Saturday, June 21, 2025
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भारतीय सेना की रोटी एक ही दिन खाने से भी इंसान के जज्बात बदल जाते हैं : गणेश जोशी

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+पूर्व सैनिकों को 13 दिसम्बर को देहरादून के गुनियालगांव में होने वाले शहीद सम्मान यात्रा के समापन कार्यक्रम का दिया निमंत्रण

देहरादून, प्रदेश के सैनिक कल्याण मंत्री गणेश जोशी ने रविवार को देहरादून के गढ़ी कैंट स्थित दून सैनिक इंस्ट्यूट में पूर्व सैनिकों द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में प्रतिभाग कर पूर्व सैनिकों के बीच सेना के अपने अनुभव तथा राज्य के सैनिक कल्याण विभाग के मंत्री के तौर पर राज्य सरकार द्वारा की जा रही गतिविधियों तथा योजनाओं की जानकारी दी।
अपने संबोधन के दौरान सैनिक कल्याण मंत्री गणेश जोशी ने कहा कि भारतीय सेना की रोटी एक ही दिन खाने से भी इंसान के जज्बात बदल जाते हैं, मैंने तो सेना में पूरे 7 साल तक फौजी बनकर राष्ट्रसेवा का सबक सीखा है। यही फौजी अनुशासन की ही देन है कि मैं आज भी जनता के बीच रहकर विभिन्न भूमिकाओं में जनता की सेवा कर पा रहा हूं।
मंत्री ने कहा कि सरहदों पर विषम परिस्थितियों पर रह रहे जवानों और उनके परिजनों की देखभाल करना जहां सरकार की जिम्मेदारी है, वहीं पूर्व सैनिकों के हितों की रक्षा के लिए भी राज्य सरकार लगातार काम कर रही है।
आप सभी लोग जानते हैं कि भारतीय सेना के लगभग 17.5 प्रतिशत से ज्यादा फौजी उत्तराखंड से आते हैं। राज्य के युवाओं का सेना के प्रति एक विशेष लगाव है, परंतु सेना भर्ती में आमतौर पर ऊंचाई के मानक ज्यादा होने के कारण हमारे युवा सेना भर्ती से महरूम रह जाते थे। हमने विशेष प्रयास कर सेना में भर्ती के लिए ऊंचाई के मानकों को 167 सेंटीमीटर से घटाकर 163 सेंटीमीटर कराया। पूर्व सैनिकों को गृहकर में छूट तथा अन्य सुविधाएं नगर निगम क्षेत्र के अंदर तो दी जाती हैं परंतु कैंट क्षेत्रों में भी ऐसा हो इसके लिए राज्य सरकार द्वारा कार्य किया गया है। मुझे प्रसन्नता है कि बीते दिनों में उत्तराखंड राज्य के सैनिक कल्याण विभाग की सक्रियता तथा काम करने की चर्चा पूरे देश में हो रही है।
मुझे गर्व है कि मैं उस पार्टी का सिपाही हूं जिस पार्टी का प्रधानमंत्री दिवाली, होली जैसे त्योहारों को मनाने के लिए फौजियों के बीच दुर्गम सरहदों पर मौजूद रहता है। लंबे समय से लटकाई जा रही वन रैंक वन पेंशन की मांग को भाजपा सरकार द्वारा 20400 करोड़ से अधिक खर्च कर पूरा किया गया है।
शहीद सैनिकों के सर्वाेच्च बलिदान को पूरे समाज में गौरवपूर्ण स्थान दिलाने का काम भाजपा सरकार द्वारा किया गया है। देश की सीमा पर भारत माता की रक्षा करते हुए शहीद होने वाले परिवारों के परिजनों को नौकरियों में समायोजित करने का काम हमारी सरकार कर रही है। आने वाली पीढ़ियों के लिए भी अमर शहीदों के सर्वाेच्च बलिदान की भावना को संप्रेषित करने की परिकल्पना प्रधानमंत्री मोदी ने दी थी। इस परिकल्पना के अनुसार राज्य में पांचवें धाम सैन्यधाम के निर्माण का कार्य किया जा रहा है। सैन्यधाम के निर्माण में प्रयोग करने के लिए राज्य के 1734 शहीदों के आंगन पवित्र माटी को एकत्रित करने के लिए सहित सम्मान यात्रा पूरे राज्य में जारी है। शहीद सम्मान यात्रा का समापन 13 दिसंबर को एक भव्य कार्यक्रम के माध्यम से गुनियालगांव देहरादून में किया जाना है। मैं आप सभी को शहीद सम्मान यात्रा के समापन दिवस पर आमंत्रित भी करता हूं। उन्होंने पूर्व सैनिकों को आश्वस्त किया कि अब 31 मार्च के बाद उपनल पूर्व की भांति सिर्फ पूर्व सैनिकों एवं उनके परिजनों की सेवा के लिए उपलब्ध रहेगा।
कार्यक्रम में उपनल के एमडी सेनि0 ब्रिगेडियर पीपीएस पाहवा, बिग्रेडियर केजी बहल, बिग्रेडियर मुकुल भण्डारी, कैप्टन राजेश वाधवान, कैप्टन एनएन कुकरेती, कमाण्डर गौतम नेगी, कर्नल बीएम थापा, कर्नल एसएस थापा, कैप्टन डीपी बलूनी, कैप्टन धनीराम नैनवाल, कैप्टन केबी थापा आदि उपस्थित रहे।

बड़ी खबर : फिर बड़ा कोरोना सक्रमण, पौड़ी में कोरोना का विस्फोट 19 सक्रमित मिले

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‘प्रदेश में बीते 24 घंटे में 36 नए कोरोना संक्रमित मिले

देहरादून, उत्तराखण्ड़ में कोरोना संक्रमण धीरे धीरे फिर से बढ़ने लगा है, राज्य पूरी तरह पिछले कुछ समय से आमजन कोरोना के प्रति बेफिक्र हो गया था और कोरोना की गाइड लाइन का पालन करने में भी कौताही बरतने लगा, नतीजा सामने है और राज्य में कोरोना संक्रमण फिर बढ़ने लगा है। प्रदेश में बीते 24 घंटे में 36 नए कोरोना संक्रमित मिले हैं। वहीं, एक भी मरीज की मौत नहीं हुई है। 10 मरीजों को ठीक होने के बाद घर भेजा गया। सक्रिय मरीजों की संख्या बढ़कर 176 हो गई है। जबकि शनिवार को प्रदेश में 150 सक्रिय मरीज थे।
राज्य स्वास्थ्य विभाग की ओर से जारी बुलेटिन के अनुसार, रविवार को 5336 सैंपलों की जांच रिपोर्ट निगेटिव आई है। सात जिलों बागेश्वर, चमोली, चंपावत, पिथौरागढ़, रुद्रप्रयाग, टिहरी और उत्तरकाशी में एक भी संक्रमित मरीज नहीं मिला है। वहीं, पौड़ी में सबसे ज्यादा 19 केस मिले हैं। अल्मोड़ा और हरिद्वार में दो-दो, नैनीताल में सात, देहरादून में पांच और ऊधमसिंह नगर में एक संक्रमित मरीज मिला है।
प्रदेश में अब तक कोरोना के कुल संक्रमितों की संख्या 344219 हो गई है। इनमें से 330476 लोग ठीक हो चुके हैं। प्रदेश में कोरोना के चलते अब तक कुल 7407 लोगों की जान जा चुकी है। प्रदेश की रिकवरी दर 96.01 प्रतिशत और संक्रमण दर 0.67 प्रतिशत दर्ज की गई है।

जहां राज्य में कोरोना संक्रमण का खतरा एक बार फिर बढ़ रहा है। लेकिन इसके उलट कोविड सैंपल जांच की रफ्तार कम हो रही है। प्रदेश में प्रतिदिन औसतन आठ हजार सैंपलों की जांच की जा रही है। हाल यह है कि साढ़े नौ महीनों में बीते सप्ताह में सबसे कम सैंपलिंग हुई है। कोविड महामारी की दूसरी लहर के बाद प्रदेश में संक्रमितों की संख्या कम होती जा रही थी, लेकिन बीते कुछ दिन से फिर से संक्रमण बढ़ता जा रहा है, दूसरी तरफ बढ़ती लापरवाही कोरोना के फैलाव की आशंका को और बढ़ा रही है। दरअसल, बीते दिनों प्रदेश सरकार ने अपनी तरफ से लगाई गईं कोरोना संबंधी सभी बंदिशें हटा दी थीं। मौजूदा हाल यह हैं कि अधिकतर लोग सार्वजनिक स्थानों पर भी मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग तक के नियम का पालन नहीं कर रहे हैं।

देवभूमि उत्तराखंड में हरिद्वार की पावन धरती पर रहने का और शिक्षा प्राप्त करने का अवसर मिलना बड़े सौभाग्य की बात : राष्ट्रपति

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“पतंजलि समूह के संस्थानों में भारतीयता पर आधारित उद्यमों और उद्यम पर आधारित भारतीयता का विकास हो रहा है।”

हरिद्वार। राष्ट्रपति श्री राम नाथ कोविन्द ने पतंजलि विश्वविद्यालय, हरिद्वार के प्रथम दीक्षांत समारोह में गोल्ड मेडलिस्ट विद्यार्थियों को उपाधि प्रदान की। इस अवसर पर राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से. नि.), मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी, उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत, पतंजलि विश्वविद्यालय के कुलाधिपति स्वामी रामदेव, कुलपति आचार्य बालकृष्ण, संकाय अध्यक्षा डॉ. साधवी देवप्रिया भी उपस्थित थे।

राष्ट्रपति श्री राम नाथ कोविन्द ने कहा कि आधुनिक विज्ञान के साथ हमारी परंपरा की प्रासंगिक ज्ञान-राशि को जोड़ते हुए भारत को नॉलेज सुपर पावर बनाने का जो लक्ष्य राष्ट्रीय शिक्षा नीति ने निर्धारित किया है उस मार्ग पर पतंजलि विश्वविद्यालय अग्रसर है। उन्होंने पुरस्कार प्राप्त करने वाले छात्र-छात्राओं तथा स्नातक,स्नातकोत्तर और पीएचडी की उपाधियां प्राप्त करने वाले सभी विद्यार्थियों को बधाई देते हुए उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की।
राष्ट्रपति श्री कोविंद ने कहा कि देवभूमि उत्तराखंड में हरिद्वार की पावन धरती पर रहने का और शिक्षा प्राप्त करने का अवसर मिलना बड़े सौभाग्य की बात है। पतंजलि विश्वविद्यालय के कुलाधिपति स्वामी रामदेव जी ने योग की लोकप्रियता को बढ़ाने में अभूतपूर्व योगदान दिया है। भारत सरकार के प्रयासों से संयुक्त राष्ट्र संघ द्वारा 2015 में प्रतिवर्ष 21 जून को ‘अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस’ के रूप में मनाने का निर्णय लिया गया। ऐसे प्रयासों के परिणामस्वरूप सन 2016 में ‘योग’ को यूनेस्को द्वारा‘विश्व की अमूर्त सांस्कृतिक धरोहर’ की सूची में शामिल किया गया है। राष्ट्रपति ने क्यूबाका उदाहरण देते हुए कहा कि योग को विश्व के हर क्षेत्र और विचारधारा के लोगों ने अपनाया है। राष्ट्रपति ने कहा कि पतंजलि विश्वविद्यालय द्वारा जो प्रयास किए जा रहे हैं उनसे भारतीय ज्ञान-विज्ञान, विशेषकर आयुर्वेद तथा योग को आधुनिक परिप्रेक्ष्य में विश्व-पटल पर गौरवशाली स्थान प्राप्त करने में सहायता मिलेगी। मुझे यह देखकर प्रसन्नता होती है कि पतंजलि समूह के संस्थानों में भारतीयता पर आधारित उद्यमों और उद्यम पर आधारित भारतीयता का विकास हो रहा है।
राष्ट्रपति ने उपाधि प्राप्त विद्यार्थियों को बधाई देते हुए कहा कि आलस्य और प्रमाद को त्याग कर आप सब योग-परंपरा में उल्लिखित‘अन्नमय कोश’, ‘मनोमय कोश’ और‘प्राणमय कोश’ की शुचिता हेतु सचेत रहेंगे। और ‘विज्ञानमय कोश’ और ‘आनंदमय कोश’ तक की आंतरिक यात्रा पूरी करने की महत्वाकांक्षा के साथ आगे बढ़ेंगे। करुणा और सेवा के आदर्शों को आप अपने आचरण में ढाल कर समाज सेवा करते रहेंगे। करुणा और सेवा के अद्भुत उदाहरण हमारे देशवासियों ने कोरोना का सामना करने के दौरान प्रस्तुत किए हैं। आज हम गर्व के साथ यह कह सकते हैं कि हमारा देश विश्व के उन थोड़े से देशों में से है जिन्होंने न सिर्फ कोरोना के मरीजों की प्रभावी देखभाल की है अपितु इस बीमारी से बचाव हेतु वैक्सीन का भी उत्पादन किया है। हमारे देश में विश्व का सबसे बड़ा टीकाकरण अभियान सफलतापूर्वक चल रहा है। सृष्टि के साथ सामंजस्यपूर्ण जुड़ाव ही आयुर्वेद एवं योग-शास्त्र का लक्ष्य है। इस सामंजस्य के लिए यह भी आवश्यक है कि हम सभी प्रकृति के अनुरूप जीवनशैली को अपनाएं तथा प्राकृतिक नियमों का उल्लंघन न करें।
राष्ट्रपति ने कहा कि आज जब हम आज़ादी का अमृत महोत्सव बना रहे हैं, तब हमें अपने ऐसे विश्वविद्यालयों और शिक्षण संस्थानों को और भी अधिक प्रोत्साहन देना चाहिए जो हमारी संस्कृति को आधुनिक परिप्रेक्ष्य में नई ऊर्जा प्रदान कर रहे हैं। यह विशेष रूप से उल्लेखनीय तथ्य है कि पतंजलि विश्वविद्यालय में छात्रों की अपेक्षा बेटियों की संख्या अधिक है। यह प्रसन्नता की बात है कि परंपरा पर आधारित आधुनिक शिक्षा का विस्तार करने में हमारी बेटियां अग्रणी भूमिका निभा रही हैं। मुझे विश्वास है कि आप सभी छात्राओं में से आधुनिक युग की गार्गी,मैत्रेयी, अपाला, रोमशा और लोपामुद्रा निकलेंगी जो भारतीय मनीषा और समाज की श्रेष्ठता को विश्व पटल पर स्थापित करेंगी।

स्वामी रामदेव और आचार्य बालकृष्ण ने योग एवं आयुर्वेद को दुनियाभर में एक नई पहचान दी : राज्यपाल

राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से. नि.) ने कहा कि आज हम सभी देवभूमि वासियों के लिये सौभाग्य और प्रसन्नता का क्षण है। महामहिम राष्ट्रपति जी की उपस्थिति से आज यह विद्या और ज्ञान का मन्दिर पंतजलि विश्वविद्यालय तथा हमारा पूरा उत्तराखण्ड परिवार गरिमामय हो गया है। देवभूमि उत्तराखण्ड की पावन धरती, यहां के सुन्दर पर्वत, नदियां और सभी लोग महामहिम राष्ट्रपति जी का आभार व्यक्त करते हैं।

राज्यपाल ने कहा कि स्वामी रामदेव जी और आचार्य बालकृष्ण जी ने योग एवं आयुर्वेद को दुनियाभर में एक नई पहचान दी है। वे बधाई के पात्र है। स्वामी रामदेव जी ने आयुर्वेद व योग का महत्व पूरी दुनिया को बताया। वे योग एवं आयुर्वेद के माध्यम से हेल्थ सेक्टर में क्रांति लाए हैं। भविष्य में विश्व के 7 बिलियन लोग इसका लाभ उठाएंगे। उन्होंने इसे जन-जन तक पहुंचाने का महान कार्य किया है। आज बच्चे, बुजुर्गो सहित सभी लोगों में योग लोकप्रिय हो चुका है। प्राणायाम और योगासनों की शक्तियों को पूरा विश्व पहचान चुका है। राज्यपाल ने कहा कि आयुर्वेद तथा योग ने भारत को कोविड काल की चुनौतियों के लिये भी तैयार किया। जहां पूरा विश्व कोविड के कारण बुरी तरह प्रभावित रहा। योग एवं आयुर्वेद के कारण भारत ने इस चुनौती का सामना बेहतर ढंग से किया। राज्यपाल ने कहा कि मुझे पूरा विश्वास है कि आज इस दीक्षांत समारोह में डिग्रीयां लेने वाले विद्यार्थी अपने राष्ट्र, प्रदेश और समाज की उम्मीदों पर खरे उतरेंगे। आप अपनी शिक्षा, प्रतिभा एवं प्रशिक्षण का उपयोग मानव कल्याण के लिये करेंगे। आशा है कि हमारे यह स्वास्थ्य योद्धा आने वाली चुनौतियों का सामना सफलतापूर्वक करेंगे।
राज्यपाल ने कहा कि दीक्षांत समारोह का अर्थ शिक्षा की समाप्ति नही है। शिक्षा तो जीवनभर निरन्तर चलने वाली प्रक्रिया है। आज पूरा विश्व असीमित संभावनाओं और अवसरो से युक्त है। युवा पीढ़ी से अपेक्षाएं है कि आउट ऑफ द बाक्स थिकिंग और अपनी नई कल्पनाओं के साथ प्रत्येक क्षेत्र में असीमित परिणाम देंगे। मुझे यह देखकर खुशी होती है कि आज बड़ी संख्या में युवा संस्कृत भाषा, योग, आयुर्वेद, नैचुरोपेथी तथा प्राचीन भारतीय विधाओं को पढ़ना और सीखना चाहते हैं। ऐसे युवा यदि इन्फोर्ममेशन टेक्नॉलॉजीए डिजिटिजेशन, सोशल मीडिया एवं मास मीडिया में भी विशेषज्ञता प्राप्त कर लेते हैं तो यह हमारी प्राचीन विधाओं को नई ऊंचाईयों तक ले जाएंगा। युवाओं के द्वारा सोशल मीडिया तथा मास मीडिया का सदुपयोग इन समृद्ध विधाओ के प्रचार प्रसार किया जा सकता है। मेरा मानना है कि योग और आयुर्वेद के विद्यार्थी हमारी सभ्यता, संस्कृति के ब्राण्ड अम्बेसडर भी हैं। राज्यपाल ने कहा कि योग और आयुर्वेद हमारी सरल, सहज एव शाश्वत तथा सम्पूर्ण चिकित्सा विज्ञान है। हमे जन-जन तक इस बात को पहुंचाना है। योग और आयुर्वेद को विश्व की एक प्रमुख चिकित्सा पद्धति के रूप में स्थापित करना है। यह महान उत्तरदायित्व भी आपके ऊपर ही है। राज्यपाल ने कहा कि आज हमारे समक्ष सतत विकास के साथ ही संतुलित विकास की भी चुनौती है। विद्यार्थियों से मेरा आग्रह है कि यदि आपकी शिक्षा, प्रतिभा और विजन का लाभ हमारे देश के पिछडे़ क्षेत्रों, दूरस्थ गांवों, समाज के वंचित और निर्धन तबकों को मिले तो यह आपके जीवन को एक नया अर्थ देगा। विशेषकर उत्तराखण्ड के संदर्भ में यहां की शिक्षित युवाओं को स्थानीय उत्पादों, शिल्पों, संस्कृति और सोच विचार पर आधारित उद्यमों के लिये कार्य करना चाहिये। निश्चित ही आप राज्य में रिवर्स माइग्रेशन का नया अध्याय लिखेंगे। राज्यपाल ने कहा कि आशा है कि भविष्य में आप अपने सेवा क्षेत्र में नैतिक मूल्यों, मानवीयता, विश्व कल्याण और सेवा को सर्वोच्च प्राथमिकता देंगे। आप सर्वजन हिताय सर्वजन सुखाय की सोच के साथ कार्य करेंगे। आप प्रोफेशनल एथिक्स के साथ ही अपने क्षेत्रों में उत्कृष्ट से उत्कृष्ट प्रयास करेंगे।

स्वामी रामदेव अपने संघर्ष और तप से योग, प्रणायाम, अध्यात्म और स्वदेशी चिंतन की पताका को पूरे विश्व में फहरा रहे हैं : मुख्यमंत्री धामी

मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने राष्ट्रपति का देवभूमि और गंगा नगरी में आगमन पर स्वागत करते हुए कहा कि हमारे महामहिम राष्ट्रपति जी का जीवन एक प्रेरणा पुंज के समान है। ये हमें बताता है कि व्यक्ति में यदि दृढ़ संकल्प, आत्मविश्वास, साहस और इच्छाशक्ति हो तो वो बड़े से बड़े लक्ष्य को भी हासिल कर सकता है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज हम जहां एकत्रित हुए हैं ये वो स्थान है जिसने दुनिया भर योग के प्रचार-प्रसार को एक नया आयाम और एक नया विस्तार दिया है। जिस प्रकार महर्षि दधीचि के तप का उपयोग कर वज्र का निर्माण हुआ उसी प्रकार स्वामी रामदेव अपने संघर्ष और तप से योग, प्रणायाम, अध्यात्म और स्वदेशी चिंतन की पताका को पूरे विश्व में फहरा रहे हैं। साथ ही इस अवसर पर मैं आभार प्रकट करना चाहूँगा आचार्य श्री बालकृष्ण जी का भी जो कि अपने प्रबंधन कौशल तथा आयुर्वेद के ज्ञान से इस भारतीय चिकित्सा पद्धति और योग क्रांति को पूरे विश्व में आगे बढ़ाने का काम कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि आज योग भारतीय संस्कृति के ध्वजारोहक के रूप दुनिया भर में इस सत्य को पुर्नःस्थापित कर चुका है कि भारतीय परम्पराएं, भारतीय दर्शन और हमारे ऋषि मुनियों द्वारा अपनाई और तय की गई जीवन पद्धति कितनी वैज्ञानिक और हितकारी थी। योग केवल शारीरिक ही नहीं मानसिक और भावनात्मक विकारों को भी दूर करता है। यूं तो योग सदियों से विश्व में अपना डंका बजा रहा है लेकिन जो ख्याति प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के प्रयासों से इसने हासिल की है वो अभूतपूर्व है। ये आदरणीय मोदी जी की ही पहल थी कि 21 जून 2015 को दुनिया में पहली बार अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाया गया ।यशश्वी प्रधानमंत्री जी का कथन है कि हमें खुद भी योग का संकल्प लेना है और दूसरों को भी इस संकल्प से जोड़ना है। “योग से सहयोग“ तक का मंत्र हमें भविष्य का नया मार्ग दिखाएगा और मानवता को सशक्त करेगा।उत्तराखंड में हम लगातार उनके इस मंत्र पर चलने और इसे सिद्ध करने का प्रयास कर रहे हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे पथ प्रदर्शक श्री दीनदयाल उपाध्याय जी ने जो ’अंत्योदय’ का जो मन्त्र हमें दिया है लगातार उसको अपना कर हम अपनी योजनाओं को आगे बढ़ा रहे हैं। इस दिशा में हमें सफलता भी मिली है और हमारी ये यात्रा निरंतर जारी है। उत्तराखंड उन सपनों को साकार करने की राह पर आगे बढ़ रहा है जो सपने इसके निर्माण के दौरान देखे गए थे। हमारी सरकार जन आकांक्षाओं को पहचान कर उनके अ कस रही है। एक सैनिक पुत्र होने के नाते, मैं उत्तराखंड के सैनिक परिवारों की अपेक्षाओं और उम्मीदों को पूरा करने के लिए भी प्रयत्नशील हूँ। हम निरंतर उन कामों को कर रहे हैं जिनका सीधा सरोकार जनता से है, उनकी भलाई से है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी पूरी कोशिश है कि वर्ष 2025 में जब हम राज्य स्थापना के 25 वर्ष का जश्न मन रहे होंगे तब तक हम उत्तराखंड को हर क्षेत्र में नंबर वन बना लेंगे। प्रधानमंत्री जी ने भी कहा है और मैं भी उनके ही कथन को दोहरा रहा हूं कि आने वाला दशक उत्तराखंड का दशक होगा और इस दशक में हम आप सभी के सहयोग से नई बुलंदियों को छुएंगे। प्रदेश की जनता ने हमेशा हम पर विश्वास जताया है और मुझे पूरी आशा है कि उनका ये विश्वास हम पर आगे भी यूं बना रहेगा।

इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री स्वामी यतीश्वरानन्द, विधायक श्री आदेश चौहान, श्री सुरेश राठौर, श्री प्रदीप बत्रा, मेयर रूड़की श्री गौरव गोयल, विभिन्न विश्वविद्यालयों के कुलपति, जिला अधिकारी श्री विनय शंकर पांडे, एस एस पी श्री योगेंद्र सिंह रावत, उपाधि प्राप्तकर्ता विद्यार्थी एवं अन्य गणमान्य मौजूद थे।

घसियारी किट को लेकर भ्रम फैलाना अनुचितः डा धन सिंह रावत

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– सबका साथ सबका विकास की नीति को ले

देहरादूनः राठ विकास अभिकरण द्वारा संचालित राज्य की घसियारी कल्याण योजना को लेकर लोगों में खासा उत्साह है। योजना के लाभ के लिए बड़ी तादाद ग्रामीणों के आवेदन आ रहे हैं। और सरकार की ओर से उन्हें किट वितरित की जा रही हैं। सहकारिता मंत्री डा धन सिंह रावत ने क्षेत्र में कई गांवों में आयोजित कार्यक्रम में ग्रामीणों को किट वितरित की, और लगातार यह सिलसिला जारी है। उम्मीद की जा रही है कि दिसंबर माह तक क्षेत्र में योजना अपने निर्धारित लक्ष्य को हासिल कर लेगी।

गत दिवस क्षेत्र के बहेड़ी गांव में घसियारी किट को लेकर भ्रम फैलाने की सूचनाएं आई। वहां बताया गया कि योजना के लाभ से लोगों को वंचित रखने के लिए कुछ लोग भ्रम फैला रहे हैं। हालांकि मंत्री की मौजूदगी में वहां बड़ी तादाद में ग्रामीणों को घसियारी किट का वितरण किया गया। इस संदर्भ में सहकारिता मंत्री डा धन सिंह रावत ने कहा कि घसियारी कल्याण योजना सबका साथ सबका विकास की नीति को लेकर पूरी निष्ठा के साथ संचालित की जा रही है। इस पर भ्रम की स्थितियां पैदा करना अनुचित है।

सरकार की योजना का लाभ हर किसी को मिलना चाहिए। घर गांव की कास्तकारी में घसियारी किट का बहुत महत्व है। यह प्रत्येक परिवार की प्राथमिक आवश्यकताओं में है। जन कल्याण में दलगत राजनीति का कोई स्थान नहीं होता। गांव में शत प्रतिशत लोगों ने घसियारी किट के लिए आवेदन किया है।
सहकारिता मंत्री ने बताया कि क्षेत्र में 24000 महिलाओं तक कि यह किट वितरित करना उनका लक्ष्य है। एक माह के अंदर ही लक्ष्य हासिल हो जाएगा। इसे लेकर लोगों में उत्साह है। सभी लोगों को इसमें सहयोग करना चाहिए ताकि कोई भी परिवार इस योजना के लाभ से वंचित ना रहे।

दून में हो ‘बूंदी रायता’ की शूटिंग, राजा रोड, पुराना बस अड्डा स्थित मजार और काम्पलेक्स में हुआ फिल्मांकन

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देहरादून, दून की वादियों में बाॅलीवुड फिल्म की आजकल शूटिंग चल रही है, लीक हटकर बनी इस फिल्म की कहानी जीरो से हीरो बने किरदार को दर्शाती बॉलीवुड फिल्म ‘बूंदी रायता’ की शूटिंग राजा रोड, पुराना बस अड्डा स्थित मजार और एक काम्पलेक्स में हुई। राजा रोड स्थित एक घर में फिल्म की शूटिंग हुई, जिसमें बग्गू का किरदार निभाने वाले अभिनेता हिमांश कोहली के घर को दिखाया गया। इस घर को बग्गू हाउस नाम दिया गया है। यहां देर रात तक अभिनेता हिमांश कोहली व रवि किशन के विभिन्न दृश्य फिल्माए गए। अगले दो सप्ताह तक फिल्म की शूटिंग इसी घर व परिसर में हो रही हैं, राधिका जी फिल्म्स के बैनर तले निर्देशक कमल चंद्रा की फिल्म ‘बूंदी रायता’ में अभिनेता हिमांश कोहली, भोजपुरी अभिनेता रवि किशन व अभिनेत्री सोनाली सहगल मुख्य भूमिका में हैं। फिल्म में हिमांश 25 साल के बग्गू, जबकि रवि किशन सन्नू भैया का किरदार निभा रहे हैं। शनिवार सुबह शूटिंग के दौरान हिमांश कोहली का पुराने बस अड्डा स्थित मजार में जाने का दृश्य दिखाया गया, यहां बग्गू का किरदार निभा रहे हिमांश ने माथा टेका और इसके बाद वे परिसर में ही स्थित एक काम्पलेक्स से नीचे उतरते हुए दिखाई दिए। इसके बाद वे राजा रोड स्थित बग्गू हाउस पहुंचे और यहां पढ़ाई करने के दृश्य फिल्माए।वहीं, रात नौ बजे के बाद अभिनेता रवि किशन के राजा रोड स्थित बग्गू हाउस में विभिन्न दृश्य फिल्माए गए। समृद्धि लाइन प्रोडक्शन के नितिन बंसल, सुमित खरबंदा, अमितोज मारवाह और कपिल ने बताया कि दिसंबर से फिल्म की शूटिंग पटेलनगर, देहराखास और राजपुर रोड में होगी। अगले वर्ष जनवरी तक होने वाली शूटिंग देहरादून के अलावा मसूरी, ऋषिकेश, टिहरी के विभिन्न क्षेत्रों में की जाएगी।

 

हिमांश की झलक पाने के लिए लगी भीड़

फिल्म शूटिंग के दौरान अभिनेता हिमांश कोहली की एक झलक पाने के लिए राजा रोड और पुराना बस अड्डे के पास लोग की काफी भीड़ लगी रही। कई सेल्फी लेने के लिए पहुंचे थे तो कुछ उनसे बातचीत करने। हालांकि, वीएन बाउंसर एंड सिक्योरिटी सर्विस के गार्ड ने उन्हें बाहर ही रोका, फिल्म की शूटिंग के अलावा अभिनेता रवि किशन उत्तराखंड के पारंपरिक व्यंजन को भी काफी पसंद कर रहे हैं। वह टीम के अलावा कई स्थानीय लोग से यहां के पारंपरिक व्यंजनों की जानकारी ले रहे हैं।

एच सी बजाज मेमोरियल जिला फुटबॉल चैम्पियनशिप 19 दिसम्बर से , विजेता को मिलेंगे 51 हजार

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देहरादून (डी एम लखेड़ा)

पूर्व खिलाड़ी रेफरी एवं डी डी एस ए के सदस्य रहे स्व बजाज जी की स्मृति में 19 दिसम्बर से जिला फुटबॉल प्राइज़ मनी प्रतियोगिता का शुभारंभ होगा !
जिला खेल संघ के अध्यक्ष रामप्रसाद की अध्यक्षता में आज आयोजित बैठक में इस बात का निर्णय लिया गया ! फुटबॉल प्रतियोगिता के आयोजन की जानकारी देते हुए डीडीएसए के महासचिव गुरचरण सिंह ने बताया कि प्रतियोगिता में 16 ही टीमों को प्रवेश दिया जाएगा ! जिसमें डीएफए से रजिस्टर्ड क्लब , सेना एवं पुलिस की टीमों को ही प्रेवश दिया जाएगा , विजेता टीम को 51 हजार उपविजेता को 31 हजार एवं दोनों सेमीफाइनल में हारने वाली टीमों को 11-11 हजार की नकद पुरष्कार राशि के साथ ही आकर्षक पुरष्कार दिए जाएंगे !
19 से 26 दिसम्बर तक पवेलियन मैदान में नॉकआउट आधार पर खेली जाने वाली इस प्रतियोगिता का प्रवेश शुल्क 2 हजार रुपये रखा गया है ! जिन भी टीमों को प्रवेश लेना है वह गुरचरण सिंह महासचिव एवं राकेश उपाध्याय कोषाध्यक्ष के पास अपनी एण्ट्री 11 दिसम्बर तक जमा करा सकते है ! अध्यक्ष रामप्रसाद ने बताया कि इस अवसर पर पूर्व खिलाडीयो को भी संमानित किया जाएगा !
स्व बजाज स्मृति फुटबॉल प्रतियोगिता के आयोजन पर क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड के पी सी वर्मा ने हर्ष व्यक्त करते हुए प्रतियोगिता को पूरा सहयोग देने का आश्वासन दिया ! संयुक्त सचिव निर्मल कुमार ने कहा इस प्रतियोगिता के माध्यम से देहरादून की सभी फुटबॉल हस्तियों को एकत्रित कर एक नया रूप प्रदान किया जाएगा !
आज आयोजित DDSA की बैठक में अध्यक्ष रामप्रसाद, महासचिव गुरचरण सिंह, संयुक्त सचिव निर्मल कुमार ,पी सी वर्मा , मोहसिन खान , कुमार थापा, बृजेन्द्र राना, मुनीर अहमद , नवीन नागलिया , बी एस रावत , कैलाश जोशी , बिंदर सिंह , मुकेश रतूड़ी एवं लक्ष्मण सिंह आदि लोग उपस्थित थे !

‘मन की बात’ के 83वें संस्करण में बोले PM मोदी, सत्ता में नहीं सेवा में रहना चाहता, मैं सिर्फ जनता का सेवक हूं

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नई दिल्ली, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशवासियों से अपने रेडियो कार्यक्रम मन की बात के जरिये संवाद किया। यह उनकी मन की बात कार्यक्रम का 83वां संस्करण है। उनका ये रेडियो कार्यक्रम सुबह 11 बजे ऑल इंडिया रेडियो, दूरदर्शन, ऑल इंडिया रेडियो न्यूज और मोबाइल एप पर प्रसारित किया गया। मन की बात कार्यक्रम में बोलते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि देश आज़ादी का अमृत महोत्सव मना रहा है। आज़ादी का अमृत महोत्सव सिखने के साथ ही यह हमें देश के लिए कुछ करने कि प्ररेणा भी देता है। अब तो देश में लगातार इस महोत्सव से जुड़े कार्यक्रमों का सिलसिला भी चल रहा है। वीरता केवल युद्ध के मैदान में ही दिखाई जाए ऐसा ज़रूरी नहीं होता। जब वीरता का विस्तार होता है तो हर क्षेत्र में अनेकों कार्य सिद्ध होने लगते हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि हमारे आसपास जो भी प्राकृतिक संसाधन है, हम उन्हें बचाएं, उन्हें फिर से उनका असली रूप लौटाएं। इसी में हम सबका हित है। पीएम मोदी ने आयुष्मान योजना के तहत एक लाभार्थी से बात करते हुए कहा कि मैं आज भी सत्ता में नहीं हूं, मैं कल भी सत्ता में नहीं जाना चाहता। मैं सिर्फ सेवक होकर रहना चाहता हूँ। पीएम मोदी ने कहा कि सरकार के प्रयासों से, सरकार की योजनाओं से कैसे कोई जीवन बदला उस बदले हुए जीवन का अनुभव क्या है? जब ये सुनते हैं तो हम भी संवेदनाओं से भर जाते हैं। यह मन को संतोष भी देता है और उस योजना को लोगों तक पहुंचाने की प्रेरणा भी देता है। युवाओं से समृद्ध हर देश में तीन चीजें बहुत मायने रखती हैं। पहली चीज है – Ideas और Innovation, दूसरी है – जोखिम लेने का जज्बा, तीसरी है – Can Do Spirit, यानी किसी भी काम को पूरा करने की जिद्द। जब ये 3 चीजें आपस में मिलती हैं तो अभूतपूर्व परिणाम मिलते हैं।

पीएम मोदी ने कहा कि आपको ये जानकार बेहद ख़ुशी होगी कि अब Unicorns की दुनिया में भी भारत तेज उड़ान भर रहा है। एक रिपोर्ट के मुताबिक इसी साल एक बड़ा बदलाव आया है। सिर्फ 10 महीनों में ही भारत में हर 10 दिन में एक Unicorn बना है। दिसम्बर महीने में ही एक और बड़ा दिन हमारे सामने आता है जिससे हम प्रेरणा लेते हैं। ये दिन है, 6 दिसम्बर को बाबा साहब अम्बेडकर की पुण्यतिथि। बाबा साहब ने अपना पूरा जीवन देश और समाज के लिये अपने कर्तव्यों के निर्वहन के लिये समर्पित किया था।

छह साल की मासूम को बनाया हवस का शिकार, मुकदमा दर्ज, पुलिस ने आरोपी की तलाश शुरू

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हरिद्वार, जनपद मंगलौर कोतवाली क्षेत्र के एक गांव में सात साल की बच्ची के साथ दुष्कर्म का मामला प्रकाश में आया है। पुलिस ने आरोपित के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है। मंगलौर कोतवाली क्षेत्र के एक गांव निवासी व्यक्ति ने शुक्रवार की देर शाम को मंगलौर कोतवाली पहुंचकर पुलिस को बताया कि उसकी सात वर्षीय पुत्री घर के बाहर खेल रही थी। तभी वहां से गुजर रहे उसके गांव में रहने वाले अभिषेक नामक युवक ने उसकी बेटी को जबरदस्ती दबोच लिया।

आरोपित उसे पास के गन्ने के खेत में ले गया। यहां पर उसके दुष्कर्म किया। घटना के बाद बच्ची रोती, बिलखती अपने घर आई। उसने स्वजन को पूरी जानकारी दी। दुष्कर्म के बाद बच्ची की हालत नाजुक बनी हुई है। मासूम बच्ची के साथ दुष्कर्म की जानकारी होने पर पुलिस के होश उड़ गए। पुलिस ने तहरीर के आधार पर मुकदमा दर्ज कर आरोपी की तलाश शुरू कर दी है। कोतवाली प्रभारी निरीक्षक अमर चंद शर्मा ने बताया कि आरोपित अभिषेक की तलाश की जा रही है। बच्ची को अस्पताल में उपचार दिलाया जा रहा है।

युवती को शादी का झांसा देकर किया दुष्कर्म

रुड़की: युवती को शादी का झांसा देकर युवक ने दुष्कर्म किया। जब युवती ने शादी के लिए दबाव बनाया तो आरोप है कि घर आकर उसके साथ मारपीट की गई। पुलिस ने इस मामले मेें मुकदमा दर्ज कर जांच पड़ताल शुरू कर दी है। पुलिस आरोपित की तलाश कर रही है।

सिविल लाइंस कोतवाली क्षेत्र के मोहल्ला निवासी एक युवती की मुलाकात कुछ समय पहले भगवानपुर क्षेत्र के चौल्ली निवासी असजद से हुई थी। इनके बीच प्रेम संबंध बन गये। आरोप है कि युवक एक साल से शादी का झांसा देकर युवती से दुष्कर्म कर रहा था। युवती ने कई बार उसे शादी के लिए कहा। लेकिन, वह हर बार कोई न कोई बहाना बनाकर टाल देता। युवती का आरोप है की 25 नवंबर को युवक उसके घर आया। उस समय युवती के स्वजन बाजार गये थे। युवती ने जब उसे शादी करने के लिए कहा तो उसने युवती की पिटाई कर दी। आरोप है कि असजद ने उसके साथ दुष्कर्म किया। आरोपित धमकी देकर वहां से चला गया। स्वजन के आने के बाद पीडि़त ने घटना की जानकारी दी। इसके बाद स्वजन युवती को लेकर कोतवाली सिविल लाइंस पहुंचे। सिविल लाइंस कोतवाली प्रभारी निरीक्षक देवेंद्र चौहान ने बताया कि पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है।

7th Pay Commission: केंद्रीय कर्मचारियों का बढ़ सकता है, सैलरी में होगी भारी बढ़ोतरी

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7th Pay Commission: केंद्र सरकार अपने कर्मचारियों को नए साल पर तोहफा देने जा रही है. सरकार ने इसी महीने दीवाली बोनस के साथ महंगाई भत्ते (Dearness Allowance – DA) और टीए (TA) को बढ़ाया था. अब एक बार फिर से एक और भत्ते को बढ़ाने की बातें की जा रही हैं. इस बात के कयास लगाए जा रहे हैं कि केंद्रीय कर्मचारियों को इसका फायदा जनवरी महीने से मिल सकता है. मीडिया में आ रही रिपोर्ट्स के मुताबिक, कर्मचारियों को मिलने वाले हाउस रेंट अलाउंस (HRA) को बढ़ाया जा सकता है. ऐसा होने से कर्मचारियों की सैलरी में बंपर बढ़ोतरी की जाएगी. वित्त मंत्रालय ने इस संबंध में 11.56 लाख से अधिक कर्मचारियों के हाउस रेंट अलाउंस (HRA) को लागू करने की मांग पर विचार करना शुरू कर दिया है.  अब महंगाई भत्ते का कैलकुलेशन बदल रहा है जिसका असर उनकी सैलरी पर होगा। केंद्र सरकार के श्रम मंत्रालय (Ministry of Labour and Employment) ने कर्मचारियों के महंगाई भत्‍ते की कैलकुलेशन का फॉर्मूला बदल दिया है।

मंत्रालय ने महंगाई भत्ते के आधार वर्ष (Base Year) 2016 में बदलाव किया गया है। मंत्रालय ने मजदूरी दर सूचकांक (WRI-Wage Rate Index) की एक नई सीरीज जारी की है। श्रम मंत्रालय ने कहा कि आधार वर्ष 2016=100 के साथ WRI की नई सीरीज 1963-65 के आधार वर्ष की पुरानी सीरीज की जगह लेगी यानी अब महंगाई भत्ते का कैलकुलेशन का तरीका बदल जाएगा।

महंगाई के आंकड़ों के आधार पर सरकार समय-समय पर प्रमुख आर्थिक संकेतकों के लिए आधार वर्ष (Inflation Base Year) में संशोधन करती है। इससे अर्थव्यवस्था में आने वाले बदलाव के आधार पर किया जाता है और मजदूरों के वेज पैटर्न को शामिल किया जाता है। अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO), राष्ट्रीय सांख्यिकी आयोग (National Statistical Commission) की सिफारिशों के मुताबिक, दायरा बढ़ाने और सूचकांक को ज्यादा बेहतर बनाने के लिए मजदूरी दर सूचकांक का आधार वर्ष 1963-65 से बदलकर 2016 किया गया है।

आमतौर पर हर 6 महीने, जनवरी और जुलाई में Dearness Allowance में बदलाव किया जाता है। आपको बता दें कि महंगाई भत्ते की मौजूदा दर को मूल वेतन (Basic Pay) से गुणा कर महंगाई भत्ते की रकम निकाली जाती है।

महंगाई भत्ता (Dearness allowance) ऐसा पैसा है, जो सरकारी कर्मचारियों को उनके रहने-खाने के स्तर (Cost of Living) को बेहतर बनाने के लिए दिया जाता है। कर्मचारियों को ये पैसा इसलिए दिया जाता है, ताकि महंगाई बढ़ने के बाद भी कर्मचारी के रहन-सहन पर असर न पड़े। ये पैसा सरकारी कर्मचारियों, पब्लिक सेक्टर के कर्मचारियों और पेंशनधारकों को दिया जाता है।()

कोविड ने नए वैरिएंट ने भारत में भी बढ़ाई चिंता, पीएम मोदी बोले- प्रोएक्टिव रहने की जरूरत, दिए कई निर्देश

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नई दिल्ली : दक्षिण अफ्रीका में कोरोना वायरस के नए वैरिएंट के सामने आने और फिर जल्‍द ही इसके कई देशों में फैल जाने के बीच भारत में भी चिंता बढ़ती जा रही है। इसे लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को शीर्ष अधिकारियों के साथ बैठक की, जिसमें देश में कोविड-19 के मौजूदा हालात और इस संक्रामक रोग से बचाव के लिए जारी टीकाकरण अभियान की समीक्षा की। बैठक के दौरान दक्षिण अफ्रीका में मिले कोविड के नए स्‍ट्रेन पर भी चर्चा हुई, जिसे विश्‍व स्‍वास्‍थ्‍य संगठन (WHO) ने Omicron नाम दिया है और इसे ‘वैरिएंट ऑफ कंसर्न’ बताया है। कोरोना वायरस के इस नए वैरिएंट को लेकर दुनियाभर में पैदा हुई आशंकाओं के मद्देनजर पीएम मोदी ने प्रोएक्टिव रहने पर बल दिया और लोगों से सतर्क रहने के साथ-साथ वैक्‍सीनेशन, मास्‍क पहनने और अन्‍य एहतियातों का पालन करने को कहा।

2 घंटे चली बैठक

पीएम मोदी की शीर्ष अधिकारियों के साथ हुई यह बैठक करीब दो घंटे तक चली, जिसमें अधिकारियों ने प्रधानमंत्री को कोरोना वायरस के नए स्‍ट्रेन और दुनियाभर में इसे लेकर पैदा हुई चिंता तथा इसके प्रभावों के बारे में जानकारी दी। प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक, पीएम मोदी ने ‘प्रोएक्टिव’ रहने और बचाव के उपायों को अपनाने के साथ-साथ अंतरराष्ट्रीय उड़ानों की निगरानी और ‘जोखिम’ वाले देशों से आने वाले लोगों की जांच पर बल दिया।

यहां गौर हो कि कोरोना वायरस का नया वैरिएंट इसी सप्‍ताह दक्षिण अफ्रीका में सामने आया, जिसके बाद देखते ही देखते यह आसपास के देशों में भी फैल गया। बोत्‍सवाना, मालावी के साथ-साथ इजरायल, हॉन्‍गकॉन्‍ग में भी इसके मामले सामने आए हैं, जिसके बाद अमेरिका, ब्रिटेन, कनाडा, रूस सहित दुनिया के कई देशों ने अफ्रीका से आने वाली उड़ानों पर बैन लगा दिया है। यूरोपीय संघ ने भी प्रभावित देशों से आने वाली उड़ानों पर प्रतिबंधित लगाया है।

कोरोना वायरस के इस नए वैरिएंट को लेकर दुनियाभर में बढ़ती चिंताओं के बीच WHO ने इसे लेकर एक आपात बैठक शुक्रवार को बुलाई, जिसमें इसे Omicron नाम दिया गया और ‘बेहद संक्रामक चिंताजनक स्वरूप’ करार दिया गया।