(देवेन्द्र चमोली)
रुद्रप्रयाग-जीएसटी सर्वे के खिलाफ ब्यापार सभा के पुतला दहन कार्यक्रम मे ब्यापारी आपस में ही उलझ गये मामले ने उस समय राजनीतिक रंग ले लिया जब कुछ ब्यापारियों ने जीएसटी सर्वे पर राज्य व केन्द्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर दी। अपने राजनीतिक हितों की चिन्ता में कुछ लोग ब्यापार संघ की चिन्ता छोड़ आपस में ही उलझते नजर आये।
दरअसल प्रांतीय ब्यापार संघ के आवाह्न पर जीएसटी सर्वे के खिलाफ रुद्रप्रयाग मुख्य बाजार में ब्यापार संघ रुद्रप्रयाग ने पुतला दहन कार्यक्रम किया। पुतला किसका दहन किया गया यह भी लोगों की समझ नहीं आया कुछ ब्यापारी इसे जीएसटी विभाग का तो कुछ इसे राज्य सरकार व केन्द्र सरकार का बता रहे थे। जैसे ही केन्द्र सरकार व राज्य सरकार के खिलाफ कुछ ब्यापारियों ने नारेबाजी की मामले ने राजनीतिक रंग ले लिया व ब्यापारी ब्यापार संघ की चिन्ता छोड़ अपने राजनीतिक हितों की चिन्ता में आपस में उलझ गये। व्यापारी अपनी अपनी राजनीतिक पार्टियों की पैरवी करते दिखे इस पूरे मामले में व्यापारी बंटे-बंटे नजर आए।
उद्योग व्यापार मंडल के जिलाध्यक्ष अंकुर खन्ना की माने तो व्यापारियों द्वारा जीएसटी सर्वे के खिलाफ पुतला दहन कार्यक्रम किया गया है, उन्होंने कहा कि जीएसटी विभाग की ओर से व्यापारियों का उत्पीड़न किया जा रहा है। जिसके चलते पूरे जिले के व्यापारियों ने जीएसटी के विरोध में पुतला दहन किया। वहीं दूसरी ओर ब्यापारी नरेन्द्र विष्ट , संतोष रावत का कहना है कि केन्द्र व राज्य सरकार के ब्यापारी विरोधी नीति के कारण जीएसटी सर्वे के नाम पर ब्यापारियों को परेशान किया जा रहा है जिसका ब्यापारी पुरजोर विरोध करते है। बहरहाल पुतला दहन कार्यक्रम में जीएसटी जैसे संवेदनशील मुद्दे पर एकजुट होने की वजाय राजनीतिक हितों को लेकर ब्यापारी आपस में उलझते नजर आये।
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