Wednesday, November 20, 2024
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उत्तराखण्ड राज्य आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण चारधाम यात्रा को लेकर करेगा एक माॅक अभ्यास

देहरादून, उत्तराखण्ड राज्य आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण (यू.एस.डी.एम.ए.), उत्तराखण्ड शासन द्वारा राष्ट्रीय आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण, भारत सरकार के सहयोग से आगामी चारधाम यात्रा 2023 जो 22 अप्रैल से प्रारम्भ हो रही है, के दृष्टिगत् 20 अप्रैल 2023 को एक माॅक अभ्यास का आयोजन किया जा रहा है। इस माॅक अभ्यास के आयोजन का उद्देश्य आगामी चारधाम यात्रा के दौरान कोई भी प्राकृतिक अथवा मानव जनित घटना होने पर जान-माल तथा पर्यटक/तीर्थयात्रियों को किसी प्रकार कोई क्षति न हो साथ ही ऐसी घटना होने पर राज्य एवं जनपद प्रशासन, अन्य रेखीय विभागों तथा सेना, एस०एस०बी०, आई०टी०बी०पी०, सी०आई०एस०एफ०, सी०आर०पी०एफ०, वायुसेना का आपस में समन्वय सुनिश्चित किया जाना है।

इस माॅक अभ्यास के दृष्टिगत् आज 18 अप्रैल 2023 को सचिवालय परिसर में राष्ट्रीय स्तर की संस्थायें जैसे- सेना, एन०डी०आर०एफ०, आई०टी०बी०पी०, एस०एस०बी०, एस०डी०आर०एफ० तथा विभिन्न महत्वपूर्ण विभागों जैसे-मौसम विभाग, स्वास्थ्य विभाग, पुलिस विभाग, दूरसंचार विभाग तथा चारधाम यात्रा आयोजित करने वाले 07 जिलों यथा जनपद चमोली, रूद्रप्रयाग, उत्तरकाशी, देहरादून, हरिद्वार, पौड़ी, टिहरी के उच्च अधिकारियों के साथ यू.एस.डी.एम.ए. एवं राष्ट्रीय आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण (एन.डी.एम.ए.) के पदाधिकारियों के द्वारा एक टेबल टाप अभ्यास का आयोजन किया गया। जिसमें राष्ट्रीय आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण द्वारा विभिन्न घटनाओं की परिस्थितियां (त्वरित बाढ़, अग्नि, सड़क दुर्घटना, स्वास्थ सम्बन्धी आपातकालीन स्थिति, भू-स्खलन आदि) दर्शायी गई तत्पश्चात् सम्बन्धित जनपदों तथा विभिन्न विभागों के उच्च अधिकारियों द्वारा उक्त परिस्थितियों से निपटनें के लिये जनपद तथा विभागीय स्तर पर तैयारियों के बारे में प्रस्तुतिकरण के माध्यम से बतलाया गया। तत्पश्चात् इन तैयारियों को और बेहतर कैसे बनाया जाय इस पर राष्ट्रीय आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण के उच्च अधिकारियों द्वारा सुझाव दिये गये।

इस अवसर पर राष्ट्रीय आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण के माननीय सदस्य लेफ्टिनेन्ट जनरल सयैद अता हसनैन, राजेन्द्र सिंह, कर्नल केपी सिंह, कर्नल नदीम अरशद, मेजर जनरल सुधीर बहल के साथ-साथ सचिव, राज्य आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण, डाॅ० रंजीत कुमार सिन्हा, महानिरीक्षक, एस०डी०आर०एफ०, रिद्धिम अग्रवाल, अपर सचिव, आपदा प्रबन्धन, डाॅ० आनन्द श्रीवास्तव एवं आई.आर.एस. विषेशज्ञ वी.बी. गणनायक सहित अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।

 

मुनस्यारी के दस गांवों में वाईब्रेंट विलेज प्रोग्राम जल्द शुरू करो, पंचायत प्रतिनिधियों ने की सांसद अजय टम्टा से मुलाकात

सीमांत के तीन और गांवों का वाईब्रेंट विलेज प्रोग्राम में चयन करने की उठी मांग, स्वीकृत गांवों में प्रोग्राम शुरु करने पर जोर | Janpaksh Aajkal

पिथौरागढ़, विकास खंड मुनस्यारी के प्रस्तावित दस गांवों में वाईब्रेंट विलेज प्रोग्राम शुरू करने तथा तीन गांवों को चयनित किए जाने की मांग को लेकर पंचायत प्रतिनिधियों ने आज क्षेत्रीय सांसद तथा पूर्व केंद्रीय राज्य मंत्री अजय टम्टा से मुलाकात की। सांसद को ज्ञापन सौंपकर इस मामले में तत्काल प्रभाव से क़दम उठाने के लिए भारत सरकार से बात करने का अनुरोध भी किया।
चीन सीमा क्षेत्र से लगे विकास खंड मुनस्यारी के जिपंस जगत मर्तोलिया ने आज दौरे पर आए क्षेत्रीय सांसद अजय टम्टा से मुलाकात कर उन्हें वाईब्रेंट विलेज प्रोग्राम से संबंधित ज्ञापन सौंपा।
उन्होंने क्षेत्रीय सांसद अजय टम्टा को विकास खंड धारचूला के चीन सीमा पर बसे गुंजी गांव में वाईब्रेंट विलेज प्रोग्राम शुरू करने पर उनका आभार प्रकट किया।
उन्होंने कहा कि भारत सरकार के द्वारा मांगे गए प्रस्ताव के बाद जिला प्रशासन तथा ग्राम्य विकास विभाग पिथौरागढ़ ने विकास खंड मुनस्यारी के चीन सीमा से लगे मिलम, बिल्जू, गनघर , पाछू, रिलकोट, टोला , बुर्फू, मर्तोली, टोला, लास्पा दस गांवों में वाईब्रेंट विलेज प्रोग्राम शुरू करने के लिए प्रस्ताव भेज दिया है।
उन्होंने कहा कि चीन सीमा पर बसे तीन गांव रालम,खिलांच,ल्वां को छोड़ दिया गया है।
उन्होंने क्षेत्रीय सांसद अजय टम्टा से दस गांवों में वाईब्रेंट विलेज प्रोग्राम शीघ्र शुरू करने तथा तीन गांवों को चयनित किए जाने पर भारत सरकार में पैरवी किए जाने की मांग की।
उन्होंने कहा कि बीएडीपी योजना से भी इन गांवों में ना आधारभूत सुविधाएं उपलब्ध कराई गई ना ही स्वरोजगार के अवसर ही पैदा किए गए। उन्होंने आरोप लगाया है तत्कालीन निर्वाचित प्रतिनिधियों तथा नौकरशाही ने बीएडीपी योजना का बंदरबांट तथा अदूरदर्शिता से खर्च कर इस चीन सीमा क्षेत्र की उपेक्षा की।
क्षेत्रीय सांसद अजय टम्टा ने आश्वासन दिया कि वे भारत सरकार में दोनों मांगों की ज़ोरदार पैरवी करेंगे। उन्होंने कहा कि इस सीमा क्षेत्र के लोगों को भी इस योजना का लाभ मिलेगा।

 

 

 

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