होना चाहते हैं।

किसान संगठनों ने समिति के सदस्यों को लेकर आशंका जाहिर करते हुए कहा कि इसके सदस्य पूर्व में तीनों कानूनों की पैरवी कर चुके हैं। इससे पहले दिन में भारतीय किसान यूनियन के अध्यक्ष भूपिन्दर सिंह मान ने कहा कि वह कृषि कानूनों पर किसानों और केंद्र के बीच गतिरोध को सुलझाने के लिए उच्चतम न्यायालय द्वारा गठित चार सदस्यीय समिति से अलग हो गए हैं। मान ने कहा कि समिति में उन्हें सदस्य नियुक्त करने के लिए वह शीर्ष अदालत के आभारी हैं लेकिन किसानों के हितों से समझौता नहीं करने के लिए वह उन्हें पेश किसी भी पद का त्याग कर देंगे।

उन्होंने एक बयान में कहा, ‘‘खुद किसान होने और यूनियन का नेता होने के नाते किसान संगठनों और आम लोगों की भावनाओं और आशंकाओं के कारण मैं किसी भी पद को छोड़ने के लिए तैयार हूं ताकि पंजाब और देश के किसानों के हितों से किसी भी प्रकार का समझौता नहीं हो।’’ मान ने कहा, ‘‘मैं समिति से अलग हो रहा हूं और मैं हमेशा अपने किसानों और पंजाब के साथ खड़ा रहूंगा।’’

पंजाब और हरियाणा के हजारों किसान नए कृषि कानूनों को निरस्त करवाने के लिए पिछले कई सप्ताह से दिल्ली की अलग-अलग सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे हैं। किसान संगठन, कृषक (सशक्तीकरण एवं संरक्षण) कीमत आश्वासन और कृषि सेवा करार, कानून, 2020, कृषक उत्पाद व्यापार एवं वाणिज्य (संवर्धन एवं सरलीकरण) कानून, 2020 और आवश्यक वस्तु (संशोधन) कानून को निरस्त किए जाने की मांग कर रहे हैं।

प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने पत्रकारों को किया सम्मानित : जान जोखिम में डालकर पत्रकारों ने निभाई जिम्मेदारी : प्रीतम

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मसूरी, शहर कांग्रेस कमेटी की ओर से कोरोना काल में लगातार कार्य करने वाले पत्रकारों को सम्मानित किया गया। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने पत्रकारों को प्रशस्ति पत्र प्रदान किए। उन्होंने कहा कि पत्रकारों ने अपनी जान जोखिम में डालकर कोरोनाकाल में अपने दायित्वों का बखूबी निर्वहन किया है। ऐसे पत्रकारों को सम्मानित करते हुए कांग्रेस गर्व महसूस कर रही है।

मसूरी स्थित कांग्रेस भवन में आयोजित कार्यक्रम के दौरान प्रीतम सिंह ने पार्टी कार्यकत्र्ताओं से कहा कि आगामी विधानसभा चुनावों में भाजपा को सत्ता से बेदखल करने का संकल्प लेकर यहां से जाएं। उन्होंने कहा कि राज्य निर्माण में मसूरी की बहुत महत्वपूर्ण भागीदारी रही है। आज कांग्रेस मसूरी से ही भाजपा को सत्ता से हटाने के संकल्प को लेकर जनता के बीच जाएगी। कार्यक्रम के दौरान पूजा लाल समेत कई लोग कांग्रेस में शामिल हुए। रोजगार देने के बजाए छीने जा रहे है, प्रीतम सिंह ने कहा कि आज देश का अन्नदाता सड़कों पर है, किसान आत्महत्या कर रहे हैं।

सरकार ने किसानों का कर्ज माफ करने की घोषणा की थी, लेकिन अमल नहीं किया। बेरोजगारों को रोजगार देने के बजाए भाजपा सरकार रोजगार छीनने का काम कर रही है। सम्मानित होने वालों में एक्टिव मीडिया प्रेस क्लब के पूर्व अध्यक्ष विजेंद्र पुंडीर, सुनील सिलवाल, उपेंद्र लेखवार, दीपक रावत, सुनील सोनकर आदि शामिल रहे। इस दौरान पूर्व विधायक जोतसिंह गुनसोला, कांग्रेस के प्रदेश महामंत्री मनमोहन सिंह मल्ल, गोदावरी थापली, महानगर महामंत्री लालचंद शर्मा, शहर कांग्रेस अध्यक्ष गौरव अग्रवाल, कांग्रेस महिला जिलाध्यक्ष जसबीर कौर, युवा कांग्रेस मसूरी विधानसभा अध्यक्ष वसीम खान आदि शामिल रहे।

उत्तरकाशी में तीन दिवसीय वाटर स्पोर्ट्स क्याकिंग फेस्टेवल का हुआ शुभारंभ

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देहरादून/उत्तरकाशी । प्रदेश में साहसिक पर्यटन को बढ़ावा देने के उद्देश्य से जनपद उत्तरकाशी में तीन दिवसीय जिला स्तरीय वाटर स्पोर्ट्स क्याकिंग चैम्पियनशिप प्रतियोगिता का उद्घाटन गुरूवार को मयूर दीक्षित जिलाधिकारी/अध्यक्ष गंगा समिति ने किया। यह प्रतियोगिता 14 से 16 जनवरी तक आयोजित की जा रही है। जिलाधिकारी ने सभी प्रतिभागियों का स्वागत करते हुए, उन्हें तीन दिवसीय क्याकिंग चैम्पियनशिप के लिए शुभकामनाऐं दी।

पर्यटन सचिव दिलीप जावलकर ने कहा कि प्रदेश में साहसिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए हम लगातार प्रयासरत हैं। धीरे-धीरे प्रदेश के प्रत्येक जिले में साहसिक खेलों का आयोजन किया जा रहा हैं। उन्होंने आयोजकों को कोविड महामारी के दिशा निर्देशों का पालन करते हुए, सभी प्रतियोगिताऐं आयोजित करने के निर्देश दिये।

जिला पर्यटन अधिकारी प्रकाश खत्री ने बताया कि तीन दिवसीय वाटर स्पोर्ट्स क्याकिंग चैम्पियनशिप प्रतियोगिता के लिए 25 प्रतिभागियों ने पंजीकरण कराया है। जिसमें पुरूष व महिला दोनों शामिल हैं। इस प्रतियोगिता में पांच प्रतिभागी ऋषिकेश व 20 प्रतिभागी जिला उत्तरकाशी सेे हैं। यह प्रतियोगिता जोशियाड़ा झील में आयोजित की जा रही है। उन्होंने बताया कि तीन दिन तक चलने वाले इस एडवेंचर फेस्टेवल में जो प्रतिभागी सबसे कम समय में वाटर स्पोर्ट्स क्याकिंग चैम्पियनशिप को पूर्ण करेगा, उसे प्रथम पुरस्कार के रूप में पांच हजार रूपये का पुरस्कार दिया जायेगा।

33 लाख की धोखाधड़ी में दूसरा आरोपी भी गिरफ्तार

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देहरादून। दून ग्रुप ऑफ कॉलेज के नाम पर सामान लेने वाले और अमन को बाहर बेचने वाले आरोपित को कैंट कोतवाली पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। इंस्पेक्टर विद्या भूषण नेगी ने बताया कि 13 दिसम्बर 2020 को दून ग्रुप ऑफ कालेज के निदेशक संजय कुमार चौधरी ने मामले को लेकर तहरीर दी थी।

उन्होंन तहरीर में बताया कि उनका 28 चकराता रोड पर दून पैरामैडिकल नाम से संस्थान है। उनके संस्थान का रंगाई-पुताई आदि का सारा सामान गांधी रोड स्थित मलिटी हार्डवेयर ऐजेंसी से आता है। ताहिर खान नाम का व्यक्ति पहले उनके संस्थान में काम करता था। वर्ष 2016 से वो लगातार संस्थान के नाम से कूटरचित फर्जी पर्ची बनाकर मलिटी हार्डवेयर एजेंसी से संस्थान के नाम पर सामान खरीदता था और उस सामान को सहस्राधारा रोड स्थित माटा हार्डवेयर की दुकान के मालिक राजीव कुमार को कम दामों में बेचता था।

इस तरह से ताहिर खान और राजीव कुमार ने आपराधिक षडयंत्र के तहत 33 लाख रुपये की धोखाधड़ी की। जांच के बाद पुलिस ने ताहिर खान उर्फ सुल्तान पुत्र अब्दुल समद खान निवासी तल्ला अधोईवाला को थाना रायपुर को धारा से गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया है, जहां से उसे न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।

धोखाधड़ी की दौराने विवेचना साक्ष्य संकलन के आधार पर *अभियुक्त ताहिर खान उर्फ सुल्तान पुत्र अब्दुल समद खान निवासी तल्ला अधोईवाला रायपुर रोड़ थाना रायपुर देहरादून* को धारा 420/120बी/467/468/471 आई0पी0सी0 के तहत गिरफ्तार कर माननीय न्यायालय में पेश किया गया है, जहाँ से उसे न्यायिक हिरासत में भेजा गया है।