Wednesday, June 25, 2025
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सीएम धामी ने परमार्थ निकेतन में गंगा आरती कर पूजा अर्चना की

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ऋषिकेश(आरएनएस|)।  मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने रविवार को ऋषिकेश स्थित परमार्थ निकेतन में गंगा आरती कर पूजा अर्चना की। उन्होंने मां गंगा से प्रदेश में सुख, शांति और समृद्धि की कामना की। मुख्यमंत्री ने इस दौरान परमार्थ निकेतन द्वारा आयोजित अंतर्राष्ट्रीय योग महोत्सव 2025 का शुभारंभ भी किया। उन्होंने 50 से अधिक देशों व भारत के अनेकों राज्यों से आए योग प्रेमियों का स्वागत किया।
मुख्यमंत्री ने देश-विदेश से आये योगी प्रेमियों को संबोधित करते हुए कहा कि किसी भी कार्यारम्भ के लिए देवभूमि से बढ़कर पवित्र कोई स्थान नही हो सकता। उन्होंने नरेंद्र नगर में आयोजित जी-20 समिट का जिक्र करते हुए कहा कि उस दौरान दुनिया के विभिन्न देशों से आए मेहमान देवभूमि के अध्यात्म और योग का अनुभव साथ लेकर गए हैं। योग नगरी ऋषिकेश ने भारत ही नहीं अपितु दुनियाभर में अपनी पहचान बनाई है, यही कारण है कि ऋषिकेश दुनियाभर के योग और शांति प्रेमी लोगो की पहली पसंदीदा जगह बन गया है।
मुख्यमंत्री ने हर्षिल में प्रधानमंत्री जी के भ्रमण के जिक्र करते हुए कहा कि अब उत्तराखंड राज्य में शीत काल में भी पर्यटक आएंगे। प्रधानमंत्री जी ने पूरे देश के लोगों से शीतकाल के समय में उत्तराखंड आने का आग्रह किया है। उन्होंने कहा प्रधानमंत्री जी ने उत्तराखंड में घाम तापो पर्यटन को भी बढ़ावा देने की बात है। मुख्यमंत्री ने देश-विदेश के पर्यटकों को आगामी कुंभ व नंदा राजजात यात्रा के लिए भी आमंत्रित किया।
इस अवसर पर परमार्थ के स्वामी चिदानंद मुनि  महाराज, जिलाधिकारी आशीष चौहान, अपर जिलाधिकारी अनिल गर्ब्याल, साध्वी भगवती सरस्वती सही देश-विदेश से आए पर्यटक उपस्थित थे।

गढ़वाली फीचर फिल्म “द्वी होला जब साथ” का ट्रेलर और पोस्टर हुआ जारी

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देहरादून, दून लाइब्रेरी एंड रिसर्च सेंटर के प्रेक्षागृह में रविवार को गढ़वाली फीचर फिल्म “द्वी होला जब साथ” (दोनों होंगे जब साथ) का ट्रेलर और पोस्टर जारी किया गया। एक सादे समारोह में फ़िल्म के कलाकारों और टीम के अन्य सदस्यों के अलावा उत्तराखंडी सिनेमा के कई दिग्गज इस मौके पर शामिल हुए। ट्रेलर में दिखाई गई फिल्म की झलक से ऐसा लग रहा है कि फिल्म प्रेमी जल्द ही देशी भाषा में एक और सराहनीय रचना सिल्वर स्क्रीन पर देख सकेंगे। देवभूमि उत्तराखंड़ अपने वीर जवानों के लिए जाना जाता है जो दुश्मनों से देश की रक्षा करते हैं। यहां ऐसे अनगिनत परिवार हैं, जिनके सदस्यों ने पीढ़ियों से अपना जीवन बलिदान किया है। “द्वी होला जब साथ” की कहानी इसी पृष्ठभूमि पर लिखी गई है।
गढ़वाली फिल्म हालाँकि, टेलीविजन के दिग्गज रवि दीप द्वारा लिखित, निर्देशित और निर्मित यह फिल्म एक ऐसी कहानी बताती है जो बहादुरी और देशभक्ति तक सीमित नहीं है। नाटक, रोमांस, सूक्ष्म हास्य और तीव्र भावनाओं के तत्वों का उपयोग करते हुए, यह कथानक अपने मुख्य पात्रों के आंतरिक संघर्ष को दर्शाता है। एक लंबी की तैयारी और निर्माण प्रक्रिया के बाद यह फिल्म रिलीज़ के लिए तैयार है। शूटिंग की अनुमति की आसान प्रक्रिया और राज्य सरकार द्वारा कार्यान्वित की जा रही सहायक फिल्म नीति निर्माता और उनके सहयोगियों जैसे क्रिएटिव डायरेक्टर अमित दीक्षित और क्रिएटिव प्रोड्यूसर राजेश भाटिया को उत्तराखंड ले आई। उन्हें लगा कि इस कहानी को मूल भाषा में सबसे अच्छी तरह से बताया जा सकता है, इसलिए क्षेत्र की उनकी पहली सहयोगी शोभना रावत स्वामी ने स्क्रिप्ट को गढ़वाली में रूपांतरित किया। निर्माताओं द्वारा क्षेत्र के अधिकतम कलाकारों और तकनीशियनों को शामिल करने का प्रयास किया गया है। कलाकारों में मनीष डिमरी, कल्याणी गंगोला, अंकिता परिहार, अमित भट्ट, रमेश रावत, विमल उनियाल, सुषमा व्यास, रिया शर्मा, रोशन उपाध्याय और बाल कलाकार आरव बिजल्वाण शामिल हैं। संगीत अमित वी कपूर और वी कैश ने तैयार किया है। नीलेश बाबू फोटोग्राफी के निदेशक हैं जबकि दिव्य दीप महाजन ने फिल्म का संपादन किया है। फिल्म की पूरी शूटिंग उत्तराखंड में की गई है। व्यापक दर्शक संख्या सुनिश्चित करने के लिए, ‘द्वी होला जब साथ’ को हिंदी और कुछ अन्य क्षेत्रीय भाषाओं में डब किया जाएगा। अंतरराष्ट्रीय दर्शकों तक पहुंचने की दृष्टि से अंग्रेजी, जर्मन, पोलिश और जापानी भाषाओं में उप शीर्षक दिए जाएंगे। इस मौके पर बड़ी रंगमंच, सामाजिक संगठनों और गढ़वाली साहित्य से जुड़े लोग मौजूद रहे l

 

अपने जीवन को आनंद से भरे : प्रेम रावत

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(एल मोहन लखेड़ा)

देहरादून, अंतर्राष्ट्रीय वक्ता, लेखक एवं शांति दूत प्रेम रावत ने आज देहरादून के परेड ग्राउंड में हज़ारों श्रोताओं को सम्बोधित किया। प्रेम रावत ने देहरादून में पिछले कुछ वर्षों में आये बदलावों का उदाहरण देते हुए स्पष्ट किया कि “इस संसार में सब कुछ बदल जाता है परन्तु जब तक तुम जीवित हो, तब तक स्वांसों का आना-जाना कभी नहीं बदलेगा। स्वांस का आना जाना ही बनाने वाले की कृपा है। इसलिए तुम इस स्वांस के साथ जुड़ना सीखो, तब तुम्हारी ज़िंदगी बदल जाएगी, अच्छी हो जाएगी।”
उन्होंने एक कहानी के माध्यम से समझाया कि “स्वर्ग और नरक यहीं हैं। जब तुम क्रोध और अहंकार में होते हो, तब तुम नरक में होते हो। जब तुम्हारा हृदय आभार और प्रेम से भरा होता है, तब तुम स्वर्ग में होते हो। अपने जीवन में स्वर्ग का अनुभव करो।”
उन्होंने आगे कहा “एक होता है बाहर की आँखें खोलना और एक होता है अंदर की आँखें खोलना, जब अंदर की आँखें खोलोगे, तो वह दिखाई देगा जो अंदर है और हृदय आनंद से भर जाएगा। जो अविनाशी तुम्हारे अंदर है उसको समझो, उसको जानो और अपनी ज़िंदगी को सफल करो। यह है हमारा संदेश, ये सिर्फ शब्द ही नहीं हैं। उसका अनुभव करने की विधि भी हमारे पास है। उसे हम ज्ञान कहते हैं।”
प्रेम रावत जी ने यह भी बताया कि उनके सन्देश पर आधारित “पीस एजुकेशन प्रोग्राम” पूरी दुनिया में पाँच लाख से अधिक लोगों के जीवन में एक सुन्दर परिवर्तन लेकर आया है और कहा “आज वही संदेश हम तुम्हारे लिए लाए हैं ताकि तुम्हारे जीवन में भी वह बदलाव आए और तुम अपने जीवन का आनंद ले सको ।”

प्रेम रावत : एक अंतरराष्ट्रीय वक्ता, न्यूयॉर्क टाइम्स के बेस्टसेलिंग लेखक, एजुकेटर और ग्लोबल पीस एंबेसडर

1970 के दशक में एक बाल प्रतिभा और युवा आइकन के रूप में शुरुआत करने वाले प्रेम रावत ने लोगों को स्पष्टता, प्रेरणा और जीवन के प्रति गहरी समझ दी है।
एक विश्व शांतिदूत की भूमिका के रूप में उन्होंने करोड़ों लोगों को प्रभावित किया है। आज उनका संदेश 110 से अधिक देशों में सुना जाता है, जहाँ वे हर व्यक्ति को आशा और शांति का संदेश देकर आंतरिक सुख और शांति का व्यावहारिक मार्ग दिखा रहे हैं।
उनके कार्यों को दुनिया भर में सराहना मिली है, जिसमें (1) एक लेखक द्वारा अपनी पुस्तक (“स्वयं की आवाज”) पढ़ने में सबसे अधिक उपस्थिति (114,704 लोग) के लिए, (2) एक सम्बोधन में सबसे अधिक दर्शको की संख्या (375,603 लोग) के लिए और (3) ‘एक से अधिक लेखक पुस्तक वाचन’ में सर्वाधिक दर्शको की संख्या (1,33,234 लोग) के लिए, तीन गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड शामिल हैं। ये तीनों रिकॉर्ड 2023-24 में स्थापित किए गए। उन्हें 20 से अधिक प्रमुख शहरों की सम्मान चाबियां और कई पुरस्कार मिले हैं, जिनमें 2012 का प्रतिष्ठित ‘एशिया पैसिफिक ब्रांड लॉरिएट लाइफटाइम अचीवमेंट अवॉर्ड’ शामिल है। इससे पहले यह अवॉर्ड नोबेल पीस प्राइज विजेता नेल्सन मंडेला और स्टीव जॉब्स को प्रदान किया गया है।
एक लेखक होने के अलावा, प्रेम रावत “द प्रेम रावत फाउंडेशन” (TPRF) के संस्थापक भी हैं। यह संस्था भोजन, पानी और शांति जैसी बुनियादी मानवीय आवश्यकताओं को पूरा करने का कार्य करती है। इसकी “जन भोजन” पहल भारत, नेपाल, घाना और दक्षिण अफ्रीका में प्रतिदिन जरूरतमंद बच्चों और बीमार वयस्कों को पौष्टिक भोजन प्रदान करती है। उनके व्याख्यानों पर आधारित “पीस एजुकेशन प्रोग्राम” 1,400 से अधिक शैक्षिक एवं अन्य संस्थानों में दिखाया जाता है, जिससे 5 लाख से अधिक लोगों को प्रभावित किया है। यह कार्यक्रम 1,000 से अधिक जेलों में भी चल रहा है, जिसके प्रभाव से कैदियों में दोबारा अपराध करने की संभावना कम पायी गई है।
वर्ष 2023 में प्रेम रावत ने टीवी, प्रिंट और रेडियो सहित विभिन्न मीडिया माध्यमों से 91.6 करोड़ लोगों तक अपना संदेश पहुँचाया। उनका पॉडकास्ट चैनल ” लाइफ एसेंशियल्स ( Life’s Essentials)” 110 से अधिक देशों में सुना जाता है। उनकी किताबें “स्वयं की आवाज़” और ” शांति संभव है (Peace is Possible)” दुनिया भर में सराही गई हैं। प्रेम रावत केवल एक वक्ता या लेखक ही नहीं, बल्कि एक आविष्कारक, संगीतकार, कलाकार, फोटोग्राफर और कुशल जेट व हेलीकॉप्टर पायलट भी हैं, जिनके पास 15,000 घंटे के उड़ान समय का अनुभव है। वे विवाहित हैं और उनके चार बच्चे और चार पोते-पोतियाँ हैं।
प्रेम रावत के कार्यों को सरकारों, गैर-लाभकारी संगठनों, व्यापारिक संस्थानों और दुनिया भर के नागरिक संगठनों द्वारा स्वीकार किया गया है। उन्होंने ब्रिटेन से लेकर न्यूजीलैंड तक की संसदों में और हार्वर्ड व ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालयों जैसे प्रतिष्ठित संस्थानों में व्याख्यान दिए हैं। 2011 में, प्रेम रावत यूरोपीय संघ (EU) के एक विशेष कार्यक्रम के मुख्य वक्ता थे, जहाँ उन्होंने “शांति की प्रतिज्ञा (Pledge to Peace )“ पर हस्ताक्षर किये और उन्हें इसका एंबेसडर घोषित किया गया ।

सड़क संसद ने किया वरिष्ठ साहित्यकार एवं दलित उपन्यासकार नवेन्दु महर्षि का सम्मान

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देहरादून, स्थानीय दीनदयाल पार्क के समीप सड़क संसद के द्वारा वरिष्ठ अधिवक्ता एवं ट्रेड यूनियन नेता डी. एन. कोठरी की अध्यक्षता में आयोजित सभा में हिंदी दलित साहित्य के प्रतिष्ठित, ख्याति प्राप्त कवि, साहित्यकार एवं दलित उपन्यासकार जय प्रकाश नवेन्दु यथा महर्षि जे.पी. नवेन्दु को शॉल पहना कर एवं उपस्थित गणमान्य व्यक्तियों द्वारा माला पहना कर सम्मानित किया गया। नवेन्दु द्वारा कुल 113 कृतियों की रचना कर दलित साहित्य में बहुत बड़ी उपलब्धि प्राप्त की है। उत्तराखण्ड शासन के पूर्व कैबिनेट मंत्री दिनेश अग्रवाल ने कहा कि ये अत्यंत हर्ष एवं गर्व की बात है कि हमारे बीच के एक शिक्षक साहित्यकार द्वारा दलित समाज में घटित घटनाओं एवं संघर्षों का उल्लेख करते हुए इतनी बड़ी मात्रा में पुस्तकों की रचना की है। यह एक ऐतिहासिक एवं गौरवमयी उपलब्धि है। नवेन्दु को सम्मानित करते हुए सुरेंद्र कुमार आर्य ने कहा कि उनकी कविता, कहानियाँ, उपन्यास एक अलग अध्याय को आयाम देती हैं। एक ऐसा विचार जो कि यथार्थ पूर्ण, तर्कपूर्ण एवं जन संघर्ष की व्यापकता का अहसास करता है। कामरेड जगदीश कुकरेती ने नवेन्दु महर्षि द्वारा रचित दलित साहित्य में उल्लिखित तथ्यों का ऐतिहासिक एवं सामाजिक सरोकार से परिपूर्ण बताते हुए कहा कि यह आगामी संघर्षों में देश की मेहनतकश अवाम के लिए कारगर हथियार साबित होगा। राजेंद्र प्रसाद गुप्ता ने उनकी रचनाओं को यथार्थवादी एवं प्रेरणादायक बताया। रंगकर्मी सतीश धौलाखण्डी द्वारा एक जनगीत एवं विक्रम पुण्डीर ने उनकी कविता का काव्य पाठ किया।
सड़क संसद को वरिष्ठ साहित्यकार गोविंदराम नौटियाल, शंकर सागर, हरजिंदर सिंह, राकेश पंत, हरिसिंह निषेद, वीरेंदर त्यागी, डॉ. जितेन्द्र भारती, जयकृत कंडवाल, राजेंद्र इष्टवाल, अशोक अकेला, विनोद खंडूरी, युगपाल सिंह असवाल, चंद्र प्रकाश थापा, ए. के. कटारिया, राजेश रावत, वी. के. डोभाल आदि ने सम्बोधित किया।
अपने सम्बोधन में नवेन्दु महर्षि ने सभी का आभार व्यक्त करते हुए अपनी कविताओं का पाठ किया तथा उन्होंने कहा कि उन्होंने बड़ी विकट परिस्थितयों में संघर्ष कर इस आयाम को प्राप्त किया है। मेरी कोशिश होगी कि आधुनिक तकनीक के माध्यम से दलित विमर्श को गति प्रदान की जाएगी।
उनके द्वारा रचित दलित साहित्य के ऊपर मगध विश्वविद्यालय, बिहार एवं भीमराव अम्बेडकर विश्वविद्यालय, दिल्ली में कई छात्रों द्वारा पीएचडी की गई है तथा उनकी कृतियों को विश्वविद्यालय के पाठ्यक्रम में सम्मिलित किया गया है। सभा में बड़ी संख्या में आप राहगीरों द्वारा भागीदारी की गई। सभा का संचालन कामरेड हरिओम पाली (इप्टा) द्वारा किया गया।

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महर्षि नवेन्दु एक परिचय :

जन्म स्थान – 8 सितम्बर सन् 1955 ग्राम बाकर नंगला, जनपद बिजनौर (उ. प्र.)
शैक्षिक विवरण : प्राइमरी- गाँव की पाठशाला से, आठवीं पास के गाँव शादीपुर से, दसवीं बारहवीं- बहन की ससुराल में रहते हुए हिन्दू इण्टर कालेज नगीना से सन् 1972-74 में बी.ए. शुगरमिल कालोनी में चाचा के पास रहते हुए वर्धमान डिग्री कालेज बिजनौर से सन् 1976 में बी.एड. डी.ए.वी. डिग्री कालेज देहरादून से सन् 1977-78 में एम.ए. (हिन्दी)- डी.ए.वी. डिग्री कालेज देहरादून से सन् 1979-80 में पीएच.डी. अज्ञेय और जैनेन्द्र जैन के कथा साहित्य का मनोवैज्ञानिक तुलनात्मक अध्ययन विषय पर सन् 1985 में गढ़वाल विश्वविद्यालय में गवाप्रसाद शुक्ल के निर्देशन में नामांकन हुआ लेकिन अंतरिम गाइड ऊषा माथुर से जाति पर हुए मनमुटाव के चलते सन् 1987 में पीएच.डी. अधूरी छोड़ दी।
सम्प्रति- 8 जुलाई सन् 1980 को गाँधी इण्टर कालेज देहरादून में सी.टी. ग्रेड में अध्यापक नियुक्त हुए, वहीं से सन् 2016 में उप-प्रधानाचार्य के पद से सेवामुक्त हुए। प्रधानाचार्य पद सृजन कार्य में बाधा के डर से स्वयं छोड़ा। अब तक सौ से अधिक पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं। दून में निवास और सृजन कार्य अभी भी जारी है।

माया देवी यूनिवर्सिटी ने मनाया ‘पिंक संडे ऑन बाईसाइकिल’

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देहरादून। अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के उपलक्ष्य में माया देवी यूनिवर्सिटी की ओर से रविवार को ‘ पिंक संडे ऑन बाईसाइकिल’ रैली का आयोजन किया गया। इस मौके पर पांच लकी ड्रा भी निकाले गए। जिसमें महिलाओं को फिटनेस सम्बन्धी सामग्री दी गई।
माया देवी यूनिवर्सिटी की ओर से रविवार को आयोजित इस साइकिल रैली की शुरुआत बतौर मुख्य अतिथि मेयर सौरभ थपलियाल और विशिष्ट अतिथि राज्य स्तरीय महिला उद्यमिता परिषद की उपाध्यक्ष विनोद उनियाल ने हरी झंडी दिखाकर की। रेसकोर्स स्थित सिद्धार्थ अपार्टमेंट के पास से सुबह 7 बजे निकली रैली में महिलाएं, लड़किया सभी ने पिंक टी शर्ट पहनी हुई थी। सभी का मनोबल बढाने के लिए साइकिलिस्ट रूपा सोनी, गजेंद्र रमोला और देवी प्रसाद जुयाल भी साथ मे थे। इस रैली में करीब सौ से अधिक महिलाओं ने हिस्सा लिया। रैली रेसकोर्स से धर्मपुर चौक होते हुए सर्वे चौक से वापस रेसकोर्स पहुंच कर समाप्त हुई। समापन अवसर पर मेयर ने कहा कि स्वस्थ रहने के लिए इस तरह की गतिविधियां बेहद जरूरी है। विशिष्ट अतिथि ने कहा कि महिलाओं को स्वस्थ रखने का ये संदेश बेहद अच्छा है। यूनिवर्सिटी की वाईस प्रेसिडेंट डॉ. तृप्ति जुयाल सेमवाल ने बताया कि अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस को ‘एम्पावर हर इनसाइड एंड आउट’ विषय के साथ मनाया गया। जिसके चलते पूरे सप्ताह यूनिवर्सिटी में एक्टिविटी कराई गई। जिसमें पहले दिन योगा, दूसरे दिन डाइट एन्ड न्युट्रिशन पर लेक्चर, तीसरे दिन बैडमिंटन, चौथे दिन साइंस और टेक्नोलॉजी में भारतीय महिलाओं की भूमिका, पांचवे दिन मेन्टल हेल्थ और हाईजीन विषय पर जानकारी, छठे दिन इंडोर एक्टिविटी कराई गई। इन एक्टिविटी के अंतिम यानी कि सातवे दिन साईकिल रैली से इसका समापन किया गया। यूनिवर्सिटी के वाईस चान्सलर आशीष सेमवाल ने कहा कि फाइट ओबेसिटी, अनलेस हेल्थ विषय पर फोकस कर महिलाओं को इस रैली से जोड़ा गया। ताकि हर कोई अपने स्वास्थ्य को प्राथमिकता दे। रैली में यूनिवर्सिटी के प्रेसिडेंट मनोहर लाल जुयाल, माया देवी एजुकेशन फाउंडेशन की चेयरमैन प्रभा जुयाल ने बेटियों को शिक्षा से जोड़े जाने पर जोर दिया, ताकि आगे चलकर किसी भी घर की एक मजबूत नींव रखी जा सके।इस मौके पर डॉ सीता जुयाल, गौरव जुयाल, सौरभ जुयाल, अम्बिका जुयाल आदि ने विशेष सहयोग किया।

भारत को विकसित राष्ट्र बनाने में महिलाओं की भूमिका होगी निर्णायक: प्रो बत्रा।

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हरिद्वार(कुलभूषण)  एस एम जे एन पी जी कॉलेज हरिद्वार में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर आंतरिक गुणवत्ता आश्वासन प्रकोष्ठ एवं महिला प्रकोष्ठ द्वारा नारी सशक्तिकरण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर कॉलेज की समस्त छात्राओं व शिक्षिकाओं को अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कॉलेज के प्राचार्य प्रो सुनील कुमार बत्रा ने कहा कि शास्त्रों में महिलाओं को पूजनीय माना गया हैं। यत्र नार्यस्तु पूज्यन्ते, रमंते तत्र देवता। अर्थात जहां नारी की पूजा होती है वहां देवता निवास करते हैं। प्रो बत्रा ने कहा कि बदलते समय के साथ नारी ने शिक्षा की मुख्य धारा से जुड़कर स्वयं को सशक्त बनाकर प्रत्येक क्षेत्र में बदलाव किया हैं। प्रो बत्रा ने कहा कि आज सामाजिक, राजनीतिक, शैक्षिक तथा प्रत्येक क्षेत्र में महिलाओं द्वारा कीर्तिमान स्थापित किया जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि आने वाला युग महिलाओं का होगा तथा प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के विकसित भारत के संकल्प को साकार करने में महिलाओं की निर्णायक भूमिका होगी। इस अवसर पर आंतरिक गुणवत्ता आश्वासन प्रकोष्ठ के समन्वयक डॉ संजय कुमार महेश्वरी ने कहा कि ‘अगर तुम करते हो नारी का सम्मान तो खुद पर करो हक से अभिमान’ । डॉ माहेश्वरी ने कहा कि महिला समाज को सभ्य बनाने से लेकर देश के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। आज महिला ने स्वयं को प्रत्येक क्षेत्र में साबित किया है और आज का दिन महिलाओं का दिन हैं। इस अवसर पर महाविद्यालय की महिला प्रकोष्ठ की अध्यक्षा डॉ नलिनी जैन ने कहा की नारी हमारे समाज की जननी है, जिसके बिना समाज का कोई अस्तित्व नहीं है। उन्होंने कहा कि किसी भी समाज की उन्नति उस समाज की महिलाओं की उन्नति से मापी जाती हैं। इस अवसर पर रसायन विज्ञान विभाग की प्राध्यापिका डॉ पुनीता शर्मा ने महिलाओं पर आधारित गीत गाकर सबको मंत्र मुक्त कर दिया। कार्यक्रम का सफल संचालन यादवेंद्र सिंह ने किया। इस अवसर पर प्रो विनय थपलियाल, डॉ शिवकुमार चौहान, वैभव बत्रा, दिव्यांश शर्मा, डॉ पूर्णिमा सुंदरियाल, डॉ मोना शर्मा, रुचिता सक्सेना, डॉ लता शर्मा, श्रीमती रिंकल गोयल आदि उपस्थित रहे।

भारतीय जनता पार्टी महिला मोर्चा द्वारा अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर राज्य एवं देश की समस्त महिलाओं को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं दी

हरिद्वार(कुलभूषण) भारतीय जनता पार्टी महिला मोर्चा की जिला महामंत्री श्रीमती प्रीति गुप्ता ने आज अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर राज्य एवं देश की समस्त महिलाओं को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं दी।

इस अवसर पर प्रीति गुप्ता ने कहा कि आज महिलाएं हर क्षेत्र में सफलता हासिल कर रही हैं- चाहे वह शिक्षा हो, विज्ञान हो, राजनीति हो या फिर खेल। उन्होंने कहा कि देश के यशस्वी एवं लोकप्रिय प्रधानमंत्री आदरणीय श्री नरेंद्र भाई मोदी जी ने महिलाओं को हमेशा आगे बढ़ने का काम किया चाहे संगठन स्तर पर हो सरकार स्तर पर हो महिलाओं को आगे कर उनको नेतृत्व करने का अवसर दिया गया है। जैसा की हाल ही में दिल्ली राज्य में सरकार का नेतृत्व एक यशस्वी महिला के हाथ में सोपा गया और उत्तराखंड राज्य के निकाय चुनाव में कमान महिलाओं के हाथों में सौंप कर उन्हें सफल बनाया।

उन्होंने कहा कि आज महिला दिवस पर, हम सभी को संकल्प लेना चाहिए कि हम महिलाओं का सम्मान करेंगे, उनके अधिकारों की रक्षा करेंगे। महिला सशक्तिकरण का मतलब महिला की सक्ति से होता है! आज के समय में हर देश यही चाहता है की उसके देश की महिला खुद अपनी रक्षा कर सके! आज हम सब जानते है ती हमारे समाज की महिलाये किसी भी पुरुष से कम नहीं है! आज की महिलाये वह सब काम कर रही है जो पुरुष करते है! अगर बात शिक्षा की करे तो हमारे भारत में हर एक exam और comptition में महिलाये ही top करती है!

उन्होंने कहा कि भारत देश में नारी का महत्त्व प्राचीन काल से है! प्राचीन काल में हमारे समाज में नारी का बहुत महत्व था! लेकिन आज भी बहुत से ऐसे लोग है जो नारी को एक बोझ समझते है! अगर हम नारी को एक बोझ ना समझते तो हमारे समाज की नारियां ऐसा ऐसा काम कर सकती है! जिसकी हम कल्पना नहीं कर सकते है! हमारे समाज में महिला सशक्तिकरण के लिए सबसे पहले लोगो की सोच को बदलना होगा! और लोगो को ये बताता होगा की आज की नारिया कोण कोण से काम कर रही है!
नारी है शक्ति, नारी है ज्योति,
नारी बिना ये दुनिया है खोती।
ममता की मूरत, प्रेम की गंगा,
हर दुख-दर्द में बनती है संगा।

‘यत्र नार्यस्तु पूज्यन्ते रमन्ते तत्र देवताः’

यानी जहां पर नारी का सम्मान होता है, वहां देवताओं का वास होता है। यह स्पष्ट करता है कि बहुत लंबे समय से नारी के महत्व को रेखांकित किया जाता रहा है।

लोक अदालत में मोटर दुर्घटना क्लेम, सिविल और पारिवारिक मामलों का हुआ निस्तारण

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देहरादून, राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली के निर्देशानुसार जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, देहरादून के तत्वावधान में 8 मार्च को प्रातः जिला मुख्यालय, बाह्य न्यायालय ऋषिकेश, विकासनगर एवं डोईवाला जनपद देहरादून के न्यायालयों में राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया। इस लोक अदालत में मोटर दुर्घटना क्लेम, सिविल मामले, पारिवारिक मामले, बैंक बाउन्स से सम्बंधित मामलें व अन्य शमनीय प्रकृति के आपराधिक मामले लगाये गये थे। इस लोक अदालत में फौजदारी के शमनीय प्रकृति के 68 मामलें, चैक सम्बंधी 1368 मामलें, विद्युत अधिनियम संबंधी 30 मामले, धन वसूली सम्बंधी 14 मामलें, मोटर दुर्घटना क्लेम ट्राईबुनल के 42 मामलें, पारिवारिक विवाद सम्बंधी 123 मामलें, मोटर वाहन द्वारा अपराधों के 4888 मामलें एवं अन्य सिविल प्रकृति के 43 मामलों सहित कुल 6574 मामलों का निस्तारण किया गया तथा 18,73,82,406/- रू० की धनराशि पर समझौता हुआ।
प्रभारी सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, देहरादून सैय्यद गुफरान द्वारा बताया गया कि उक्त लोक अदालत में जिला न्यायाधीश, देहरादून प्रेम सिंह खिमाल की पीठ सहित कई न्यायिक अधिकारियों की पीठों द्वारा मुख्यालय देहरादून में एक ही दिन में कुल 5567 मामलों का आपसी राजीनामे के आधार पर निस्तारण किया गया, जिसमें कुल 14,82,31,640/- रूपये का राजस्व प्राप्त हुआ। साथ ही बाह्य न्यायालय, विकासनगर के न्यायिक अधिकारियों द्वारा लोक अदालत में कुल 483 मामलों का आपसी राजीनामे के आधार पर निस्तारण किया गया, जिसमें कुल 1,29,42,344/- रूपये का राजस्व प्राप्त हुजा तथा बाह्य न्यायालय ऋषिकेश के न्यायिक अधिकारियों द्वारा लोक अदालत में एक ही दिन में कुल 398 मामलों का निस्तारण कर कुल 2,62,08,422/- रूपये का राजस्व प्राप्त किया गया। बाह्य न्यायालय डोईवाला द्वारा 106 मामलों का तथा बाह्य न्यायालय मसूरी द्वारा 20 मामलों का निस्तारण किया गया। इस लोक अदालत में प्री-लिटिगेशन स्तर के मामले भी निस्तारित किये गये। उक्त लोक अदालत में प्री-लिटिगेशन स्तर के 4827 मामलों का निस्तारण किया गया तथा 1,67,61,269/-रू० की धनराशि के सम्बंध में समझौते किये गये।
प्रभारी सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, देहरादून सैय्यद गुफरान द्वारा अवगत कराया कि लोक अदालतें सरल व त्वरित न्याय प्राप्त करने का एक प्रभावी माध्यम है, लोक अदालतों में पक्षकार आपसी समझौते के आधार पर मामले का निस्तारण कराते हैं, ऐसे आदेश अंतिम होते हैं तथा पक्षकारों को उनके द्वारा दिया गया न्यायशुल्क भी वापस कर दिया जाता है।

आईएसबीटी पर निर्मित 04 कलर्ड पार्किंग, फ्लाई ओवर सुधारीकरण कार्य जल्द किए जाएंगे पब्लिक को समर्पित

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-फ्लाईओवर का लेफ्टटर्न कारगी की ओर खोलने की प्रक्रिया, सुरक्षा कार्य पूर्ण

-आईएसबीटी पर ड्रेनेज समस्या से निजात को कार्य गतिमान

देहरादून, शहर की यातायात व्यवस्था में सुधार लाने हेतु जिलाधिकारी पार्किंग एवं यातायात प्रबन्धन हेतु निरंतर प्रयासरत हैं। डीएम एवं एसएसपी के शहर भ्रमण उपरान्त सड़क सुधार एवं यातायात प्रबन्धन तथा बाजारों जनमानस की सुरक्षा के दृष्टिगट निंरतर सुधारात्मक कार्य गतिमान है।
डीएम ने अधिकारियों को न्यायालय द्वारा सड़क सुरक्षा समिति को सुधार हेतु प्रदान की गई असीम शक्तियों तथा आपदा प्रबन्धन अधिनियम 2005 में वर्णित शक्तियों का प्रयोग करते हुए सड़क सुधार कार्य किये जाने को निर्देशित किया गया है। जिला प्रशासन द्वारा प्रत्येेक जीवन अमूल्य है के डीएम के मंत्र के साथ सड़क पर तेज रफ्तार पर ब्रेक के लिए निरंतर सुधार किये जा रहे हैं।
आईएसबीटी क्षेत्र आवागमन हेतु 02 गेट होने के उपरान्त भी 01 गेट से बसों का संचालन किया जा रहा है था, अब ऋषिकेश, हरिद्वार, कोटद्वार व गढवाल तथा कुमाऊ के क्षेत्रों में जाने वाले वाहन का निकास व प्रवेश गेट न0 2 के कट से तथा सहारनपुर, दिल्ली जाने वाले वाहनों का निकास गेट 01 के कट से किये जाने एवं प्रवेश गेट 2 से करने की व्यवस्था बनाई गई है।
आईएसबीटी क्षेत्र के बाहर वाहनों द्वारा यात्रियों को बैठाने तथा उतारने से भी यातायात प्रभावित हो रहा था, जिसे अब बंद करने का निर्णय लिया गया है, वाहन में यात्रियों को बैठाने व उतारने हेतु स्थल निर्धारित किए गए हैं। नियमों का पालन न करने वालों निरंतर कार्रवाई गतिमान है। इसके लिए पुलिस अधीक्षक यातायात व सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी की जिम्मेदारी तय की गई है।
आईएसबीटी फ्लाई ओवर के नीचे जंक्शन प्वांईट पर निरंजनपुर मण्डी की तरफ आने वाले ट्रेफिक क कारगी चौक एवं टर्नर रोड की तरफ जाने के कारण तथा टर्नर रोड से जाने वाले वाहनों के कारगी एवं निरंजनपुर मण्डी से वाहनों को निरंजनपुर मण्डी की तरफ जाने के कारण उत्पन्न जाम की स्थिति में सुधार करते हुए निरंजनपुर मण्डी से दुपहिया एवं चार पहिया हल्के वाहनों को निरंजनपुर मण्डी की तरफ से फ्लाई आवेर के माध्यम से जंक्शन आईएसलैण्ड से कारगी चौक की तरफ संचालित डायवर्ट कर, आईएसबीटी फ्लाईओवर के नीचे सर्विस रोड़ एवं जंक्शन प्वांईट पर यातायात दबाव कम करने का प्रयास किया गया है। वहीं फ्लाई ओवर का कारगी की ओर लेफ्टटर्न पूर्ण सुरक्षा उपाय कर लिए गए हैं, अब इसे पब्लिक को समर्पित करने की तैयारी है। आईएसबीटी पर 4 कलर्ड पार्किंग का कार्य पूर्ण हो गया शीघ्र ही जनमानस को समर्पित की जाएंगी।
आईएसबीटी क्षेत्र में बस अड्डे के आसपास व्यवसायिक प्रतिष्ठानों के स्वामियों के वाहन/ई रिक्शा/छोटे हाथी/टाटा मैजिक व अन्य सवारी वाहनों के समुचित पार्किंग न होने के कारण वाहन मुख्य मार्ग पर पार्क किये जा रहे थे, जो अब फ्लाई ओवर के नीचे उपलब्ध स्थानों में अलग अलग वाहनों के लिए 4 कलरकोड पार्किंग की व्यवस्था की गई है। वहीं आईएसबीटी पर ड्रेनेज समस्या निस्तारण कार्य बरसात से पूर्व करने हेतु टैंडर प्रक्रिया उपरांत कार्य प्रारंभ हो गया है।

अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस :  – मुख्यमंत्री ने विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करने वाली महिलाओं को सम्मानित किया

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–  महिला सारथी (पायलट प्रोजेक्ट) के तहत महिला ड्राइवरों को भी हरी झंडी दिखाकर रवाना किया
देहरादून(आरएनएस)।  मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने शनिवार को आई.आर.डी.टी ऑडिटोरियम, देहरादून में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करने वाली महिलाओं को सम्मानित किया। जिसमें सुश्री रेशमा शाह, सुश्री भारती, पार्षद अंजना रावत, श्रीमती बीना, श्रीमती रेखा पांडे, श्रीमती ममता, श्रीमती सरिता पंवार सहित अन्य कई महिलाएं शामिल रहीं। मुख्यमंत्री ने इस दौरान महिला सारथी (पायलट प्रोजेक्ट) के तहत महिला ड्राइवरों को भी हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि शिक्षा, चिकित्सा, राजनीति, खेल, विज्ञान, सेना, कृषि उद्योग जैसे हर क्षेत्र में महिलाएँ आगे बढ़ कर देश का नेतृत्व कर रही हैं। उत्तराखंड राज्य की महिलाओं में विशेष प्रकार का आत्मविश्वास और नेतृत्व क्षमता है, महिलाओं में कौशल और परिश्रम में कोई कमी नहीं है। राज्य की महिलाएं स्वयं आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनकर अपने परिवार और समाज को भी सशक्त बना रही हैं।  उन्होंने कहा विकसित भारत के संकल्प को पूरा करने में सबसे बड़ा योगदान महिलाओं का होगा। राज्य सरकार, प्रदेश की मातृ शक्ति के सशक्तिकरण हेतु भविष्य में भी पूरी दृढ़ता के साथ कार्य करते रहेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने महिलाओं के हितों को आगे रखते हुए देश में सबसे पहले समान नागरिक संहिता लागू उत्तराखंड में किया है। जिसमें महिला सुरक्षा के विशेष प्रावधान किए गए हैं। यह आधी आबादी का पूरा कानून है। उन्होंने कहा लिव इन रिलेशनशिप हमारी संस्कृति का हिस्सा नहीं है। लिव इन रिलेशनशिप में रहने वाले युवाओं की जानकारी उनके माता पिता और प्रशासन के पास होनी आवश्यक है। जिससे किसी भी तरह की घटना से भी बचा जा सकता है।
मुख्यमंत्री ने कहा प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश में मातृशक्ति के उत्थान एवं सशक्तिकरण के लिए हर स्तर पर प्रयास किए जा रहे हैं। बीते 11 वर्षों में 30 करोड़ से अधिक महिलाओं के जन-धन बैंक खाते खोले गए, 12 करोड़ से अधिक शौचालय बनाकर माताओं बहनों के मान-सम्मान की रक्षा सुनिश्चित किया गया है। लखपति दीदी योजना के माध्यम से 1 करोड़ से अधिक महिलाओं को लखपति दीदी बनाने का कार्य किया जा रहा है। 30 करोड़ से अधिक महिलाओं को मुद्रा योजना के अंतर्गत लोन देकर सशक्त एवं आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है। देश की संसद में  लोकसभा एवं विधानसभा में महिलाओं को 33 प्रतिशत का आरक्षण देने का ऐतिहासिक कानून पास किया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री के मार्गदर्शन में राज्य सरकार पढ़ाई, सरकारी नौकरी, उद्यम, खेल हर क्षेत्र में महिलाओं की अधिक से अधिक भागीदारी आगे बढ़ा रही है। राज्य में सशक्त नारी सशक्त समाज की परिकल्पना को साकार करते हुए नंदा गौरा योजना के अंतर्गत बालिकाओं के जन्म लेने पर 11 हजार रूपए तथा 12वीं उत्तीर्ण करने पर 51 हजार रूपए की प्रोत्साहन राशि दी जा रही है। सशक्त बहना उत्सव योजना, मुख्यमंत्री महिला स्वयं सहायता समूह सशक्तिकरण योजना, जैसी कई योजनाएं संचालित है। महिलाओं की सुरक्षा, सहायता, एवं संरक्षण सुनिश्चित करने के उद्देश्य से वन स्टॉप सेंटर, महिला हेल्पलाइन 181 और महिला कल्याण एवं पुनर्वास केंद्र स्थापित करने एवं महिलाओं हेतु महिला छात्रावास भी संचालित किए जा रहे हैं। राज्य सरकार द्वारा सरकारी नौकरियों में राज्य की बेटियों को 30 प्रतिशत का क्षैतिज आरक्षण देने का भी कार्य किया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त एवं आत्मनिर्भर बनाने के उद्देश्य से महिला स्वयं सहायता समूहों को 5 लाख रुपए तक का ऋण बिना ब्याज के मुहैया करवाया जा रहा है। लखपति दीदी योजना के अंतर्गत प्रदेश की 1 लाख से अधिक बहनों ने लखपति दीदी बनने में सफलता प्राप्त की है। उन्होंने कहा प्रदेश के स्वयं सहायता समूहों द्वारा बनाए गए उत्पादों को हाउस ऑफ हिमालयाज ब्रांड के माध्यम से आज देश-विदेश तक पहुंचाया जा रहा है। हमारी बहनों द्वारा बनाए गए उत्पाद आज मल्टीनेशनल कंपनियों को भी टक्कर दे रहीं हैं।
कैबिनेट मंत्री श्रीमती रेखा आर्य ने अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि महिलाए ने अपने बारे में आंकलन करना होगा है। अपनी क्षमताओं को आगे लाना होगा। पहले से समय काफी बदलाव आया है। महिलाएं अब आगे बढ़ गई हैं। महिलाओं को समाज में बराबरी का ओहदा प्राप्त है। उन्होंने कहा महिलाओं ने आत्मनिर्भर बनकर स्वयं के साथ समाज को आगे बढ़ाना है। चुनौतियों से निपटने में भी स्वयं से निर्णय करना है। उन्होंने कहा समाज में महिलाएं आगे बढ़ रही है, जिससे आगे परिणाम और अच्छे होंगे। उन्होंने कहा मुख्यमंत्री जी के नेतृत्व में मातृशक्ति के लिए ऐतिहासिक फैसले लिए गए हैं।
इस अवसर पर विधायक श्री खजान दास, राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग अध्यक्ष डॉ. गीता खन्ना, सचिव श्री चंद्रेश यादव, निदेशक श्री प्रशांत आर्य, एवं अन्य लोग मौजूद रहे।

ग्राफिक एरा में महिला दिवस पर विस अध्यक्ष रितु खण्डूरी, आईएएस नमामी व डा. दिव्या सम्मानित

ग्राफिक एरा में महिला दिवस पर स्पीकर खण्डूरी, आईएएस नमामी व डा. दिव्या  सम्मानित – South Asia24x7
देहरादून, उत्तराखण्ड़ की विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खण्डूरी ने कहा कि ज्यादा से ज्यादा महिलाओं को राजनीति में आना चाहिये। वे समाज की दशा और दिशा दोनों बदल सकती हैं।
विस अध्यक्ष ऋतु खण्डूरी आज ग्राफिक एरा में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर आयोजित समारोह को मुख्य अतिथि के रूप में सम्बोधित कर रही थी उन्होंने कहा कि महिलाओं को साल के पूरे 365 दिन सम्मान मिलना चाहिये। आज की महिलाएं चाय बेचने से लेकर, रिक्शा चलाकर भी अपना परिवार चला रहीं हैं। वे बड़ी से बड़ी उपलब्धि हासिल करने की क्षमता रखती हैं।
उन्होंने कहा कि विभिन्न क्षेत्रों में महिलाओं की भागेदारी को बढ़ावा देने के लिये पंचायत में 50 प्रतिशत आरक्षण, विधानसभा में 33 प्रतिशत आरक्षण व लड़कियों की पढ़ाई से लेकर कौशल जागृत करने तक की योजनाएं राज्य में चलाई जा रहीं हैं। श्रीमती खण्डूरी ने गृहणियांे को कामकाजी महिलाओं के जितना ही सम्मान देने का आह्वान किया।
देहरादून की नगर आयुक्त आईएएस नमामी बंसल ने अपने अनुभव साझा करते हुए कहा कि महिलाओं को परिवार के साथ खुद पर भी ध्यान देना चाहिये क्योंकि उनके विकसित होने से समाज और भी ज्यादा विकसित होगा। महिलाओं को वित्तीय रूप से आत्मनिर्भर होने के साथ ही खुश होना भी जरूरी है। उन्होंने कहा कि जिन्दगी में सफलता पाने के लिये छोटे-छोटे लक्ष्यों को भी सेलिब्रेट करना चाहिये व ऐसे कार्य करने चाहिये जिससे माता-पिता गौरान्वित महसूस करें। समारोह में ग्राफिक एरा ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशन्स की वाईस चेयर पर्सन डा. राखी घनशाला ने महिलाओं को खुद पर भरोसा रखने और आगे बढ़ते रहने के लिये प्रेरित किया। ग्राफिक एरा अस्पताल की प्रसूति व स्त्री रोग विशेषज्ञ डा. दिव्या मिश्रा ने महिलाओं के स्वास्थ्य की महत्वता पर प्रकाश डाला।
समारोह में विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खण्डूरी, आईएएस नमामी बंसल व डा. दिव्या मिश्रा के साथ ही ग्राफिक एरा में दो दशक से सेवा करने वाली महिलाओं को सम्मानित किया गया। इसमें रूचिरा रावत, डा. किरण शर्मा, डा. शालिनी सिंह व अन्य महिलाएं शामिल हैं। इस अवसर पर ग्राफिक एरा की 250 से ज्यादा महिला कर्मियों को पुरूस्कृत किया गया।
समारोह में ग्राफिक एरा डीम्ड यूनिवर्सिटी व ग्राफिक एरा हिल यूनिवर्सिटी की महिला पदाधिकारी, शिक्षिकाएं व छात्र-छात्राएं मौजूद रहे। संचालन डा. भारती शर्मा व डा. ताहा सिद्धकी ने किया।

 

 

बुद्धिजीवी फाउंडेशन ने दिया 12 उत्कर्ष्ठ महिलाओं को उत्तराखंड़ रत्न सम्मान

देहरादून, इंटेलेक्चुअल्स फाउंडेशन ने अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान के प्रेक्षागृह में महिलाओं को उनकी सेवाओं और समाज में योगदान के लिए सम्मानित किया।
इस मौके पर सेक्रेटरी जनरल हर्ष निधि शर्मा ने अतिथियों का स्वागत करते हुए कहा कि इस विशेष दिन को यादगार बनाने और महिलाओं के प्रति सम्मान प्रकट करने के लिए हमें अपनी जिम्मेदारी समझनी चाहिए। हमें अपनी महिलाओं को पहचानना चाहिए और उनका सम्मान करना चाहिए।
बुद्धिजीवी फाउंडेशन के अध्यक्ष डॉ. एस. फारू क ने कहा कि महिला सशक्तिकरण समय की मांग है। हमें समाज के विकास के लिए लड़कियों को शिक्षित करना चाहिए। और कहा कि विकसित देशों में महिलाएं अपने देश के लिए अच्छे व्यवसाय का नेतृत्व कर रही हैं।
मुख्य अतिथि न्यायमूर्ति राजेश टंडन ,पूर्व न्यायाधीश, उत्तराखंड उच्च न्यायालय, पूर्व अध्यक्ष, साइबर अपीलीय न्यायाधिकरण, भारत सरकार ,पूर्व अध्यक्ष, उत्तराखंड विधि आयोग पूर्व सदस्य, मानवाधिकार आयोग, उत्तराखंड ने कहा कि महिलाएं सम्पूर्ण परिवार हैं और आज महिलाएं समाज के विकास में प्रमुख भूमिका निभा रही हैं।
इंजीनियर नरेंद्र सिंह ने कहा कि महिलाएं संपूर्ण घर बनाने की हमारी शाश्वत शक्ति हैं। उनके योगदान के बिना यह असंभव है l ब्रिगेडियर के.जी. बहल ने धन्यवाद प्रस्ताव प्रस्तुत किया l
इस अवसर पर डॉ. ज्योति शर्मा प्रसिद्ध सामाजिक कार्यकर्ता देहरादून ,डॉ भावना पंत प्रोफ़ेसर राजकीय दून मेडिकल कॉलेज देहरादून ,श्रीमती शारदा अधिकारी प्रसिद्ध सामाजिक कार्यकर्ता उत्तराखंड देहरादून , इंद्राणी पांधी अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक हिमाचल टाइम्स ग्रुप उत्तराखंड ,डॉ दिव्या जुयाल डीन, फार्मास्युटिकल साइंसेज, निदेशक, आंतरिक गुणवत्ता आश्वासन प्रकोष्ठ,एसजीआरआर यूनिवर्सिटी देहरादून ,श्रीमती वैशाली सिंह प्रिंसिपल सैग्रेस अकादमी इंटरनेशनल उत्तराखंड देहरादून ,प्रोफ़ेसर कविता शर्मा प्रसिद्ध एक्यूपंक्चरिस्ट उत्तराखंड देहरादून ,डॉ. गगनदीप कौर एसोसिएट प्रोफेसर स्कूल ऑफ लॉ यू.पी.ई.एस. देहरादून ,श्रीमती कशिश गगन मेहता मोटर स्पोर्ट्स महिला उत्तराखंड,श्रीमती ममता नागर ,प्रसिद्ध महिला बाइक सवार उत्तराखंड देहरादून ,श्रीमती सोनाली सिन्हा प्रसिद्ध सामाजिक कार्यकर्ता उत्तराखंड देहरादून ,श्रीमती निशा अतुल्य प्रसिद्ध लेखिका एवं सामाजिक कार्यकर्ता उत्तराखंड को सम्मानित किया गया। कार्यक्रम का संचालन ऋषिता ने किया l इस अवसर प्रेक्षागृह में बड़ी संख्या में विभिन्न संगठनों से जुड़े लोग महिलायें उपस्थित रही l

 

अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की पूर्व संध्या पर ‘पर्यावरण सखी तुझे सलाम’ कार्यक्रम का हुआ आयोजन

देहरादून, अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की पूर्व संध्या पर पंचायती राज निदेशालय में ‘पर्यावरण सखी तुझे सलाम’ कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का उद्घाटन निदेशक पंचायती राज श्रीमती निधि यादव ने किया।
इस विशेष आयोजन में वेस्ट वॉरियर्स संस्था से जुड़ी 36 पर्यावरण सखियों ने भाग लिया, जो उत्तराखंड के रामनगर, उत्तरकाशी और धनौला क्षेत्रों में कचरा प्रबंधन और स्वच्छता अभियान में महत्वपूर्ण योगदान दे रही हैं।
कार्यक्रम का संचालन डॉ. विनीता सिंह द्वारा किया गया, जिसमें पर्यावरण सखियों ने अपनी प्रेरणादायक कहानियाँ साझा कीं और अपने अनुभवों को प्रस्तुत किया। इन सखियों ने कचरा प्रबंधन से जुड़े विभिन्न नवाचारों और समाधानों पर आधारित अपने मॉडल भी प्रदर्शित किए।
इस अवसर पर निदेशक पंचायती राज श्रीमती निधि यादव ने कहा,
“पर्यावरण सखियों द्वारा किए जा रहे कार्य समाज के लिए प्रेरणादायक हैं। उनका समर्पण न केवल स्वच्छता अभियान को सशक्त बना रहा है, बल्कि सतत विकास के लक्ष्यों को भी पूरा करने में सहायक सिद्ध हो रहा है।”

महत्वपूर्ण योगदान:

रामनगर की 7 पंचायतों से 23 पर्यावरण सखियों द्वारा दिसंबर 2021 से दिसंबर 2024 तक 271134 किलो सुखा कचरा एकत्र किया गया है। साथ ही इनके द्वारा 5 वेस्ट बैंक का भी संचालन किया जा रहा है. रामनगर पर्यटन की दृष्टि से अति महत्वपूर्ण है और पर्यावरण सखी वहां स्वच्छता हेतु कार्य कर रही है l
गोविंद वन्यजीव एवं पशु विहार, उत्तरकाशी की 7 पंचायतों में भी पर्यावरण सखियां सक्रिय रूप से कार्यरत हैं। केदार कण्ठा और हर की दून ट्रेकिंग स्थल होने के कारण बहुत बड़ी मात्रा में यहां सैलानी हर वर्ष आते है, धनौला, रायपुर ब्लॉक की 6 पंचायतों से 6 पर्यावरण सखियां कचरा प्रबंधन में प्लास्टिक कचरा प्रबंधन केंद्र चला कर योगदान दे रही हैं।
इस कार्यक्रम में संस्था की प्रतिनिधि मिताली रावत ने बताया कि वेस्ट वॉरियर्स द्वारा रामनगर क्षेत्र से वार्षिक रूप से हजारों किलो सूखा कचरा एकत्र कर रीसाइक्लिंग हेतु भेजा जा रहा है।
इस आयोजन ने महिला सशक्तिकरण और पर्यावरण संरक्षण में पर्यावरण सखियों की भूमिका को रेखांकित किया तथा उनके सराहनीय कार्यों को सम्मानित किया।
कार्यक्रम में संयुक्त निदेशक राजीव त्रिपाठी, हिमाली जोशी एवं संयुक्त निदेशक मनोज तिवारी, नवीन कुमार सडाना, भास्कर पिचाई ,सदस्य विनोद सोलंकी, स्वाति, वीर पाल, असलम खान आदि उपस्थित रहे l

उत्तराखंड़ राज्य आंदोलनकारी कर्मचारी कल्याण परिषद का प्रादेशिक सम्मेलन सम्पन्न

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देहरादून, उत्तराखंड़ राज्य आंदोलनकारी कर्मचारी कल्याण परिषद का प्रादेशिक सम्मेलन नगर निगम सभागार देहरादून में संपन्न हुआ। कार्यक्रम मेँ मुख्य अतिथि विनोद चमोली विधायक धरमपुर, अति विशिष्ट अतिथि सूचना आयुक्त उत्तराखण्ड योगेश भट्ट, एवं रविंद्र रविन्द्र जुगरान पूर्व अध्यक्ष राज्य आंदोलनकारी सम्मान परिषद के साथ ही प्रेस क्लब कें पूर्व अध्यक्ष अजय राणा द्वारा कार्यक्रम का दीप जलाकर शुभारंभ किया गया। इस महाधिवेशन में पूरे प्रदेश भर से सभी जिलों के लगभग 150 से ज्यादा राज्य आन्दोलनकारी कर्मचारियों ने प्रतिभाग किया।
कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रदेश अध्यक्ष राज्य आंदोलनकारी कर्मचारी कल्याण परिषद के प्रदेश अध्यक्ष यशवंत रावत एवं संचालन महासचिव जीतमणि पैन्यूली एवं श्री भानु रावत के द्वारा किया गया। नई कार्यकारिणी के गठन हेतु निर्वाचन अधिकारी के रूप में राकेश जोशी महासचिव, सचिवालय संघ एवं पंचम सिंह बिष्ट संरक्षक, पर्वतीय कर्मचारी शिक्षक संगठन उपस्थित थे।
उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारी कर्मचारी कल्याण परिषद के इस अधिवेशन में अध्यक्ष पद के श्री संतन सिंह रावत, महासचिव पद के लिए श्री संजय तिवारी, कोषाध्यक्ष पद के लिए ललित चंद्र जोशी, वरिष्ठ उपाध्यक्ष के लिए उमादत्त जुगरान, उपाध्यक्ष गढ़वाल पूरन सिंह राणा तथा उपाध्यक्ष कुमाऊं भूपेंद्र सिंह देव ताऊ का चयन किया गया।
कार्यक्रम में राज्य आंदोलनकारी मंच की प्रदेश अध्यक्ष श्री जगमोहन सिंह नेगी, प्रदीप कुकरेती रामलाल खंडूरी पुष्पलता सिलमाना सुलोचना भट्ट राधिका तिवारी सहित वृंदावन पांडे पूरन सिंह लिंगवाल , पुर्बानंद बंगंवाल खिलाप सिंह बिष्ट चंद्रपाल सिंह राणा राधा कृष्ण तिवारी किशन सिंह रावत पूरन सिंह राणा, अजय खण्डूरी, सुरेन्द्र बिष्ट सहित अनेक राज्य आन्दोलनकारी कर्मचारी उपस्थित रहे।