ऋषिकेश- टीएचडीसीआईएल द्वारा टिहरी झील में आयोजित “4th रैंकिंग और ओपन कैनो स्प्रिंट सीनियर (पुरुष और महिला) चैंपियनशिप” का शुभारंभ श्री आर. के. सिंह, माननीय कैबिनेट मंत्री, विद्युत, नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय, भारत सरकार एवं श्री पुष्कर सिंह धामी, माननीय मुख्यमंत्री, उत्तराखंड द्वारा आईटीबीपी कैंपस, कोटी कॉलोनी, टिहरी-गढ़वाल में किया गया | इस अवसर पर माननीय कैबिनेट मंत्री ने कहा कि सभी संस्थाओं को कम से कम एक स्पोर्ट्स को अडाप्ट करना चाहिए जिससे कि भारत में खेल प्रतिभा को और खेल सेक्टर को बढ़ावा मिलेगा | साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि टिहरी में खिलाड़ियों को अंतरराष्ट्रीय लेवल की प्रतिस्पर्धाओं के लिए तैयार करने हेतु एक स्पोर्ट्स अकादमी भी शुरू की जाएगी | इस आयोजन के अवसर पर माननीय मुख्यमंत्री, उत्तराखंड ने कहा कि इस आयोजन से टिहरी को देश में एक नई पहचान मिलेगी |
इस अवसर पर माननीय सांसद (राज्य सभा), श्री नरेश बंसल, माननीय विधायक टिहरी, श्री किशोर उपाध्याय, माननीय विधायक प्रतापनगर, श्री विक्रम सिंह नेगी, माननीय विधायक देवप्रयाग, श्री विनोद कंडारी, अध्यक्ष जिला पंचायत टिहरी-गढ़वाल, श्रीमती सोना सजवाँण, सचिव ऊर्जा, उत्तराखंड सरकार, श्री आर. मीनाक्षी सुंदरम, अध्यक्ष, इंडियन कयाकिंग एण्ड कैनोइंग एसोसिएशन, श्री. प्रशांत कुशवाहा भी इस इस अवसर पर मंच पर उपस्थित रहे | इस दौरान श्री आर. के. विश्नोई, अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, टीएचडीसीआईएल द्वारा स्वागत संबोधन दिया गया व डॉ. डी. के. सिंह, सेक्रेटरी जनरल, उत्तराखंड ओलिम्पिक एसोसिएशन द्वारा धन्यवाद ज्ञापित किया | इस अवसर पर श्री जे. बेहेरा, निदेशक (वित्त), श्री यू. के. सक्सेना, कार्यपालक निदेशक(टिहरी कॉम्प्लेक्स), श्री एल. पी. जोशी, कार्यपालक निदेशक (पीएसपी) एवं डॉ. ए. एन. त्रिपाठी, अपर महाप्रबंधक (मा. सं एवं प्रशा. & केन्द्रीय संचार) मुख्य तौर पर उपस्थित रहे |
उल्लेखनीय है कि टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड, कयाकिंग एंड कैनोइंग एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड, इंडियन ओलिम्पिक एसोसिएशन, उत्तराखंड ओलिम्पिक एसोसिएशन के सहयोग से और आईटीबीपी के तकनीकी भागीदार के रूप में इस टिहरी वाटर स्पोर्ट्स कप का आयोजन 28 दिसम्बर से 30 दिसम्बर तक कर रहा है |
टीएचडीसीआईएल भारत की अग्रणी विद्युत उत्पादन कंपनियों में से एक है । टिहरी बांध एवं एचपीपी (1000मेगावाट), कोटेश्वर एचईपी(400 मेगावाट), गुजरात के पाटन में 50 मेगावाट एवं द्वारका में 63 मेगावाट की पवन विद्युत परियोजनाओं, उत्तर प्रदेश के झांसी में 24 मेगावाट की ढुकवां लघु जल विद्युत परियोजना एवं कासरगॉड केरल में 50 मेगावाट की सौर परियोजना के साथ टीएचडीसीआईएल की कुल संस्थापित क्षमता 1587 मेगावाट हो गई है ।
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