नई दिल्ली, केंद्र ने सशस्त्र बलों में युवाओं की भर्ती के लिए अग्निपथ योजना की घोषणा की, देशभक्त युवाओं को सशस्त्र बलों में चार साल सेवा करने का अवसर मिलेगा | रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बताया कि इस योजना के अंतर्गत चुने गए युवाओं को अग्निवीर कहा जाएगा। उन्होंने बताया कि अग्निवीरों को आकर्षक मासिक पैकेज और तीनों सेनाओं में लागू जोखिम तथा कठिनाई भत्ता दिया जाएगा। उनका कार्यकाल पूरा होने पर उन्हें एकमुश्त सेवानिधि पैकेज दिया जाएगा। इस योजना को सुरक्षा से संबंधित मंत्रिमंडलीय समिति ने स्वीकृति प्रदान की। इसके अंतर्गत देशभक्त और उत्साही युवाओं को सैन्यबलों में चार वर्ष के लिए नियुक्त किया जाएगा। इस वर्ष 46 हजार अग्निवीरों की भर्ती की जाएगाी। तीनों सेनाओं की मानव संसाधन नीति में नये युग की शुरुआत के लिए सरकार ने यह बड़ा रक्षा नीति सुधार किया है।
वायुसेना अध्यक्ष चीफ मार्शल वी.आर.चौधरी ने कहा कि इस योजना से देश के प्रतिभाशाली युवाओं को वायुसेना में सेवाएं प्रदान करने का अवसर प्राप्त होगा। उन्होंने कहा कि वायुसेना, अग्निवीरों को विमानन, हथियारों और ग्राउंड सिस्टम के बारे में प्रशिक्षण देगी।
नौसेना प्रमुख एडमिरल आर. हरिकुमार ने कहा कि अग्निपथ योजना नये युग की परिकल्पना है। उन्होंने कहा कि इससे सैन्यबलों के मानव संसाधन प्रबंधन पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा। एडमिरल हरिकुमार ने बताया कि इसमें महिलाओं को भी नियुक्त किया जाएगा।
सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडेय ने कहा कि अग्निपथ योजना सेना और देश के लिए एक रूपांतरण सुधार है। उन्होंने कहा कि इस योजना से युवाओं और अनुभवी कर्मियों के बीच संतुलन स्थापित होगा।
अग्निवीरों को तीस से चालीस हजार रुपये मासिक वेतन और भत्ते दिए जाएंगे। सेवानिधि को आयकर से छूट होगी। अग्निवीर, ग्रैज्युटी और पेंशन के अन्य लाभ के पात्र नहीं होंगे। उन्हें 48 लाख रुपये का जीवन बीमा कवर प्रदान किया जाएगा, जिसके लिए उन्हें कोई भुगतान नहीं करना होगा।
अग्निवीरों को विभिन्न सैन्य कौशल, शारीरिक फिटनेस, और वीरता, देशभक्ति तथा नेतृत्व के गुणों के लिए आवश्यक प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसके लिए ऑनलाइन केन्द्रीकृत व्यवस्था के माध्यम से पंजीकरण करवाना होगा। इसके लिए आयु सीमा 17 वर्ष पांच महीने से 21 वर्ष तक रखी गई है। जनरल डयूटी सैनिक के लिए शैक्षिक योग्यता दसवीं निर्धारित की गई है।
अग्निवीर बनने की योग्यता क्या होगी :
अग्निपथ योजना के तहत, पुरुष और महिला (सेवा की जरूरत होने पर शामिल की जाएंगी) दोनों को अग्निवीर बनने का मौका दिया जाएगा. 17.5 साल से लेकर 21 साल तक के युवा इस सेवा में शामिल होने के लिए योग्य माने जाएं. वर्तमान में सेना के जो मेडिकल और फिजिकल स्टैंडर्ड हैं वही मान्य होंगे. 10वीं और 12वीं पास कर चुके युवा (सैन्य बलों की नियम और शर्तों के अनुसार) अग्निवीर बन सकते हैं.
कैसे होगी भर्ती :
अग्निपथ योजना के तहत, साढ़े 17 साल से 21 साल के युवाओं को सेना में भर्ती किया जाएगा. इन्हें 10 हफ्ते से लेकर छह महीने तक की ट्रेनिंग दी जाएगी. इन जवानों को होलोग्राफिक्स, नाइट, फायर कंट्रोल सिस्टम से लैस किया जाएगा. साथ ही, हैंड हेल्ड टारगेट सिस्टम भी जवानों के हाथ में दिए जाएंगे |
चार साल नौकरी के बाद क्या होगा :
इस तरह चुने गए कैंडिडेट्स, अग्निवीर के तौर पर 4 साल तक सेना में काम करेंगे. चार साल की सेवा के बाद अग्निवीर सेना की नौकरी छोड़ देंगे. इसके बाद वे समाज में एक स्किल्ड नागरिक के तौर पर वे अनुशासित जीवन जी सकेंगे. मेरिट के आधार पर और सेना की जरूरत के हिसाब से 25 फीसदी अग्निवीरों को रेगुलर कैडर में समायोजित कर लिया जाएगा. कहा जा रहा है कि अन्य नौकरियों में उन्हें प्राथमिकता भी दी जाएगी |
अग्निवीरों की सैलरी कितनी होगी :
इस योजना के तहत अग्निवीरों की सालाना सैलरी 4.76 लाख रुपये होगी. चौथे साल में यह सैलरी बढ़कर 6.92 लाख रुपये हो जाएगी. इसके अलावा रिस्क और हार्डशिप पैकेज अलग से दिया जाएगा. सेना में 4 साल की सेवा पूरी करने के बाद करीब 11.7 लाख रुपये एकमुश्त ब्याज समेत दिया जाएगा. यह पैसा इनकम टैक्स के दायरे से बाहर होगा |
शहीद या हादसे का शिकार होने पर क्या होगा :
आर्मी चीफ जनरल मनोज पांडे ने बताया कि अगर इस सेवा के दौरान कोई जवान शहीद होता है तो उसके परिवार को पूरा इंश्योरेंस कवर मिलेगा. इसके अलावा, शहीद के परिवार को सेवा निधि समेत लगभग एक करोड़ रुपये दिए जाएंगे. इसके अलावा, शहीद की बची हुई सेवा की पूरी सैलरी भी परिवार को मिलेगी. सेवा के दौरान अगर जवान दिव्यांग हो जाते हैं तो दिव्यांगता के प्रतिशत के हिसाब से करीब 44 लाख रुपये मिलेंगे. सेवा निधि के अलावा बची हुई सेवाकाल की पूरी सैलरी भी जवान को दी जाएगी |
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