“सिंगल लेन पर निजी बस व ट्रक दोनों ही तेज रफ्तार में आ रहे थे। जिस वजह से दोनों वाहन चालक स्टीयरिंग व्हील पर काबू नहीं रख पाए”
“बस में क्षमता 25 यात्रियों की थी, जबकि उसमें 42 सवारियां ठूंस ठूंस कर बैठाई गई थीं”
उन्नाव, यूपी उन्नाव-हरदोई मार्ग पर जमलदीपुर गांव के पास रविवार दोपहर हुए सड़क हादसे में आठ लोगों की मौत हो गई। जबकि 19 यात्री घायल हो गए।
उन्नाव से सफीपुर तक सड़क काफी खराब है। हादसे के वक्त बस का एक हिस्सा गड्ढे में घुसने से वह तिरछी हो गई और ट्रक बस को चीरकर निकल गया, बस में क्षमता से अधिक सवारियां थीं। बस में क्षमता 25 यात्रियों की थी, जबकि उसमें 42 सवारियां ठूंस ठूंस कर बैठाई गई थीं |
हादसा इतनी तेजी से हुआ कि बस यात्रियों को संभलने तक का मौका नहीं मिला। बस की बॉडी फट जाने से एक यात्री की सिर के बल सड़क पर गिरने से मौत हुई जबकि दो यात्रियों के सिर ट्रक की रगड़ से कुचल गए। दो मृतकों का क्षतविक्षत आधा धड़ बस से लटके देख देखने वाले भी कांप उठे। घायलों को अस्पताल पहुंचाने के बाद पुलिस ने बस में फंसे शवों को निकाल कर पोस्टमार्टम हाउस भेजा। हादसे की जानकारी पर रात करीब 11:30 बजे सांसद साक्षी महाराज और बसपा नेता अशोक पांडेय पोस्टमार्टम हाउस पहुंचे और मृतकों के परिजनों से मिलकर उन्हें ढाढस बंधाया। दोनों नेताओं ने जिला अस्पताल में भर्ती घायलों का भी हालचाल लिया और हर संभव मदद का आश्वासन दिया।
मिली जानकारी के मुताबिक उन्नाव से बस दोपहर 2:30 बजे चली। शाम 3:15 बजे वह जमलदीपुर गांव के पास पहुंची और ट्रक से उसकी टक्कर हो गई। घायलों में चीख-पुकार मचते ही मौके पर जुटे लोगों ने 3:20 बजे पुलिस को सूचना दी। 3:40 बजे पहुंची एबुंलेंस के साथ पहुंची पुलिस ने घायलों को राहगीरों की मदद से सफीपुर सीएचसी भेजना शुरू किया। कई बार में अस्पताल पहुंचे घायलों को सीएचसी में प्राथमिक उपचार देकर 4:30 बजे उन्नाव जिला अस्पताल भेजना शुरू किया गया। 5:30 बजे तक सीओ ऋषीकांत शुक्ला, एसडीएम नवीन चंद्र, एसपी सिद्धार्थ शंकर मीणा ने पहले घटनास्थल की जांच की। इसके बाद सीएचसी और जिला अस्पताल पहुंचकर घायलों की जानकारी ली।
पुलिस ने कराया सभी का पोस्टमार्टम :
सड़क हादसे का शिकार हुए आठ में से छह शवों को पुलिस ने रात में पोस्टमार्टम करा दिया। डीएम के आदेश पर सीएमओ ने आनन फानन डॉक्टरों की ड्यूटी लगाई और प्रक्रिया शुरू करा दी। सीओ के मुताबिक आठ में सात की शिनाख्त हो गई है। इसमें एक का पोस्टमार्टम कानपुर में हो रहा है। जबकि एक अभी भी अज्ञात है।
तेरहवीं में शामिल होने जा रहे थे :
वहीं बस दुर्घटना में हादसे का शिकार हुए नन्हके सविता के छोटे बेटे मोनू ने बताया कि पिता एआरटीओ के पास एक गेस्टहाउस में माली का काम करते थे। उसने बताया कि सोमवार को चचेरे भतीजे मोहित की तेरहवीं थी। उसी में पिता शामिल होने आ रहे थे। लेकिन मौत की खबर घर पहुंचते ही कोहराम मच गया। दो बेटों में सोनू और मोनू के साथ पत्नी आशा देवी उर्फ नन्हीं हैं।
Recent Comments