Friday, May 2, 2025
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किटी के नाम पर धनराशि हड़पने के मामले में संचालिका और बेटी पर मुकदमा हुआ दर्ज

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देहरादून, जनपद में किटी के नाम पर धन हड़पने का खेल काफी समय से चल रहा है, ऐसा ही एक मामला आज पुलिस के सामने आया, जिसमें किटी के नाम पर महिलाओं से धनराशि हड़पने के मामले में शहर कोतवाली पुलिस ने किटी संचालिका आशा नागर व उसकी बेटी अदिति नागर के खिलाफ एक और मुकदमा दर्ज कर लिया है। आरोपितों ने 13 महिलाओं से छह लाख रुपये हड़पे हैं। सुजाता पांडे निवासी राजेंद्र नगर, कैंट ने पुलिस को बताया कि आशा नागर व उनकी बेटी अदिति नागर के कहने पर 13 महिलाओं ने किटी शुरू की थी। एक हजार रुपये प्रति किटी के हिसाब से वह प्रतिमाह आशा नागर को देती रहीं, जो अब तक छह लाख 16 हजार रुपये की धनराशि बन चुकी है। किटी पूरी होने पर जब उन्होंने आशा नागर व अदिति नागर से धनराशि मांगी तो वह टाल-मटोल करने लगी। जब उन्होंने आरोपितों के ऊपर दबाव बनाना शुरू किया तो महिला ने स्पष्ट रूप से धनराशि लौटाने से मना कर दिया।

 

एसएसआई शहर कोतवाली लोकेंद्र बहुगुणा ने बताया कि आशा नागर व अदिति नागर के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। अब तक इन दोनों आरोपितों समेत ऊषा नागर के खिलाफ शहर के विभिन्न थानों में छह मुकदमे दर्ज किए जा चुके हैं। ऊषा नागर, आशा नागर की बहन है। गिरफ्तारी से बचने के लिए वह हाईकोर्ट गई थी, जहां कोर्ट ने भी ठगी की शिकार महिलाओं की धनराशि वापस करने के लिए कहा है। कोर्ट की अगली तिथि 30-31 नवंबर है। कोर्ट के आदेश के बाद अगली कार्रवाई की जाएगी।

केदारनाथ पहुँचे हरीश रावत : दर्शन कर पूजा-अर्चना की, किया जलाभिषेक, मांगा मिशन-2022 की सफलता का आशीर्वाद

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रुद्रप्रयाग, उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने केदारनाथ पहुंचकर बाबा केदार के दर्शन कर पूजा-अर्चना की। उन्होंने मिशन-2022 की सफलता के लिए बाबा से आशीर्वाद भी मांगा। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में कांग्रेस को सत्ता में वापस लाना पहली प्राथमिकता है। उन्होंने तीर्थपुरोहितों से भेंटकर उनकी समस्याएं भी सुनीं।

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व पूर्व सीएम हरीश रावत मंगलवार को हेलीकॉप्टर से केदारनाथ पहुंचे। उन्होंने मंदिर में आराध्य बाबा केदार के दर्शन कर पूजा-अर्चना की और जलाभिषेक किया। उन्होंने आराध्य से उत्तराखंड की सुख-समृद्धि के साथ आगामी विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की विजयश्री का आशीर्वाद मांगा।

बाबा के दर्शन कर मंदिर से बाहर आते समय उन्होंने प्रवेश द्वार से धाम में मौजूद यात्रियों का भी गर्मजोशी से अभिनंदन किया। उन्होंने पार्टी कार्यकर्ताओं से बूथ स्तर पर जनसंपर्क कर आमजन को भाजपा सरकार की नाकामियों से अवगत कराने का आह्वान किया।

पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने केदारनाथ में तीर्थपुरोहितों से भी बातचीत की। तीर्थपुरोहितों ने उन्हें देवस्थानम बोर्ड समेत आपदा के बाद से उनके हितों की अनदेखी समेत अन्य कई समस्याओं से भी अवगत कराया।
पूर्व सीएम के साथ कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्यक्ष और मनोज रावत समेत अन्य कई पार्टी पदाधिकारी व कार्यकर्ता मौजूद थे। पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत के केदारनाथ भ्रमण ने उत्तराखंड की राजनीति को भी गर्मा दिया है। आगामी 5 नवंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का भी केदारनाथ दौरा प्रस्तावित है,
पूर्व सीएम हरीश रावत ने कहा कि उनकी तरफ से देवस्थानम बोर्ड भंग है। आगामी विस चुनाव में कांग्रेस सत्ता में आई तो इसे पहले ही दिन भंग कर यात्रा की पूर्व व्यवस्था की जाएगी। वे अपने अधूरे संकल्पों को पूरा करेंगे।

इसमें केदारनाथ में बाबा भैरवनाथ की गढ़ी, मंदाकिनी नदी किनारे सुरक्षा दीवार बनाकर केदारपुरी की सुरक्षा, भीमबली में आवास भवन, भीमबली से केदारपुरी तक वृहद विकास की रूपरेखा शामिल है। पूर्व सीएम हरीश रावत ने कहा कि सरकार 30 अक्तूबर तक देवस्थानम बोर्ड को वापस ले।
उन्होंने केदारनाथ में तीर्थपुरोहितों से कहा कि वे एकजुट होकर एक्ट वापस लेने को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दौरे पर सांकेतिक प्रदर्शन भी करें। साथ ही उन्होंने केदारनाथ में यात्रा व्यवस्थाओं को लेकर भी नाराजगी जताई।

भावना पांडेय ने दिखाई दरियादिली आपदा पीड़ितों को बांटी आर्थिक सहायता व सामाग्री

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(मुन्ना अंसारी)

लालकुआं, जनता कैबिनेट पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष भावना पांडेय ने लालकुआँ पहुंच कर बिन्दुखत्ता के इन्द्रानगर में प्राकृतिक आपदा से प्रभावित सात परिवारों से मुलाकात करते हुए तत्काल राहत राशि उपलब्ध कराते हुए प्रत्येक परिवार को 11-11 हजार रुपये कुल 77 हजार रुपये की धनराशि बांटी, साथ ही राज्य सरकार को आईना दिखाते हुए प्रत्येक परिवार को एक चारपाई, रजाई, गद्दे, बर्तन, राशन आदि सामग्री की आर्थिक मदद करते हुए पीड़ितों के मरहम लगाये जाने का कार्य किया ।

इस दौरान भावना पांडेय ने कहा कि वो उत्तराखण्ड की बेटी है और उनका दर्द बखूबी समझ सकती है सरकार के कई नुमाईंदे आये और फोटो खिंचा कर चले गये लेकिन सरकार द्वारा अभी तक किसी भी आपदा पीड़ित को राहत राशि नही उपलब्ध कराई गई है । उन्होंने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर सरकार ने एक माह तक आपदा पीड़ितों को पक्के मकान नहीं बना कर दिये तो एक महिने बाद आज ही के दिन वो स्वयं आपदा पीड़ितों के लिये पक्के मकान बनायेंगी । वहीं उन्होंने बिन्दुखत्ता के आपदा पीड़ित सात परिवारों को राशन सामग्री वितरित की । इस अवसर पर उन्होंने आपदा पीड़ितों से मुलाकात करते हुए उनका दर्द जाना और इस विषम परिस्थिति में हर सम्भव मदद किये जाने का आश्वासन दिया ।

सूचना लीक मामले में CBI ने नौसेना अधिकारियों को किया गिरफ्तार, Navy ने दिए उच्च स्तरीय जांच के आदेश

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नई दिल्ली, सूचना लीक मामले में सीबीआई ने सर्विंग नेवी ऑफिसर के साथ-साथ 2 रिटायर्ड अधिकारियों को भी गिरफ्तार किया गया है। मामला किलो-क्लास की पनडुब्बी के आधुनिकीकरण को लेकर गोपनीय जानकारी के लीक से जुड़ा हुआ है। शीर्ष सरकारी सूत्रों ने बताया कि पिछले महीने घटनाक्रम के बाद, भारतीय नौसेना ने भी जानकारी लीक की जांच के लिए वाइस एडमिरल और रियर एडमिरल के तहत एक उच्च स्तरीय जांच का आदेश दिया और भविष्य में ऐसी किसी भी घटना को रोकने के तरीकों की तलाश की |

सूत्रों के मुताबिक, संबंधित एजेंसियों से इनपुट प्राप्त करने के बाद, सीबीआई ने कमांडर रैंक के एक सेवारत नौसेना अधिकारी को गिरफ्तार किया, जो वर्तमान में सेवानिवृत्त अधिकारियों को किलो-क्लास पनडुब्बी आधुनिकीकरण परियोजना से संबंधित अनधिकृत जानकारी देने के लिए मुंबई में तैनात है। उन्होंने कहा कि सीबीआई कई अन्य सेवारत अधिकारियों से पूछताछ कर रही है जो गिरफ्तार अधिकारियों के संपर्क में थे। रक्षा सूत्रों ने कहा कि भारतीय नौसेना केंद्रीय एजेंसी द्वारा चल रही जांच में सहायता प्रदान कर रही है और जांच अधिकारियों द्वारा पूछताछ के लिए अपने जवानों को उपलब्ध करा रही है। राष्ट्रीय सुरक्षा की देखभाल करने वाली एजेंसियों सहित सरकार के शीर्ष अधिकारियों को भी जांच की स्थिति के बारे में जानकारी दी गई है।

सूत्रों ने कहा कि जैसे ही यह मामला नौसेना के शीर्ष अधिकारियों के संज्ञान में लाया गया, उन्होंने वाइस एडमिरल की अध्यक्षता में पांच सदस्यीय टीम का गठन किया और मामले की जांच के लिए समानांतर जांच शुरू की और किसी भी संभावित सूचना लीक को बंद किया। सूत्रों ने कहा कि जांच एजेंसियां ​​तीनों सेवाओं के बड़ी संख्या में पूर्व सैनिकों की गतिविधियों पर नजर रख रही हैं, जिसके बाद मामले में गिरफ्तारी हुई है। उन्होंने कहा कि और गिरफ्तारियां संभव हैं क्योंकि उन्हें कुछ और इनपुट मिले हैं।

सरकार के नकारापन से पड़ोसियों से खराब हो रहे रिश्ते : राजपाल खरोला

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ॠषिकेश, उत्तराखंड कांग्रेस के प्रदेश महासचिव राजपाल खरोला ने जानकारी देते हुए बताया की आज महानगर कांग्रेस कार्यालय ऋषिकेश में आगामी 31 अक्टूबर को पूर्व प्रधानमन्त्री भारत रत्न श्रीमती इंदिरा गांधी जी के बलिदान दिवस और बांग्लादेश मुक्ति युद्ध 1971 की 50वीं वर्षगांठ पर “प्रियदर्शिनी शौर्य सम्मान दिवस” के कार्यक्रम जिसमे पूर्व सैनिकों और शहीदों के परिजनों का सम्मान किया जाएगा की रुपरेखा तैयार करने के लिए बतौर कार्यक्रम संयोजक होने के नाते बैठक बुलाई जिसमे समिति के सभी सदस्य मौजूद रहे ।

खरोला ने कहा की भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्षा श्रीमती सोनिया गांधी जी के दिशा निर्देशानुसार पुरे देश में 31 अक्टूबर को पूर्व सैनिकों और शहीदों के परिजनों का सम्मान किया जाएगा इसी के तहत महानगर कांग्रेस ऋषिकेश, ब्लाक कांग्रेस श्यामपुर, ब्लाक कांग्रेस रायवाला के समस्त कांग्रेस जन आडवाणी धर्मशाला, श्यामपुर में एकत्रित होकर वतन के लिए जान निछावर करने वाले वीर शहीदों को नमन करते हुए पूर्व सैनिकों और शहीदों के परिजनों का सम्मान करेंगे ।
खरोला ने कहा की पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने 1971 के भारत-पाकिस्तान युद्ध में विश्व शक्तियों के सामने न झुकने के नीतिगत व समयानुकुल निर्णय ने पाकिस्तान को विभाजित करते हुए बांग्लादेश को अलग देश का निर्माण कर दक्षिण एशिया का भूगोल बदल डाला था। पाकिस्तान पर यह जीत कई मायनों में ऐतिहासिक थी और इस युद्ध में हजारों हजार पाकिस्तानी सैनिकों को घुटने टेकने पर मजबूर कर दिया गया था। इस युद्ध में पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी का अहम योगदान रहा।

खरोला ने कहा की बांग्लादेश और भारत की दोस्ती किसी से छुपी नहीं है, मगर आज की सरकार द्वारा हमारे देश और बांग्लादेश के बीच संबंध खराब करने की कोशिशें की जा रही हैं। सरकार विदेश नीति को लेकर चाहे अपनी कितनी ही पीठ थपथपाए, लेकिन सच्चाई यह है कि जिन पड़ोसी देशों के साथ हमारे संबंध हमेशा से ही मधुर रहे। इस सरकार के नकारापन के कारण वह खराब हो रहे हैं।
आज मौके पर जिला अध्यक्ष गौरव चौधरी, शूरवीर सिंह सजवान, के.एस. राणा , विजय पाल रावत , भगवती सेमवाल , सुधीर राय , जय सिंह रावत, बर्फ सिंह पोखरियाल, देवेंद्र सिंह रावत, शैलेंद्र बिष्ट , लल्लन राजभर , सतीश रावत ,अरविंद जैन, ललित मोहन मिश्रा, मनीष शर्मा ,मदन मोहन शर्मा, सरोज देवराड़ी, मधु जोशी, रुकम पोखरियाल, मनोज गुसाई, प्यारे लाल जुगरान, सतीश रावत, किशोर गौड़ आदि मौजूद रहे ।

राज्य में 27 प्रति हजार हुई शिशु मृत्यु दर, राष्ट्रीय औसत से तीन अंक कम

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देहरादून, राज्य में शिशु मृत्यु दर में चार अंकों का सुधार हुआ है। भारत सरकार के रजिस्ट्रार जनरल सैम्पल रजिस्ट्रेशन सिस्टम द्वारा स्वास्थ्य सेवाओं की स्थिति पर वर्ष 2019 के लिए कराए गए सर्वे के मुताबिक सूबे में बाल मृत्यु दर अब 27 प्रति हजार जीवित जन्म है। शिशु मृत्यु दर में इस गिरावट का श्रेय राज्य में कार्यरत आशा कार्यकत्रियों को जाता है। जिन्होंने सुरक्षित प्रसव कराने के लिए गर्भवती महिलाओं को जागरूक किया।

सूबे के चिकित्सा स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ धन सिंह रावत ने बताया कि राज्य में शिशु मृत्यु दर में चार अंकों की गिरावट आई है जो कि राज्य में बेहतर होते स्वास्थ्य सेवाओं के संकेत हैं। डॉ रावत ने कहा कि भारत सरकार के रजिस्ट्रार जनरल सैम्पल रजिस्ट्रेशन सिस्टम द्वारा स्वास्थ्य सेवाओं की स्थिति पर वर्ष 2019 के लिए कराए गए सर्वे के मुताबिक सूबे में बाल मृत्यु दर अब 27 प्रति हजार जीवित जन्म स्तर पर पहुंच गया है, जबकि पूर्व में राज्य की शिशु मृत्यु दर 31 प्रति हजार जीवित जन्म स्तर पर थी। उन्होंने कहा कि भारत सरकार समय-समय पर एसआरएस बुलेटिन जारी करती है जिसमे सभी राज्यों में शिशु मृत्यु दर के आंकड़े प्रस्तुत किये जाते हैं। उन्होंने कहा कि राज्य में शिशु मृत्यु दर में हुए सुधार का श्रेय आशा हेल्थ वर्करों को जाता है। जिन्होंने घर-घर जाकर गर्भवती महिलाओं की अस्पताल में सुरक्षित प्रसव कराने के लिए प्रेरित किया। इसके अलावा इस उपलब्धि को हासिल करने में चिकित्सकों, एएनएम सहित अन्य कर्मचारियों की भूमिका भी अहम है। डॉ रावत ने कहा कि अस्पतालों में प्रसव करने के लिए आशाओं एवं एएनएम द्वारा गर्भवती महिलाओं एवं धात्री महिलाओं को जागरूक किया गया। जिसके परिणाम स्वरूप अधिसंख्य गर्भवती महिलाएं प्रसव करने हेतु अस्पतालों आ रही हैं। विभागीय मंत्री ने कहा कि सूबे में टोल फ्री नंबर 104 गर्भवती महिलाओं एवं नवजात शिशुओं की देखभाल के लिए संचालित किया जा रहा है। जिसके जरिये गर्भवती महिलाओं से संपर्क स्थापित कर सुरक्षित प्रसव की निगरानी की जा रही है। उन्होंने कहा कि सूबे में शिशु मृत्यु दर में और अधिक गिरावट लाने के लिए सरकार प्रयासरत है।

मिशन निदेशक एनएचएम सोनिका ने बताया कि राष्ट्रीय स्तर पर शिशु मृत्यु दर 30 प्रति हजार जीवित जन्म है, जो उत्तराखंड से तीन अंक अधिक है। उन्होंने कहा कि राज्य में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत शिशु स्वास्थ्य की देखभाल हेतु संचालित विभिन्न योजनाओं का बेहतर क्रियान्वयन हो रहा है जिसका नतीजा है कि राज्य में बाल मृत्यु दर में कमी आई है। उन्होंने कहा कि सरकारी अस्पतालों में सुरक्षित प्रसव के लिए सभी सेवाओं को बेहतर बनाया गया है।

राज्यपाल ने राजकीय विश्वविद्यालयों के कुलपतियों तथा उच्च शिक्षा के अधिकारियों की बैठक ली

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देहरादून , राज्यपाल ले ज  गुरमीत सिंह (से नि) ने कहा कि राज्य विश्वविद्यालयों के लिये स्वायत्ता और जवाबदेही दोनों ही अहम है। राज्य विश्वविद्यालय स्वायत्ता का महत्व समझे तथा जनहित के प्रति जवाबदेही सुनिश्चित करें। राज्यपाल  गुरमीत सिंह ने निर्देश दिये कि राज्य विश्वविद्यालयों के कुलपति मिशन मोड पर कार्य करें तथा विश्वविद्यालयों की प्रतिष्ठा, गुणवत्तापूर्ण शिक्षा स्तर, छात्र-केन्द्रित व्यवस्था, ब्राण्डिंग, इमेंजिग, उच्च मापदण्ड को बनाये रखने पर विशेष ध्यान दिये। राज्यपाल ने कहा कि आज उच्च शिक्षा में रिसर्च, तकनीकी, गुणवत्ता में निवेश का समय है। राज्यपाल ले ज श्री गुरमीत सिंह (से नि) ने मंगलवार को राजभवन में सभी राजकीय विश्वविद्यालयों के कुलपतियों तथा उच्च शिक्षा के अधिकारियों की बैठक ली।

बैठक के दौरान राज्यपाल श्री गुरमीत सिंह ने निर्देश दिये कि राज्य में उच्च शिक्षा के उन्नयन के लिये सभी विश्वविद्यालयों को समरसता के साथ कार्य करना होगा। हमारा लक्ष्य है कि गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा सबकों मिले। उच्च शिक्षा के क्षेत्र में आने वाली चुनौतियों का समन्वित प्रयासों से समाधान खोजना होगा। विश्वविद्यालयों को आधुनिकीकरण, ट्रांसफोर्मेशन, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, डिजिटिलाइजेशन व नई टेक्नोलॉजी के लिये कार्य करना है। कोविड काल ने शिक्षा जगत को स्वायत्ता के बहुत से अवसर दिये हैं।
राज्यपाल श्री गुरमीत सिंह ने कहा कि विश्वविद्यालय नई सोच, आधुनिकतम विचारों व रेव्यूलूशनरी विजन के संवाहक हैं। हमें अपनी प्राचीन संस्कृति, संस्कृत भाषा, आयुर्वेद के संरक्षण के साथ ही इसे आधुनिकतम तकनीकी के साथ समन्वित करके वैश्विक मंच पर पहचान दिलानी हैं। राज्यपाल ने कहा कि राज्य में नई शिक्षा नीति को प्रभावी ढंग से लागू करने में शैक्षणिक संस्थाओं की महत्वपूर्ण भूमिका है।

राज्यपाल  गुरमीत सिंह ने विश्वविद्यालयों द्वारा गोद लिये गये गांवों की जानकारी तथा कुलपतियों द्वारा अपने विश्वविद्यालयों के सम्बन्ध में विजन, मिशन एवं महत्वकांक्षाओं की जानकारी राजभवन को उपलब्ध करवाने के निर्देश दिये। उन्होंने मेधावी छात्रों को राजभवन में सम्मानित करने की बात भी कही।

इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी, सचिव श्री राज्यपाल डा0 रंजीत कुमार सिन्हा, विधि परामर्शी श्री अमित कुमार सिरोही, जी बी पन्त विश्वविद्यालय के वीसी डा0 तेज प्रताप, कुमाऊं विश्वविद्यालय के वीसी डा0 एन0 के0 जोशी, उत्तराखण्ड आयुर्वेद विश्वविद्यालय के वीसी डा0 सुनील कुमार जोशी, सोबन सिंह जीना विश्वविद्यालय के वीसी श्री नरेन्द्र सिंह भण्डारी, दून विश्वविद्यालय की वीसी डा0 सुरेखा डंगवाल, उत्तराखण्ड मुक्त विश्वविद्यालय के वीसी श्री ओ पी नेगी सहित सभी विश्वविद्यालयों के कुलपति उपस्थित थे।

CM पुष्कर धामी से मिला लोक कलाकारों का दल

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मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी से मंगलवार को मुख्यमंत्री आवास में उत्तराखंड के कलाकारों के दल ने भेंट की। इस अवसर पर उत्तराखंड में लोक कला एवं लोक संस्कृति को बढ़ावा देने पर बातचीत हुई। मुख्यमंत्री ने कहा की लोक परम्परा को आगे बढ़ाने में कलाकारों की महत्वपूर्ण भूमिका होती है। किसी भी क्षेत्र की पहचान में वहां की लोक संस्कृति, बोली एवं लोक परम्परा का अहम योगदान होता है। जन चेतना से संबंधित विभिन्न पहलुओं पर जागरूकता में हमारे कलाकार महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

इस अवसर पर उत्तराखंड के कलाकारों के दल में श्री कमल भंडारी, श्री जितेंद्र पंवार, श्री पदम गुसाईं, श्री रवि गुसाईं एवं अन्य कलाकार मौजूद थे।

टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड में सतर्कता जागरूकता सप्ताह शुरू

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ऋषिकेश- टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड में सतर्कता जागरूकता सप्ताह का शुभारंभ हुआ | 26.10.2021 से 01.11.2021 तक चलने वाले इस सतर्कता जागरूकता सप्ताह का शुभारंभ श्री आर. के. विश्नोई, अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक द्वारा निगम के सभी अधिकारियों व कर्मचारियों को सत्यनिष्ठा की शपथ ग्रहण करवाकर किया गया | इस अवसर पर श्री विश्नोई ने “Integrity: A Way to Self Reliance” A Compilation of Case Studies, Systemic Improvements and Recent CVC Circulars शीर्षक पुस्किता का विमोचन भी किया | इस अवसर पर श्री जे. बेहेरा, निदेशक (वित्त), श्री बी. पी. गुप्ता, मुख्य सतर्कता अधिकारी और श्री वीर सिंह, महाप्रबंधक (मानव संसाधन) उपस्थित रहे | 01 नवम्बर तक चलने वाले जागरूकता सप्ताह में विभिन्न प्रतियोगिताओं का भी आयोजन किया जाएगा |

तालाब में डूबने से दो बच्चों की मौत

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मसूरी। मसूरी देहरादून मार्ग पर सिथत ग्राम क्यारकुली के निकट प्रातः दस बजे दो बच्चे खेलते खेलते दस फीट गहरे तालाब में गिर गए। जिनकी मौके पर ही मौत हो गई, परिजनों द्वारा चीख पुकार सुनने के बाद बच्चों की खोजबीन की गई तो बच्चे दस फीट गहरे तालाब में डूब चुके थे जहां पर उनकी मौत हो गई थी।
स्थानीय निवासी गजेंद्र सिंह रावत ने बताया कि क्यारकुली गांव से आगे एक मछली का तालाब है। जहां बच्चे खेलते खेलते पहुंच गये व डूब गये। घटना की सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची व स्थानीय लोगों और पुलिस की मदद से दोनों बच्चों को बाहर निकाला गया जिससे पूरे क्षेत्र में शोक की लहर व्याप्त हो गई। सीओ नरेंद्र पंत ने बताया कि विनोद 7 वर्ष एवं विमल 4 वर्ष पुत्र विशाल हाल निवासी ग्राम क्यारकुली मजदूरी का काम करते हैं सुबह बच्चे खेलते खेलते गहरे तालाब के पास जा पहुंचे जहां पर बच्चे तालाब में गिर गए। जिन की मौके पर ही मौत हो गई। उन्होंने बताया कि भूमि स्वामी के खिलाफ लापरवाही की अगर परिजन तहरीर देते हैं तो उस पर कार्यवाही की जाएगी। पुलिस ने बच्चों के शवों का पंचनामा कर दिया लेकिन परिजन बच्चों का पोस्ट मार्टम नहीं कराना चाहते।