नई दिल्ली. कोरोनाकाल में आम लोगों को राहत देने के लिए सरकार ने बड़ा कदम उठाया है. दालों की बढ़ती कीमत पर लगाम के लिए सरकार ने दालों पर स्टॉक लिमिट लगा दी है. यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू कर दिया गया है. इसे थोक विक्रेताओं, रिटेलर्स, मिल मालिकों और इम्पोर्टर्स पर लागू किया गया है. केंद्रीय खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय की ओर से इस संबंध में एक आदेश जारी किया गया है. जिसके मुताबिक दालों का स्टॉक रखने की सीमा तत्काल प्रभाव से लागू कर दी गई है.
मंत्रालय ने आदेश में कहा कि थोक विक्रेताओं के लिये 200 टन दाल की स्टॉक सीमा होगी. हालांकि इसके साथ ही यह शर्त होगी कि वह एक ही दाल का पूरा 200 टन का स्टॉक नहीं रख सकेंगे. दालों की बढ़ती कीमतों को देखते हुए सरकार ने मूंग को छोड़कर सभी दोलों पर 31 अक्टूबर तक स्टॉक लिमिट लगाई है. कारोबारी किसी भी दाल या दलहन का सरकार की तरफ से तय लिमिट से ज्यादा का स्टॉक नही रख पाएंगे.
सरकार ने रिटेल कारोबारियों के लिए 5 टन स्टॉक की लिमिट तय की है जबकि थोक कारोबारियों और आयातकों के लिए 200 टन की लीमिट तय की गई है. जिसमें किसी एक वैरायटी का स्टोक 100 टन से ज्यादा नही हो सकता है. दाल मिल भी अपनी कुल सालाना क्षमता का 25 फीसदी से ज्यादा का स्टॉक नही रख पाएंगी.
केंद्रीय खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि, अगर स्टॉक निर्धारित सीमा से ज्यादा है, तो उन्हें उपभोक्ता मामलों के विभाग के ऑनलाइन पोर्टल पर घोषित करना होगा. आदेश की अधिसूचना के 30 दिनों के अंदर स्टॉक को तय सीमा में लाना होगा. मार्च-अप्रैल में दालों की कीमतों में लगातार बढ़ोतरी हुई है.
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