Friday, November 22, 2024
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आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को सेवानिवृत्ति पर मुफ्त इलाज और एक लाख रुपये देने की तैयारी

देहरादून, प्रदेश की 40 हजार आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं के लिए राहत की खबर है। उन्हें मुफ्त इलाज की सुविधा और सेवानिवृत्ति पर एक लाख रुपये देने की तैयारी है। विभाग की ओर से इसका प्रस्ताव तैयार किया जा रहा है। महिला सशक्तीकरण एवं बाल विकास मंत्री रेखा आर्या के मुताबिक, आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को सेवानिवृत्ति पर अभी 30 हजार रुपये दिए जाते हैं, जिसे बढ़ाकर एक लाख रुपये करने पर विचार किया जा रहा है। प्रदेश में 20 आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और इतनी सहायिकाएं हैं, जो पिछले काफी समय से पेंशन और अन्य सुविधाएं देने की मांग कर रही हैं।

विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, विगत दिनों महिला सशक्तीकरण एवं बाल विकास विभाग की बैठक में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को ईएसआई के तहत लाने की संभावनाओं पर विचार करने के निर्देश दिए थे। मुख्यमंत्री की ओर से निर्देश दिए गए कि मुख्य सचिव की अध्यक्षता में बैठक कर संबंधित विभाग बाल विकास एवं महिला कल्याण से संबंधित योजनाओं की रूपरेखा तैयार करें।
सचिव नियोजन आर मीनाक्षी सुंदरम के मुताबिक, इन्हें ईएसआई के तहत लाने के लिए आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को कुछ अंशदान देना होगा। वहीं, संबंधित विभाग की ओर से भी इसके लिए बजट की व्यवस्था करनी होगी। उनके श्रम सचिव रहते इस मसले पर एक बैठक हो चुकी है। ईएसआई के अंतर्गत आने से इन्हें ईएसआई के अस्पतालों, उससे संबद्ध या अन्य अस्पतालों में मुफ्त इलाज की सुविधा मिल सकेगी। हालांकि, विभाग का यह भी कहना है कि सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को अटल आयुष्मान योजना का भी लाभ दिया जा रहा है।

“प्रदेश में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं से कई काम लिए जाते हैं। इन दिनों उन्हें मतदाता सूची के सत्यापन के काम में लगाया गया है। यदि उनके न्यूनतम अंशदान से उन्हें सुविधाएं दी जाती हैं, तो इसके लिए आंगनबाड़ी कार्यकर्ता तैयार हैं।
-सुशीला खत्री, प्रांतीय अध्यक्ष, उत्तराखंड राज्य आंगनबाड़ी कर्मचारी संघ”

 

“आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को मुफ्त इलाज की सुविधा के लिए कुछ प्रीमियम सरकार देगी और न्यूनतम प्रीमियम उनसे लिया जाएगा। इसके लिए बैठक कर पहले उनकी सहमति ली जाएगी।
-रेखा आर्या, मंत्री महिला सशक्तीकरण एवं बाल विकास विभाग”

 

भिक्षावृति मुक्त दून को लेकर बैठक : शहर में कोई बच्चा भिक्षावृति करता न दिखे : जिलाधिकारी

बाल मजदूरी और भिक्षावृत्ति जैसी कुचक्र में फंसे बच्चों का खेवनहार बनेगा दून  प्रशासन | Udaipur Kiran
देहरादून, जिलाधिकारी सविन बंसल की अध्यक्षता में ऋषिपर्णा सभागार में देर सांय भिक्षावृति मुक्त देहरादून के संबंध में बैठक आयोजित की गई।
जिलाधिकारी ने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए कि देहरादून शहर में कोई बच्चा भिक्षावृति करता न दिखे इस दिशा में प्रभावी कदम उठाए जाएं। भिक्षावृति एवं बाल मजदूरी करते बच्चों को रेस्क्‍्यू कर मुख्य धारा, शिक्षा के सार्वागीण विकास से जोड़े। वाहन के माध्यम से निरंतर पेट्रोलिंग करते हुए भिक्षावृति करते बच्चों को रेस्कयू करें।
जिलाधिकारी ने भिक्षावृत्ति पर रोक लगाने हेतु प्रतिदिन अभियान चलाने के निर्देश दिए। उन्होंने जिला प्रोबेशन अधिकारी को निर्देशित कि भिक्षावृति करते तथा सड़क पर घुमतु बच्चों को रेस्क्यू करने हेतु वाहन का प्रस्ताव प्रस्तुत करेंगे। यह वाहन शहर में घूमकर बच्चों को रेस्क्‍्यू कर सीडब्ल्यूसी में लाएंगे। जल्द ही जनपद में दो पैट्रोलिंग वाहन का शुभारंभा किया जाएगा।जिलाधिकारी ने भिक्षावृति पर रोक हेतु मोबाइल यूनिट बढ़ाने के निर्देश जिला प्रोबेशन अधिकारी को दिए।
मुख्य शिक्षा अधिकारी को निर्देश दिए कि इन्टेंशिप केयर सेंटर का प्रस्ताव बनाए, उक्त सेंटर में बच्चों के लिए इस प्रकार से शैक्षिण वातावरण तैयार करेंगे जिससे बच्चे उक्त परिवेश के प्रति आकर्षित हो सकें जिससे बच्चों का खिचाव स्कूल एवं अन्य क्रियाक्लाप के प्रति हो। इस दिशा में प्रभावी कार्य करने हेतु उपस्थित सीडब्लूसी के पदाधिकारी, आसरा ट्रस्ट, सपर्मण सोसायटी, सहित अन्य संगठन के पदाधिकारी एवं मुख्य शिक्षा अधिकारी, जिला प्रोबेशन अधिकारी, श्रम विभाग, बाल विकास विभाग, समाज कल्याण, पुलिस आदि सम्बन्धित विभाग द्वारा सहमति जाहिर करते हुए सराहनीय पहल बताया गया।
बैठक में अपर जिलाधिकारी प्रशासन जय भारत सिंह, अपर मुख्य नगर आयुक्त नगर निगम बीर सिंह बुदियाल, डा राजीव दीक्षित, मुख्य शिक्षा अधिकारी प्रदीप रावत, जिला प्रोबेशन अधिकारी मीना बिष्ट, पुलिस क्षेत्राधिकारी अनिल जोशी, जिला कार्यक्रम अधिकारी बाल विकास जितेन्द्र कुमार, रश्मि कुलश्रेष्ठ अध्यक्ष बाल कल्याण समिति, आसरा से अमित बलोदी, समर्पण सोसायटी से मानसी मिश्रा, समाज सेवी किशोर,कविता पांडे, वीईसीडी माया नेगी सीडब्ल्यूसी से पूजा शर्मा सहित सम्बंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।

 

हिमालय के हालात यदि खराब हुये तो इसके सबसे अधिक दुष्परिणाम मानव को भुगतने पड़ेंगे : डा. अनिल जोशी

पर्यावरणविद् डॉ. अनिल प्रकाश जोशी बोले भारतीय संस्कृति पृथ्वी संरक्षण का  मूल आधार - Environmentalist Dr Anil Prakash Joshi said that Indian culture  is the basic foundation of earth ...

 

 

देहरादून, रविवार को सीएमआई अस्पताल सभागार में हिमालय एवं स्वास्थ्य पर एक महत्वपूर्ण गोष्ठी का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि पदमभूषण डा. अनिल प्रकाश जोशी ने शिरकत की । इस मौके पर पदमभूषण डा० अनिल प्रकाश जोशी ने कहा कि हिमालय के हालात यदि खराब हुये तो इसके सबसे अधिक दुष्परिणाम मानव को भुगतने पड़ेंगे।
उन्होंने कहा कि इससे बेहतर यह होगा कि प्रत्येक व्यक्ति को समय रहते हुये हिमालय के प्रति गंभीरता दिखाकर इसके संरक्षण एवं सवर्धन की दिशा में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभानी होगी।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुये पदमभूषण डा. अनिल प्रकाश जोशी ने कहा कि मानव जीवन प्रकृति से जुड़ा हुआ है। उन्होंने कहा कि समय-समय घटित होने वाली प्राकृतिक आपदाओं से हमें सीख लेनी चाहिये। डा. जोशी ने कहा कि प्रबंधन का अभाव होने के चलते हमें प्राकृतिक आपदाओं के दुष्परिणामों का सामना करना पड़ता है। कहा कि यदि समय रहते हुये मानव प्रकृति के प्रति गंभीर न हुआ तो हर वर्ष नई आपदाओं का सामना करना पड़ सकता है। कार्यक्रम में उत्तराखंड अल्पसंख्यक आयोग के पूर्व अध्यक्ष एवं सीएमआई अस्पताल के निदेशक पदमश्री डा. आर के जैन ने कहा कि हिमालय नदियों का स्त्रोत है। कहा कि हिमालय के संरक्षण एवं संवर्द्वन की दिशा में प्रत्येक व्यक्ति को अपनी भागीदारी सुनिश्चित करनी होगी। सीएमआई अस्पताल के प्रबंध निदेशक वरिष्ठ न्यूरो सर्जन डा. महेश कुड़ियाल ने कहा कि हिमालय भारत की सबसे महत्वपूर्ण भौगोलिक संरचना है। कहा कि देश के प्रत्येक नागरिक का कर्तव्य है कि वह प्रकृति के संरक्षण की दिशा में निस्वार्थ भाव से कार्य करें। गोष्ठी के दौरान पदमभूषण डा. अनिल प्रकाश जोशी ने अस्पताल के स्टाफ को हिमालय प्रतिज्ञा भी दिलाई। इस अवसर पर डा. संजय प्रकाश सक्सेना, डा. प्रवीण जिंदल, डा. सुमिता प्रभाकर, डा. अंशिका जैन, डा. रोहित अरोड़ा, डा. अपूर्व जैन, डॉ. संजीव कुमार, पीआरओ नवीन परमार मौजूद रहे। गोष्ठी का संचालन अस्पताल के प्रबंधक बीसी डिमरी ने किया।

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