Monday, April 28, 2025
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सीएम धामी के नेतृत्व में पूरे प्रदेश भर में संचालित है पिरूल लाओ, पैसे पाओ मिशन

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*पिरूल के मूल्य में अभूतपूर्व वृद्धि से स्थानीय लोगों को मिल रहा आजीविका का नया अवसर*

*धामी सरकार ने राज्य में वनाग्नि की घटनाओं को नियंत्रित करने के लिए पिरूल को जंगल से हटाने का फैसला लिया है*

देहरादून , मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का मुख्य उद्देश्य जंगल की आग को रोकना और नियंत्रित करना है। सरकार की इस नई पहल में पिरूल को जंगल से हटाने के साथ साथ स्थानीय लोगों की आय बढ़ाने की योजना है।

, मुख्यमंत्री धामी के निर्देश पर राज्य में ‘पिरूल लाओ-पैसे पाओ’ मिशन को शुरू कर दिया गया है जिसके तहत पिरूल कलेक्शन सेंटर पर 50 रुपये प्रति किलो की दर से पिरूल खरीदे जाएंगे। जबकि इससे पहले पिरूल की कीमत काफ़ी कम 2 से 3 रुपए प्रति किलो थी। पिरूल के मूल्य में अभूतपूर्व वृद्धि से राज्य में पिरूल के माध्यम से विभिन्न वस्तुओं को तैयार करने वाले काश्तकारों को भी इसका फायदा मिलेगा। एक और जहां वनाग्नि की घटनाओं पर काबू पाया जाएगा वहीं दूसरी ओर स्थानीय लोगों के लिए भी यह आजीविका का नया साधन बनेगा।

राहुल गांधी ने फिर कहा- सत्ता में आने पर अग्निवीर योजना बंद करेंगे

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चंडीगढ़(आरएनएस)। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने बुधवार को हरियाणा के महेंद्रगढ़ में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि यदि कांग्रेस सत्ता में आई तो अग्निवीर योजना को पूरी तरह से रद्द कर दिया जाएगा। राहुल गांधी ने कहा कि पीएम मोदी ने भारत के जवानों को मजदूरों की तरह बना दिया है। सेना अग्निवीर योजना नहीं चाहती है। यह पीएमओ द्वारा बनाई गई योजना है। एक बार कांग्रेस सत्ता में आएगी तो हम इस योजना को पूरी तरह से रद्द कर देंगे।
उन्होंने कहा, भाजपा का कहना है कि शहीद दो तरह के होंगे (एक सामान्य जवान और अधिकारी) जिन्हें पेंशन, शहीद का दर्जा और सभी सुविधाएं मिलेंगी। दूसरी तरफ गरीब परिवार का व्यक्ति जिसे अग्निवीर नाम दिया गया है। अग्निवीरों को न शहीद का दर्जा मिलेगा, न पेंशन, न कैंटीन की सुविधा।
राहुल गांधी ने कहा कि हरियाणा का युवा सेना में चयनित होने पर गर्व महसूस करता है।इसके अलावा राहुल गांधी ने प्रदर्शनकारी किसानों को लेकर भी बयान दिया।
उन्होंने कहा कि हरियाणा के किसान दिन भर खेतों में काम करते हैं। मोदी सरकार ने आपके अधिकार छीन लिए और अरबपतियों की मदद के लिए भूमि न्यायाधिकरण विधेयक को खत्म कर दिया। फिर तीन कृषि कानून आए, लेकिन सरकार को पीछे हटना पड़ा।
राहुल गांधी ने केंद्र सरकार पर 22 अरबपतियों का 16 लाख करोड़ रुपये का कर्ज माफ करने का आरोप लगाया।
उन्होंने आगे कहा कि चार जून को जब हम सत्ता में आएंगे तो किसानों का कर्ज माफ कर देंगे। जहां तक कृषि ऋण माफी का सवाल है, हम ‘कर्ज माफी’ आयोग लाएंगे।
बता दें कि हरियाणा की दस लोकसभा सीटों पर 25 मई को मतदान होना है।

चारधाम यात्रा : हैदराबाद के 11 सदस्यीय श्रद्धालु दल के साथ धोखाधड़ी, ट्रैवल एजेंसी के खिलाफ मुकदमा

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-चैकिंग के दौरान चारधाम यात्रा पर हैदराबाद से आये 11 सदस्यीय दल का आॕन लाइन रजिस्ट्रेशन मिला फर्जी

– आॕन लाइन रजिस्ट्रेशन में पिछली डेट को फोर्ज करके किया गया था चेंज

– दल से पूछताछ के उपरांत दिल्ली की ट्रैवल एजेन्सी पर हुआ मुकदमा दर्ज

ऋषिकेश, चार धाम दर्शन के लिए हैदराबाद से आए 11 सदस्यीय दल के साथ दिल्ली की एक ट्रैवल एजेंसी ने धोखाधड़ी कर दी। श्रद्धालुओं से ढाई लाख रुपए लेकर उनका रजिस्ट्रेशन 25 मई की डेट में कर दिया, जबकि वास्तव में 1 जून से था। जब हैदराबाद के श्रद्धालु ऋषिकेश पहुंचे। तो उन्हें पता चला कि उनके साथ धोखाधड़ी हुई है। इस मामले में पुलिस ने भी तत्काल कार्रवाई करते हुए दिल्ली की ट्रैवल एजेंसी के खिलाफ धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज कर लिया और पुलिस और प्रशासन ने मिलकर हैदराबाद के श्रद्धालुओं की यात्रा की व्यवस्था की।

ऋषिकेश क्षेत्रान्तर्गत खांड गांव में बनाये गये रजिस्ट्रेशन चैकिंग सेन्टर का एसएसपी देहरादून द्वारा निरीक्षण किया गया, इस दौरान एसएसपी देहरादून द्वारा अधीनस्थ अधिकारियों के साथ चारधाम यात्रा पर आये यात्रियों के ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन चैक करने के दौरान हैदराबाद से चारधाम यात्रा पर आये 11 सदस्यीय यात्रियों के दल के ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन में कूटरचना कर व तारिखो में हेरफेर किया जाना प्रकाश में आया, जिसके सम्बंध में दल की एक सदस्य मुक्कावली साई भ्रमर मधुरिया, निवासी श्रीनिवासा नगर बैंक कॉलोनी, विजयवाडा आंध्र प्रदेश से जानकारी करने पर उसके द्वारा बताया गया कि उनके द्वारा चारधाम यात्रा हेतु कुल 11 लोगों का legend India holidays, address 823 jaina tower 2 district centre, Janakpuri Delhi से ऑनलाइन पैकेज बुक किया गया था, जिसके संबंध में उनके द्वारा कंपनी के कर्मचारी कुमकुम वर्मा तथा डायरेक्टर ऋषि राज से फोन के माध्यम से वार्ता की गई थी, जिनके द्वारा उनके 11 सदस्यीय दल का चारधाम यात्रा के लिये रजिस्ट्रेशन एवं ठहरने आदि की व्यवस्था करने का आश्वासन देते हुए उसके एवज में उनसे 02 लाख 33 हजार रूपये लिये गये थे तथा बताया गया था कि चारधाम यात्रा के लिये उन सभी का दिनांक 25 मई 2024 से 30 मई 2024 के बीच का रजिस्ट्रेशन उनके द्वारा कराया जायेगा।
उन लोगों को कुमकुम वर्मा द्वारा व्हाट्सएप के माध्यम से रजिस्ट्रेशन की पीडीएफ भेजी गई थी, जिसे लेकर वे सभी चारधाम यात्रा के लिये ऋषिकेश आये थे। उक्त यात्रियों के ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन चैक करने पर उनके रजिस्ट्रेशन की वास्तविक दिनांक 01-06-2024 से 10-06-2024 के बीच होनी पायी गई।

यात्रियों के साथ हुई धोखाधडी के सम्बंध में एसएसपी देहरादून द्वारा तत्काल सम्बन्धित ट्रैवल एजेंसी संचालक के विरूद्व वैधानिक कार्यवाही करने के निर्देश दिये गये, जिस पर दल की सदस्य मुक्कावली साई भ्रमर मधुरिया, निवासी श्रीनिवासा नगर बैंक कॉलोनी, विजयवाडा आंध्र प्रदेश की ओर से धोखाधडी के सम्बंध में दी गई तहरीर पर कोतवाली ऋषिकेश में सम्बन्धित ट्रैवल एजेंसी के विरुद्ध धारा 420 468, 120 बी भादवि के अंतर्गत अभियोग पंजीकृत किया गया है,
साथ ही प्रशासन के सहयोग से हैदराबाद से आये दल के चारों धामो के दर्शन हेतु आवश्यक व्यवस्थायें सुनिश्चित की गई, जिस पर दल के सभी सदस्यों द्वारा पुलिस के मित्रवत व सहयोगात्मक व्यवहार की प्रशांसा करते हुए यात्रा में आने वाले यात्रियों की सुरक्षा हेतु उत्तराखण्ड सरकार द्वारा की गई व्यवस्थाओं की सरहाना करते हुए आभार व्यक्त किया गया।

 

 

भिंगराडा वन क्षेत्र में जैव विविधता के संरक्षण की ली गयी शपथ

चंपावत, अंतर्राष्ट्रीय जैव विवधता दिवस के उपलक्ष्य में चंपावत के भिंगराडा वन क्षेत्र में स्थानीय लोगों ने जैव विविधता की रक्षा के लिये अपना योगदान देने का संकल्प लिया, इस मौके पर ग्राम सभा के सभी लोगों को शपथ दिलाई गई कि हम सभी लोग अपने आसपास पाए जाने वाली जैव विविधता का संरक्षण करने के अपना योगदान देंगे।
वन विभाग की ओर से पवन सिंह महरा वन दरोगा, अभिषेक शर्मा वन दरोगा, राखी जोशी वन आरक्षी, ललिता भंडारी वन आरक्षी रुचि बिष्ट वन आरक्षी, भोलादत्त जोशी एवं ईश्वरी दत्त जोशी आदि शामिल थे।

 

पूर्व विधायक ने दी चेतावनी : पर्यटन सचिव के खिलाफ देंगे धरना

“पर्यटन सचिव मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के आदेश की कर रहे हैं अवहेलना”

देहरादून(एल मोहन लखेड़ा), प्रदेश के एक पूर्व विधायक को पर्यटन सचिव के खिलाफ धरने पर बैठने को मजबूर होना पड़ रहा है। पूर्व विधायक का आरोप है कि पर्यटन सचिव, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के आदेश की अवहेलना कर रहे हैं। स्थानीय प्रेस क्लब में घनसाली के पूर्व विधायक भीमलाल आर्य ने कहा कि प्रदेश के युवाओं के रोजगार के लिए कुछ भी करने को तैयार हैं।
बुधवार को पत्रकारों से रूबरू होते हुये आर्य ने बताया कि अलकनंदा गंगा रिवर राफ्टिंग समिति के सदस्य अपनी मांगों को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी समय कई अधिकारियों एवं पूर्व मुख्यमंत्रियों से भी मिल चुके हैं लेकिन उनकी मांगों पर कोई कार्रवाई नहीं हुई।
एक सवाल के जवाब में पूर्व विधायक आर्य ने बताया कि अलकनंदा पर्यटक एवं यात्री न के बराबर पहुंच रहे हैं, जिस कारण रिवर रफ्टिंग का काम करने वाले युवाओं के सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है।
समिति की मुख्य मांग है कि उन्हें गंगा रिवर राफ्टिंग समिति के साथ मर्ज कर दिया जाए, जिससे बच्चे गंगा में अपना रोजगार कर सकें। पूर्व विधायक आर्य के अनुसार, लेकिन इस संबंध में पर्यटन सचिव की ओर से उन्हें कहा गया की सरकार उन्हें झुनझुना थमा रही है।

प्रदेश के युवाओं के लिए अभी तक कोई निर्णय न होने से रोष व्यक्त करते हुए पूर्व विधायक भीमलाल आर्य ने कहा ऐसा नहीं है कि यह मांग नई हो, पूर्व में भी गंगा में राफ्टिंग की अनुमति उन्हें दी गई थी। पूर्व विधायक ने स्पष्ट कहा जल्द ही अलकनंदा गंगा रिवर राफ्टिंग समिति की मांगों को नहीं माना गया तो वह पर्यटन सचिव के खिलाफ धरने पर बैठेंगे।इस अवसर पर पत्रकार वार्ता के दौरान समिति के अध्यक्ष सुनील आर्य, सचिन रमेश पुंडीर सहित कई सदस्य मौजूद रहे।

 

आरोपी नर्सिंग आफिसर की सेवा समाप्ति की मांग पर अड़े एम्स के डाक्टर

“चिकित्सकों ने बुधवार को भी डीन अकैडमी कार्यालय का घेराव जारी रखा”

ॠषिकेश, अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान एम्स ऋषिकेश में महिला चिकित्सक के साथ छेड़छाड़ के मामले में रेजिडेंट डाक्टर्स एसोसिएशन का गुस्सा शांत होने का नाम नहीं ले रहा है। आरोपी नर्सिंग आफिसर सतीश कुमार की गिरफ्तारी हो चुकी है संस्थान की ओर से उसे निलंबित किया जा चुका है अब चिकित्सा उसकी सेवा समाप्ति की मांग कर रहे हैं। मांग के समर्थन में बड़ी संख्या में चिकित्सकों ने बुधवार को भी डीन अकैडमी कार्यालय का घेराव जारी रखा है। आपातकालीन सेवाओं को छोड़कर डाक्टर हड़ताल पर है।
एम्स ऋषिकेश में ट्रामा सर्जरी विभाग में सोमवार की शाम आपरेशन के दौरान ड्यूटी पर तैनात एक महिला चिकित्सक के साथ वही ड्यूटी पर मौजूद नर्सिंग आफिसर सतीश कुमार निवासी राजस्थान में छेड़छाड़ की थी। चिकित्सक की ओर से अपने विभाग में इस मामले की शिकायत की गई। इसके बाद मंगलवार को रेजिडेंट डाक्टर्स एसोसिएशन के बैनर तले बड़ी संख्या में चिकित्सकों ने डीन अकादमी कार्यालय का घेराव कर जोरदार हंगामा किया। इसके बाद कोतवाली पुलिस आरोपी को साइकैटरिस्ट वार्ड के भीतर से गिरफ्तार कर ले गई। एम्स प्रशासन की ओर से उसे निलंबित कर दिया गया था। इस मामले में राज्य महिला आयोग ने भी तत्काल संज्ञान लिया और अध्यक्ष कुसुम कंडवाल ने एम्स पहुंचकर सख्त कार्रवाई की बात कही।
बुधवार को भी मामला थमा नहीं, रेजिडेंट डाक्टर्स एसोसिएशन के सदस्यों ने डीन एकेडमी कार्यालय का घेराव जारी रखा। उनकी मांग है कि आरोपी सतीश कुमार की सेवाएं तत्काल समाप्त की जाए और आरोपी की ड्यूटी लगाने वाले एएनएस सिनोज का भी निलंबन किया जाए।
इस मामले में एम्स प्रशासन के अधिकारियों की फिर से बुधवार दोपहर में बैठक हुई।
चिकित्साधीक्षक एम्स प्रोफेसर संजीव कुमार मित्तल से बातचीत करने पर उन्होंने कहा कि आरोपी का निलंबन कर दिया गया है। सेवा समाप्ति का अधिकार उच्च स्तर पर बैठे अधिकारियों को है। जिसके लिए अध्यक्ष एम्स को लिखा गया है। उन्होंने कहा कि इस मामले में एएनएस को नोटिस जारी कर 72 घंटे के भीतर स्पष्टीकरण देने को कहा गया है।

मोइला टॉप में हुई ‘मेरे गांव की बाट फिल्म के गानों की शूटिंग

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विकासनगर(आरएनएस)।  जौनसारी फिल्म ‘मेरे गांव की बाट के गानों की शूटिंग मोइला टॉप में की गई। मोइला टॉप की प्राकृतिक खूबसूरती देखकर फिल्म के लेखक और निर्देशक अनुज जोशी अभिभूत नजर आए। उन्होंने कहा कि फिल्मों की शूटिंग के लिए जौनसार बावर सबसे बेहतरीन डेस्टिनेशन में से एक है। ‘मेरे गांव की बाट फिल्म के दूसरे चरण की शूटिंग जौनसार बावर में चल रही है। इस फिल्म की पहली बार मोइला टॉप पर शूटिंग हो रही है। इस दौरान फिल्म के लेखक व निर्देशक अनुज जोशी ने कहा कि फिल्म की शूटिंग के लिहाज से जौनसार बावर के ग्रामीण दृश्यों के साथ ही बांज, बुरांश और घने-घने जंगलों के बीच में छोटे-छोटे बुग्याल फिल्म के गानों की शूटिंग के लिए उपयुक्त स्थान है। फिल्म के लिए ‌हर प्रकार की लोकेशन जौनसार बावर में मिल रही है। इसके दृश्य दर्शकों को अत्यंत पसंद आएंगे। फिल्म के क्रिएटिव डायरेक्ट केएस चौहान ने कहा कि जौनसार बावर में फिल्म बनाने का उद्देश्य यहां के अत्यंत सुंदर स्थानों को प्रचारित-प्रसारित करना है। इससे तीर्थाटन और पर्यटन को बढ़ावा मिले और स्थानीय लोगों को रोजगार के अवसर प्राप्त हों। उन्होंने कहा है कि बावर क्षेत्र में फिल्म के गीतों की अधिकांश शूटिंग हो गई है। अब लाखामंडल, गढ़ बैराट आदि स्थानों पर भी शूटिंग होगी। शूटिंग के दौरान फिल्म के अभिनेता अभिनव चौहान, अभिनेत्री प्रियंका, गुड्डी चौहान, रीना चौहान, अमित चौहान आदि के अलावा फिल्म के मुख्य सहायक निदेशक दीपक नेगी, कैमरा मैन हरीश नेगी, अमित वी कपूर, प्रोड्यूसर मैनेजर विजय वि. शर्मा आदि मौजूद रहे।

मालिकाना हक़ को लेकर मलिन बस्तीवासियों का नगर निगम कूच : प्रदर्शन व सभा के बाद नगर आयुक्त को सौंपा ज्ञापन

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भाजपा सरकार आती है मलिन बस्तियों पर आफत लाती है : सूर्यकांत

30 जून तक हल नहीं निकाला तो होगा मुख्यमंत्री आवास कूच : सूर्यकांत धस्मान

देहरादून(एल मोहन लखेड़ा), जनपद में वर्ष 2016 के बाद की बस्तियों को हटाने के एनजीटी और हाईकोर्ट के निर्देश के बाद नगर निगम ने पहले चरण में रिस्पना नदी के किनारे काठ बंगला से मोथरोवाला तक 27 अवैध बस्तियों को चिन्हित किया है। लेकिन इन बस्तियों पर बुलडोजर चलने से पहले राजनीति हावी हो गयी, मलिन बस्तियों को मालिकाना हक़ देने की मांग को लेकर आज कांग्रेस केप्रदेश उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना के नेतृत्व में मलिन बस्ती के लोगों का हुजूम सड़कों पर उतर आया। उत्तराखंड मलिन बस्ती विकास परिषद व महानगर कांग्रेस के आह्वान पर दून की विभिन्न मलिन बस्तियों के हजारों लोग प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय में एकत्रित हुए और उत्तराखंड मलिन बस्ती विकास परिषद के केंद्रीय अध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना तथा महानगर कांग्रेस अध्यक्ष डा. जसविंदर सिंह गोगी के नेतृत्व में नगर निगम के लिए कूच किया।
मलिन बस्तियों को मालिकाना हक़ देने और मलिन बस्तियों को उजाड़ने के खिलाफ जोरदार नारेबाजी करते हुए मलिन बस्तीवासी राजपुर रोड से होते हुए दर्शनलाल चौक से नगर निगम देहरादून पहुंचे जहां काफी देर तक प्रदशन किया गया व सभा आयोजित की गई। अपने संबोधन में भारतीय जनता पार्टी पर गरीबों के साथ वादा खिलाफी का आरोप जड़ते हुए धस्माना ने कहा कि जब जब प्रदेश में या स्थानीय निकायों में भाजपा सरकारें बनती हैं तब तब गरीबों पर आफत आती है। उन्होंने कहा कि 2012 में राज्य में कांग्रेस की सरकार बनी तो गरीबों व मलिन बस्ती के लोगों से मालिकाना हक का वायदा कांग्रेस ने किया था उसके अनुरूप मलिन बस्तियों को मालिकाना हक देने के लिए तत्कालीन मुख्यमंत्री हरीश रावत ने बाकायदा एक समिति बनाई और उस समिति की रिपोर्ट की संस्तुति पर मलिन बस्तियों को मालिकाना हक़ देने के लिए नियम कानून बनाए व जब लोगों को मालिकाना हक देने की प्रक्रिया शुरू की किंतु 2017 में राज्य में भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनी और उसने इस प्रक्रिया को रोक दिया और वर्ष 2018 में एक पीआईएल पर माननीय उच्च न्यायालय के एक आदेश की आड़ ले कर राज्य भर में मलिन बस्तियों को उजाड़ने की साजिश शुरू कर दी जिसका कांग्रेस ने डट कर विरोध किया व मुख्यमंत्री आवास कूच किया तो राज्य की सरकार आनन फानन में एक अध्यादेश ले आई और तब से समय समय पर मलिन बस्तियों के लोगों को डराया जाता है और चुनावों में मालिकाना हक़ देने का वायदा भाजपा करती है किंतु चुनावों के बाद मलिन बस्तियों की कोई सुध नहीं लेती।
धस्माना ने कहा की आज हम सरकार को दो टूक यह कहने आए हैं कि मलिन बस्तियों को मालिकाना हक़ देने के कानून पर अमल करो और अगर सरकार ने 30 दिन में मलिन बस्तियों के मालिकाना हक़ के मामले में निर्णय नहीं लिया तो उत्तराखंड मलिन बस्ती विकास परिषद राज्य व्यापी आंदोलन करेगी व विधानसभा और मुख्यमंत्री आवास कूच किया जाएगा। धस्माना ने कहा कि आज देहरादून की सभी मलिन बस्तियों में रहने वाले लोगों में दहशत और भ्रम पैदा हो गया है क्योंकि कुछ बस्तियों में निशान लगाए जा रहे हैं यह कह कर कि 2016 के बाद बसे लोगों को हटाया जाएगा जबकि कई ऐसे मकानों पर भी निशान लगाए गए हैं जो 2000 से भी पहले के बने हुए हैं।
धस्माना ने आरोप लगाया कि भाजपा के इशारे पर आज के कार्यक्रम को फेल करने के लिए विभिन्न थानों की पुलिस ने अपने क्षेत्र की बस्ती के लोगों को रैली में नहीं जाने को कहा और हद तो यह हो गई कि 24 घंटे पूर्व कार्यक्रम की सूचना जिलाधिकारी को लिखित में देने के बावजूद आज सुबह तक कार्यक्रम की लिखित अनुमति नहीं दी गई और पुलिस के अधिकारी कूच निकालने पर मुकद्दमा कायम करने की धमकी देते रहे। श्री धस्माना ने कहा कि मलिन बस्ती वासियों और गरीब लोगों के लिए उनके ऊपर एक नही सौ मुकद्दमे भी दर्ज कर लिए जाएं तो उनको परवाह नहीं वे मलिन बस्तियों के मालिकाना हक़ की लड़ाई लड़ते रहेंगे।
इस अवसर पर महानगर कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डा. जसविंदर सिंह गोगी ने कहा कि कांग्रेस हमेशा मलिन बस्तियों के लोगों की लड़ाई लड़ती रही है और अधिकांश मलिन बस्तियां कांग्रेस द्वारा ही बसाई गई हैं इसलिए इनके ऊपर जब भी कोई मुसीबत आती है तो कांग्रेस सबसे पहले आवाज उठाती है। उन्होंने कहा कि आज भाजपा सरकार मलिन बस्तियों को उजाड़ने की को साजिश कर रही है उसको केंग्रेस किसी भी कीमत पर सफल नहीं होने देगी।

महिला कांग्रेस अध्यक्ष व राजपुर पार्षद श्रीमती उर्मिला थापा ने कहा कि देहरादून की चालीस प्रतिशत आबादी मलिन बस्तियों में रहती है उनको मालिकाना हक़ देने की शुरुआत कांग्रेस राज में हुई थी किंतु भाजपा जब से आई मलिन बस्तियों पर उनकी कुदृष्टि पड़ी है। प्रदेश उपाध्यक्ष पूर्ण सिंह रावत ने कहा की कांग्रेस पार्टी धस्माना के नेतृत्व में मलिन बस्तियों की लड़ाई को अंजाम तक पहुंचाएगी। पार्षद इलियास अंसारी ने कहा कि भगत सिंह कालौनी और रिसपना तथा बिंदाल नदियों के किनारे बसी मलिन बस्तियां पांच पांच दशक पुरानी हैं उनके मकानों पर भी निशान लगाए जा रहे हैं। पार्षद अर्जुन सोनकर ने कहा की कांग्रेस पूरी शिद्दत के साथ मलिन बस्तियों की लड़ाई लड़ेगी। पार्षद नीनू सहगल ने कहा कि हरीश रावत जी के मुख्यमंत्रित्व काल में जो समिति बनी थी उसके सदस्य के रूप में हमने जो कानून बनवाया था उसको भाजपा सरकार ने निष्प्रभावी कर दिया। पार्षद सुमित्रा ध्यानी ने कहा की आज भाजपा राज में मलिन बस्तियों में पानी वा बिजली के नए कनैक्सन नहीं दिए जा रहे। प्रदर्शन वा सभा के पश्चात श्री धस्माना वा डॉक्टर जसविंदर सिंह गोगी ने मुख्य नगर आयुक्त के माध्यम से मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन सौंपा। प्रदेश उपाध्यक्ष पूर्ण सिंह रावत निवर्तमान पार्षदों में नीनू सहगल, उर्मिला थापा, अमित भंडारी, मुकीम अहमद, एतात खान, सुमित्रा ध्यानी,अर्जुन सोनकर, सविता सोनकर, इलियास अंसारी, संगीता गुप्ता पूर्व पार्षदों में प्रमुख रूप से जगदीश धीमान, ललित भद्री,राजेश उनियाल,राजेश पुंडीर, अरुण वाल्मीकि, दिनेश कौशल, विपुल नौटियाल, अरविंद शर्मा, अनिल शर्मा, आनंद सिंह पुंडीर और विभिन्न मलिन बस्तियों से राइस फातिमा, अनिता दास,शुभम सैनी, संजय भारती,पुरषोत्तम रावत,मनमोहन शर्मा,सावित्री थापा,घनश्याम वर्मा,अनुज दत्त शर्मा,आलोक मेहता, मगन सिंह पुंडीर, सलीम अंसारी, अवधेश कथिरिया,इजहार,जगपाल शर्मा,सोनू काजी, अमीचंद सोनकर, रवीश जमाल समेत हजारों की संख्या में मलिन बस्तीवासी उपस्थित रहे।

 

शिवसेना (शिंदे) उत्तराखंड़ ने धार्मिक अनुष्ठान के साथ मनाया राष्ट्रीय सचिव अडसुल का जन्मदिवस

देहरादून, शिवसेना (शिंदे) उत्तराखंड़ की प्रदेश कार्यकारिणी द्वारा दून के वसंतविहार में स्थित खाटू श्यामजी के पावन धाम पर अपने राष्ट्रीय सचिव कैप्टन अभिजीत अडसुल साहेब का जन्मदिन धूमधाम से मनाया | इस अवसर पर उनके दीर्घायु, उत्तम स्वास्थ्य एवं उज्ज्वल राजनीतिक भविष्य के लिए एक धार्मिक अनुष्ठान भी आयोजित किया गया, जिसके अंतर्गत सर्वप्रथम सुंदरकांड का पाठ के बाद हवन का आयोजन हुआ, इस दौरान पवित्र आहुतियों के माध्यम से हनुमान चालीसा का उच्चारित किया गया और देश की अखंडता के लिये संकल्प के साथ आरती वंदना की गयी ।
इस अवसर पर प्रदेश उपप्रमुख श्री राकेश सकलानी ने अपने संबोधन में राष्ट्रीय सचिव कैप्टन अभिजीत अडसुल साहेब के दीर्घायु उत्तम स्वास्थ्य एवं उज्ज्वल राजनीतिक जीवन की कामना करते हुए अपना बधाई संदेश दिया। कार्यक्रम में प्रदेश पदाधिकारियों, देहरादून जनपद पदाधिकारियों, शिवसैनिकों के साथ बडी संख्या में मातृशक्ति ने अपनी सहभागिता निभायी।
इस पूरे कार्यक्रम के दौरान प्रदेश प्रभारी भूपेन्द्र भट्ट, प्रदेश मुख्य महासचिव अखिल शर्मा स्वामी, जिला अध्यक्ष भानू प्रताप, जिला महासचिव राजीव एवं बड़ी संख्या में शिवसैनिक तथा मातृशक्ति उपस्थित रही ।

 

आरोपी नर्सिंग आफिसर की सेवा समाप्ति की मांग पर अड़े एम्स के डाक्टर

“चिकित्सकों ने बुधवार को भी डीन अकैडमी कार्यालय का घेराव जारी रखा”

ॠषिकेश, अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान एम्स ऋषिकेश में महिला चिकित्सक के साथ छेड़छाड़ के मामले में रेजिडेंट डाक्टर्स एसोसिएशन का गुस्सा शांत होने का नाम नहीं ले रहा है। आरोपी नर्सिंग आफिसर सतीश कुमार की गिरफ्तारी हो चुकी है संस्थान की ओर से उसे निलंबित किया जा चुका है अब चिकित्सा उसकी सेवा समाप्ति की मांग कर रहे हैं। मांग के समर्थन में बड़ी संख्या में चिकित्सकों ने बुधवार को भी डीन अकैडमी कार्यालय का घेराव जारी रखा है। आपातकालीन सेवाओं को छोड़कर डाक्टर हड़ताल पर है।
एम्स ऋषिकेश में ट्रामा सर्जरी विभाग में सोमवार की शाम आपरेशन के दौरान ड्यूटी पर तैनात एक महिला चिकित्सक के साथ वही ड्यूटी पर मौजूद नर्सिंग आफिसर सतीश कुमार निवासी राजस्थान में छेड़छाड़ की थी। चिकित्सक की ओर से अपने विभाग में इस मामले की शिकायत की गई। इसके बाद मंगलवार को रेजिडेंट डाक्टर्स एसोसिएशन के बैनर तले बड़ी संख्या में चिकित्सकों ने डीन अकादमी कार्यालय का घेराव कर जोरदार हंगामा किया। इसके बाद कोतवाली पुलिस आरोपी को साइकैटरिस्ट वार्ड के भीतर से गिरफ्तार कर ले गई। एम्स प्रशासन की ओर से उसे निलंबित कर दिया गया था। इस मामले में राज्य महिला आयोग ने भी तत्काल संज्ञान लिया और अध्यक्ष कुसुम कंडवाल ने एम्स पहुंचकर सख्त कार्रवाई की बात कही।
बुधवार को भी मामला थमा नहीं, रेजिडेंट डाक्टर्स एसोसिएशन के सदस्यों ने डीन एकेडमी कार्यालय का घेराव जारी रखा। उनकी मांग है कि आरोपी सतीश कुमार की सेवाएं तत्काल समाप्त की जाए और आरोपी की ड्यूटी लगाने वाले एएनएस सिनोज का भी निलंबन किया जाए।
इस मामले में एम्स प्रशासन के अधिकारियों की फिर से बुधवार दोपहर में बैठक हुई।
चिकित्साधीक्षक एम्स प्रोफेसर संजीव कुमार मित्तल से बातचीत करने पर उन्होंने कहा कि आरोपी का निलंबन कर दिया गया है। सेवा समाप्ति का अधिकार उच्च स्तर पर बैठे अधिकारियों को है। जिसके लिए अध्यक्ष एम्स को लिखा गया है। उन्होंने कहा कि इस मामले में एएनएस को नोटिस जारी कर 72 घंटे के भीतर स्पष्टीकरण देने को कहा गया है।

अन्तर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस के अवसर उत्तराखण्ड जैव विविधता बोर्ड और यूकॉस्ट द्वारा संयुक्त रूप से कार्यक्रम का आयोजन

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देहरादून। अंतर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस हर साल 22 मई  को अंतरराष्ट्रीय जैव विविधता दिवस (International Biodiversity Day) मनाया जाता है। उत्तराखण्ड जैव विविधता बोर्ड तथा उत्तराखण्ड राज्य विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद द्वारा संयुक्त रूप आंचलिक विज्ञानं केंद्र , यूकॉस्ट में एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का मुख्य विषय था योजना का हिस्सा बनें। इस कार्यक्रम के मुख्य अतिथि पद्यमभूषण, डा0 अनिल प्रकाश जोशी रहे। कार्यक्रम की शुरुआत उत्तराखंड जैव विविधता बोर्ड द्वारा आयोजित एक छायाचित्र प्रदर्शनी द्वारा हुई । डॉ डीपी उनियाल , संयुक्त निदेशक यूकॉस्ट ने सभी अतिथियों का स्वागत करते हुए, जैव विविधता संरक्षण पर अपने विचार व्यक्त किये। उन्होंने कहा की विज्ञान आधारित अभियान की सफलता जन जागरूकता और सहभागिता पर निर्भर करती है। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि, डॉ अनिल प्रकाश जोशी ने हिमालय क्षेत्र की जैव विविधता, उसके संरक्षण पर अपने विचार व्यक्त किये। उन्होंने कहा कि इकोलॉजी और इकॉनमी के परस्पर सहयोग से ही हम सर्वांगीण विकास की परिकल्पना कर सकते हैं। उन्होंने कहा की हिमालयी क्षेत्र जैवविविधता का हॉटस्पॉट होने के साथ साथ प्राकृतिक आपदाओं की दृष्टि से अति संवेदनशील भी है अतः इस क्षेत्र में विज्ञान आधारित विकास की भूमिका और बढ़ जाती है। May be an image of 2 people, people standing, hospital and textउन्होंने कहा कि पारिस्थितिकीय तंत्र के संतुलन हेतु हमे स्थानीय समुदायों की महत्वपूर्ण भूमिका को पहचानना होगा और इनके कौशल विकास तथा क्षमता निर्माण पर भी ध्यान देना होगा। उन्होंने कहा हमे पर्यावरण संरक्षण के क्षेत्र में हुए डेटा आधारित अनुसंधान पर ध्यान देना होगा। सदस्य सचिव, जैव विविधता बोर्ड, श्री आर के मिश्रा ने जैव विविधता प्रबंधन समिति के कार्यों , लक्ष्यों और आगामी प्रस्ताव की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि प्रकृति संरक्षण हम सब की जिम्मेदारी है और हमे इसमें सहयोग करना चाहिए। इस अवसर पर विगत वर्षों में जैव विविधता बोर्ड द्वारा विभिन्न क्षेत्रों में किये गए कार्यों और प्रस्तावित जैव विविधता स्थलों कि जानकारी से अवगत करने हेतु एक लघु फिल्म भी प्रदर्शित की गयी। कार्यक्रम में बोर्ड द्वारा आयोजित राज्य चिन्ह फोटोग्राफी प्रतियोगिता और विभिन्न स्कूल में आयोजित कला प्रतियोगिता, स्लोगन प्रतियोगिता और निबंध लेखन प्रतियोगिता के विजेताओं को भी सम्मानित किया गया। इस अवसर पर , श्री राकेश खत्री, नेस्ट मन ऑफ़ इंडिया ने सबको अपने कार्यो से अवगत कराया और कहा कि पक्षियों के लिए घोसले और दाना पानी की व्यवस्था करके भी हम पर्यावरण का सहयोग कर सकते हैं। उन्होंने इस मुहीम को समेटने सहेजने का विज्ञान कहा जो कि प्रकृति संरक्षण में सहयोगी है। प्रोफेसर दुर्गेश पंत, महानिदेशक यूकॉस्ट ने कहा कि हमे प्रकृति के उपभोक्ता से अब प्रकृति सेवक बनने की और अग्रसर होना चाहिए। उन्होंने प्रकृति संरक्षण, संवर्धन और वेब ऑफ़ लाइफ पर अपने विचार व्यक्त किये। इस अवसर पर शीतलाखेत क्षेत्र और वहां पर आयोजित जैव विविधता संरक्षण पर बनी एक लघु फिल्म भी प्रदर्शित की गयी और श्री महातिम यादव और गजेंद्र पाठक द्वारा क्षेत्र में किये गए विभिन्न कार्यक्रमों और नयी पहल जैसे औंण दिवस आदि की जानकारी दी गयी। जैविविधता बोर्ड के अध्यक्ष, डॉ धनञ्जय मोहन ने कहा कि हमे वन क्षेत्र को सीखने के क्षेत्र के रूप में देखना चाहिए । उन्होंने कहा कि आनंद वन जैसे और भी क्षेत्र विकसित किये जाने चाहिए जो लर्निंग क्षेत्र का काम करेंगे। इस अवसर पर डॉ मनमोहन रावत , वैज्ञानिक अधिकारी, यूकॉस्ट ने सभी आगंतुकों का धन्यवाद किया । कार्यक्रम में निदेशक राजा जी, डॉ साकेत बडोला , उत्तराखंड जैव विविधता बोर्ड के अधिकारी, वन विभाग के अधिकारी, जैव विविधता संरक्षण समिति के सदस्य , यूकॉस्ट और आंचलिक विज्ञान केंद्र के अधिकारी और कर्मचारी तथा विभिन्न विद्यालयों और कॉलेज से आये दो सौ से अधिक छात्र – छात्राएं उपस्थित रहे।May be an image of 8 people, hospital and text that says 'REGIONAL SCIENCE CENTRE 1番番: MOSCHING V'

कलाकारों को सशक्त बनाना: समीक्षा बदोला मेकअप स्टूडियो लाते हैं व्यापक मेकअप कोर्स

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देहरादून,  – हमारे विशेष 15 दिन के क्लास में समीक्षा बदोला मेकअप स्टूडियो में शामिल हों, जहाँ सौंदर्य कला के जीवंत क्षेत्र में रचनात्मकता और विशेषज्ञता मिलती है। अपनी कलाकृति के लिए प्रसिद्ध और पांच साल के उद्योग अनुभव रखने वाली समीक्षा बदोला गर्व से उनके अनुकूल मेकअप कोर्स पेश करती हैं, जो उन व्यक्तियों के लिए बनाए गए हैं जो मेकअप उद्योग में उन्नति की इच्छा रखते हैं। देहरादून के जीवंत शहर में स्थित हमारा स्टूडियो, आपके कौशल को परिष्कृत करने के लिए एक कैनवास के रूप में कार्य करता है, मौलिक तकनीकों से लेकर उन्नत निदान तक की एक विस्तृत श्रृंखला को पेश करता है। अपने विस्तृत इतिहास से, जिसमें उनकी कौशल और ड्रेपिंग में डॉली जैन जैसे उद्योग के महानायकों से प्रमाणपत्र प्राप्त किए गए हैं, समीक्षा ने अपने कोर्सों को नवाचार और परंपरा के मिश्रण के साथ लगाया है। प्रतिभा को पोषित करने और रचनात्मकता को बढ़ावा देने के समर्पण के साथ, समीक्षा बदोला के कोर्स “मेकअप इंडस्ट्री में अपना करियर बनाएं” वाक्य को दोहराते हैं, जो उनके छात्रों को सशक्त करने के लिए उनका समर्पण प्रतिबिंबित करता है। व्यक्तिगत निर्देशन और हाथों की मार्गदर्शन के माध्यम से, प्रतिभागी न केवल इस गतिशील क्षेत्र में सफलता के लिए आवश्यक कौशल और ज्ञान को हासिल करेंगे, बल्कि एक परिवर्तनात्मक शिक्षा की यात्रा पर भी उतरेंगे। हमारे साथ जुड़ें, और अपने मेकअप के प्रति अपनी प्रेम को एक सफल करियर के रूप में खिलने दें, समीक्षा बदोला की प्रशिक्षण के अनुभवी पाठ्यक्रम के अध्यापन के तहत जानिए: फाउंडेशन तकनीक | त्वचा प्रकार और बनावट | रंग सिद्धांत
कोर्सों को सफलतापूर्वक पूरा करने पर, प्रतिभागी प्रमाणपत्र प्राप्त करेंगे, जो उनकी विशेषज्ञता और मेकअप उद्योग में करियर की तैयारी की पुष्टि करेगा।

‘बाल विवाह मुक्त भारत’ अभियान के तहत हुई कार्यशाला, 22 राज्यों के दो सौ संगठनों ने लिया हिस्सा

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नई दिल्ली, देश से 2030 तक बाल विवाह के खात्मे के लिए एक कार्यशाला आयोजित की गयी , जिसमें असाधारण एकता और दृढ़ निश्चय का प्रदर्शन करते हुए 2024-25 के लिए बाल विवाह के खिलाफ रोडमैप तैयार करने के लिए ‘बाल विवाह मुक्त भारत’ अभियान के तकरीबन 200 सहयोगी संगठन नई दिल्ली में इकट्ठा हुए।
उत्तराखंड़ से गैर सरकारी संगठन समर्पण सोसाइटी फॉर हेल्थ रिसर्च एंड डेवलपमेंट ने बाल विवाह पर नई दिल्ली में हुई कार्यशाला में हिस्सा लिया और बाल विवाह मुक्त भारत अभियान से जुड़े 22 राज्यों के गैरसरकारी संगठनों ने 2024-25 के लिए रोडमैप पर चर्चा की |
इस नए रोडमैप और इससे मिली ऊर्जा से समर्पण सोसाइटी फॉर हेल्थ रिसर्च एंड डेवलपमेंट अपने जिले और अंतत: राज्य को 2030 तक बाल विवाह मुक्त बनाने के प्रति आश्वस्त है, कार्यशाला में मिले विचारों और उस पर अमल को उत्साहित देहरादून में काम कर रहे समर्पण सोसाइटी फॉर हेल्थ रिसर्च एंड डेवलपमेंट आश्वस्त है कि वह जिले को और अंतत: राज्य को 2030 बाल विवाह मुक्त बनाएगा।
बाल विवाह मुक्त भारत अभियान जमीनी स्तर पर 2022 में शुरू हुआ, जिसने अपनी पहुंच, प्रभाव और सहयोगियों के नेटवर्क में उल्लेखनीय विस्तार किया है। पिछले वर्ष तक अभियान के 161 सहयोगी संगठन देश के 17 राज्यों के 300 जिलों में काम कर रहे थे जबकि अब यह अभियान 22 राज्यों तक पहुंच चुका है। इनमें से ज्यादातर जिले ऐसे हैं जिन्हें बाल विवाह की ऊंची दर वाले जिलों के रूप में चिह्नित किया गया है। यद्यपि अभियान का मुख्य फोकस बाल विवाह पर है लेकिन यह बच्चों की ट्रैफिकिंग और बाल यौन शोषण जैसे बच्चों के सुरक्षा व संरक्षण से जुड़े मुद्दों पर भी काम कर रहा है।
कार्यशाला में मिले अनुभवों और सीखों के बारे में बात करते हुए . समर्पण सोसाइटी फॉर हेल्थ रिसर्च एंड डेवलपमेंट के अध्यक्ष श्री विपिन पंवार ने कहा, “हमारे लिए यह गर्व की बात है कि बाल अधिकारों के लिए काम कर रहे हमारे जैसे तमाम संगठन बाल विवाह के खात्मे के साझा लक्ष्य के लिए साझा प्रयास कर रहे हैं। इस कार्यशाला में हमने इस उद्देश्य की प्राप्ति के लिए नए और लक्ष्य केंद्रित तरीके सीखे। इस नए रोडमैप के साथ हम जमीनी स्तर पर नए विचारों पर अमल में सक्षम होंगे एवं राज्य और अपने जिले में बाल विवाह के खिलाफ लड़ाई में उल्लेखनीय प्रगति करेंगे। हम अपने जिले में पंचायतों, जिला परिषदों और पंचों-सरपंचों के साथ मिलकर काम करते रहेंगे। जमीनी स्तर पर जनजागरूकता अभियानों और कानूनी हस्तक्षेपों के माध्यम से हम यह सुनिश्चित करने का प्रयास करेंगे कि लोगों में नैतिक जवाबदेही का भाव पैदा करने के अलावा उन्हें इस बाबत जागरूक किया जा सके कि बाल विवाह अपराध है और उन्हें इस गैरकानूनी काम के नतीजे भुगतने पड़ सकते हैं।”
इस राष्ट्रीय कार्यशाला में चले मंथन के बाद 2024-25 के लिए अभियान के रोडमैप पर सहमति बनी जिसमें तय किया गया कि बच्चों के अधिकारों के संरक्षण में कानूनी दखल सबसे प्रभावी औजार है। इन गैरसरकारी संगठनों का उद्देश्य अपने जिलों में जिला प्रशासन और बाल विवाह निषेध अधिकारी (सीएमपीओ) के साथ समन्वय से बाल विवाह के खिलाफ बने कानूनों पर अमल सुनिश्चित करना और जनजागरूकता अभियान चलाना, लोगों को बाल विवाह नहीं करने के लिए समझाना-बुझाना और कानूनी उपायों की मदद से बाल विवाह की रोकथाम करना है। इस अभियान के मूल में बाल विवाह के खात्मे के लिए प्रख्यात बाल अधिकार कार्यकर्ता भुवन ऋभु की बेस्टसेलर किताब ‘व्हेन चिल्ड्रन हैव चिल्ड्रेन : टिपिंग प्वाइंट टू इंड चाइल्ड मैरेज’ में सुझाई गई कार्ययोजना है।
बाल विवाह मुक्त भारत अभियान देश से बाल विवाह के खात्मे के लिए राज्य सरकारों व प्रशासनिक अमले के साथ करीबी समन्वय के साथ सहयोगी है। कार्यशाला में तय रोडमैप पर तत्काल अमल की जरूरत को रेखांकित करते हुए बाल विवाह मुक्त भारत अभियान के संयोजक रवि कांत ने कहा, “बाल विवाद जैसी समाज में गहरे जड़े जमाए बैठी सामाजिक बुराई के खात्मे के लिए इस तरह के बड़े पैमाने पर साझा रणनीतिक प्रयास अहम हैं। अगर इस चुनौती से निपटना है तो एक साझा और सोची-समझी रणनीति पर अमल जरूरी है। जमीन पर काम कर रहे इन गैरसरकारी संगठनों का असर व्यापक है लेकिन एक सामूहिक अभियान के सदस्य के तौर पर ये जिस ऊर्जा का संचार करते हैं, वह अकल्पनीय बदलाव लाने की ताकत रखती है। आज बाल विवाह के लिए ग्राम प्रधानों की जवाबदेही तय करके और यह सुनिश्चित करके कि इस मुद्दे पर सभी हितधारक आपसी समन्वय और तालमेल से काम करें, सरकारें और कानून प्रवर्तन एजेंसियां अहम कदम उठा रही हैं जो बाल विवाह के खात्मे की उनकी प्रतिबद्धता को रेखांकित करते हैं। बाल विवाह की कुरीति सदियों से जारी है लेकिन अब समय आ गया है जब इसे उखाड़ फेंका जाए।

1 जुलाई से लागू होने वाले नए आपराधिक कानूनों के लिए उत्तराखंड की तैयारी पूरी :  सीएस रतूड़ी

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देहरादून(आरएनएस)।  1 जुलाई 2024 से देशभर में लागू होने वाले तीन नए आपराधिक कानूनों के लिए उत्तराखंड की तैयारी पूरी हो चुकी है।   मुख्य सचिव  राधा रतूड़ी ने आज  गृह सचिव भारत सरकार की अध्यक्षता में सभी राज्यों के साथ हुई  वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में यह जानकारी दी कि 1 जुलाई 2024 से लागू होने वाले 3 नए आपराधिक कानूनों  भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023, भारतीय न्याय संहिता 2023, भारतीय सुरक्षा अधिनियम 2023 हेतु उत्तराखंड राज्य ने पूरी तैयारी कर ली है ।
मुख्य सचिव  राधा रतूड़ी ने कहा कि नये आपराधिक कानूनों के पास होने के बाद हमारे द्वारा CDTI और BPR&D से समन्वय स्थापित कर PTC/ ATC तथा अन्य प्रशिक्षण केन्द्रों से 50 अधिकारियों को गाजियाबाद और जयपुर से मास्टर ट्रेनर का कोर्स कराया गया है । इसके अतिरिक्त 18 P.O.’s को भी मास्टर ट्रेनर के रूप में ट्रेनिंग हेतु Rope in किया गया है। साथ ही उत्तराखंड पुलिस हस्तपुस्तिका तैयार की गई है, जिसके आधार पर सारे कोर्स का संचालन किया जा रहा है इसमें वृहद कानूनों को सरल तरीके से पढ़ने की विधि तैयार की गई है। जिसकी एक प्रति समस्त पुलिस अधिकारी/कर्मचारियों को वितरित की जा रही है। (कुल 25000 हस्त पुस्तिका वितरित की जा रही है। Online प्रशिक्षण हेतु 03 module तैयार किये जा रहे है।
मुख्य सचिव  राधा रतूड़ी  ने जानकारी दी कि अल्प अवधि को देखते हुए ट्रेनिंग को जिला स्तर पर Decentralize किया गया है। सभी मास्टर ट्रेनर्स और अभियोजन अधिकारियों की joint team द्वारा Offline Mode में Civil Police के विवेचना से सम्बंधित Officers (G.Os, Insp., SI, ASI, HM/ MM) को ट्रेनिंग करवाई जा रही है। ऐसे कर्मचारी जिनका पुलिस विवेचना में प्रत्यक्ष हस्तक्षेप नहीं होता है, उन्हें ऑनलाइन मोड में प्रशिक्षण दिया जाना है, जिसके लिए Online Module तैयार किया जा रहा है। Online Module, AI (Artificial Intelligence) based हैं, जिन्हें इस माह के अंत तक भारत सरकार द्वारा बनाये गये iGOT Karmayogi Portal पर HOST किया जायेगा। जिसके बाद सभी कर्मियों को ऑनलाइन प्रशिक्षण पूर्ण करने के लिए एक माह का समय दिया जायेगा। Constables तथा Head Constables को चारधाम यात्रा के दृष्टिगत लगभग 20 दिवस का समय दिया जाएगा, जिसमें वह पोर्टल पर उपलब्ध 18 lectures के मॉड्यूल का अध्ययन कर टेस्ट देने के उपरांत प्रशिक्षित हो जायेंगे।
मुख्य सचिव  राधा रतूड़ी ने कहा कि  RTC’s में संचालित नागरिक पुलिस/PAC के लगभग 1000 रिक्रूट आरक्षियों को 03 दिवसीय प्रशिक्षण दिया जा चुका है। इसके अतिरिक्त लगभग 500 मुख्य आरक्षियों को पदोन्नति हेतु भी नये आपराधिक कानूनों का प्रशिक्षण दिया गया है। समस्त आईपीएस अधिकारियों तथा जनपदों के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों को राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय, नई दिल्ली के असिस्टेंट प्रोफेसर द्वारा दिनांक 19 मार्च 2024 से 02 दिवसीय प्रशिक्षण प्रदान किया गया, जो BPR&D से प्राप्त हुए Syllabus पर आधारित है। नये आपराधिक कानूनों के प्रशिक्षण के लिए ऑफलाइन व ऑनलाइन दोनों मोड में ट्रेनिंग करवाई जानी है। ऑफलाइन ट्रेनिंग 04 चरण में पूर्ण होनी थी, जिसमें अभी तक 03 चरण पूर्ण हो चुके हैं। कुछ छोटे जनपदों जैसे बागेश्वर, उत्तरकाशी तथा रुद्रप्रयाग में यह ट्रेनिंग समाप्त भी हो चुकी है। 75% ऑफलाइन मोड का प्रशिक्षण पूर्ण हो चुका है। अगले 01 हफ्तों में ऑफलाइन प्रशिक्षण पूर्ण कर लिया जायेगा। iGOT कर्मयोगी पोर्टल पर समस्त पुलिस कर्मियों का रजिस्ट्रेशन किया जा रहा है।
मुख्य सचिव  राधा रतूड़ी ने कहा कि अगले माह 20th June, 2024 तक समस्त प्रशिक्षण पूर्ण कर लिया जायेगा। इसके साथ ही CCTNS Software सम्बन्धी अपडेट का प्रशिक्षण भी 31 मई तक पूर्ण कर लिया जायेगा।
विदित है कि नये आपराधिक कानूनों में काफी बदलाव किए गए हैं, जैसे भारतीय न्याय संहिता में 190 छोटे-बड़े बदलाव किये गये हैं, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता में 360 छोटे-बड़े बदलाव किए गये हैं तथा भारतीय साक्ष्य अधिनियम में 45 छोटे- बड़े बदलाव किये गये हैं।नये कानूनों को समस्त पुलिस अधिकारी/कर्मचारी तक पहुंचने के लिए प्रशिक्षण का रोडमैप तैयार कर पुलिस महानिदेशक  के अनुमोदन  के बाद कार्यवाही प्रचलित है। लगभग 25000 पुलिस बल का ऑनलाइन तथा ऑफलाइन मोड में प्रशिक्षण प्रस्तावित है। बैठक में सचिव गृह  दिलीप जावलकर सहित गृह विभाग के अन्य अधिकारी मौजूद रहे।

स्वाति के चेतावनी देते ही एसआईटी विभव को उठाकर ले गई मुंबई, शुरू हो गया तगड़ा एक्शन

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दिल्ली पुलिस की पांच सदस्यीय विशेष जांच टीम (एसआईटी) मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सहयोगी विभव कुमार को जिसे आम आदमी पार्टी (आप) की राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल के साथ कथित तौर पर मारपीट करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है, अपने फॉर्मेट किए गए आईफोन से डेटा पुनर्प्राप्त करने के लिए मुंबई ले जा रही है। पुलिस के मुताबिक, विभव कुमार ने मुंबई में किसी व्यक्ति या डिवाइस पर डेटा ट्रांसफर करने से पहले अपने फोन को फॉर्मेट कर दिया था।
विभव कुमार को धारा 308 (गैर इरादतन हत्या का प्रयास), 341 (गलत तरीके से रोकना), 354 (बी) (महिला पर हमला या आपराधिक बल का प्रयोग) निर्वस्त्र करने के इरादे से), भारतीय दंड संहिता की धारा 506 (आपराधिक धमकी), और 509 (शब्द, इशारा, या किसी महिला की गरिमा का अपमान करने का इरादा) के तहत मामला दर्ज होने के दो दिन बाद शनिवार को केजरीवाल के आवास से गिरफ्तार किया गया था। फिलहाल वह पांच दिन की न्यायिक हिरासत में हैं।
पूर्व डीसीडब्ल्यू प्रमुख ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया कि कुमार ने 13 मई को सीएम के आधिकारिक आवास पर उन पर हमला किया जब वह केजरीवाल से मिलने वहां गई थीं। उनके अनुसार, कुमार ने उन्हें बार-बार थप्पड़ मारे और पेट और पेल्विक क्षेत्र में लातें मारीं। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि विभव ने जानबूझकर उनकी शर्ट खींची। इसके बाद पुलिस ने कुमार के खिलाफ शिकायत दर्ज की। दिल्ली पुलिस की टीम क्राइम सीन रीक्रिएट करने के लिए मालीवाल को केजरीवाल के आवास पर ले गई थी. इस दौरान उन्होंने सीसीटीवी कैमरों का डीवीआर जब्त कर लिया और मजिस्ट्रेट के सामने उसका बयान भी दर्ज किया।