Monday, November 25, 2024
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सिंगटाली में अभी तक नहीं बना मोटर पुल, दो अक्टूबर से क्रमिक अनशन पर बैठेगी ढांगू विकास समिति

देहरादून, सिंगटाली में बनाए जाने वाले मोटरपुल का निर्माण शुरू करने की मांग को लेकर ढांगू विकास समिति ने अब आंदोलन के मूड में है और पुल नहीं वोट नहीं के तहत सरकार को जगाने का काम करेगी, गढ़वाल और कुमाऊं को जोड़ने के लिए सिंगटाली में पुल निर्माण की मांग काफी समय से स्थानीय लोग आंदोलित हैं और अब दो अक्टूबर से सिंगटाली में क्रमिक अनशन करने का निर्णय लिया है। समिति के पदाधिकारियों ने कहा कि यदि सिंगटाली में पुल का निर्माण शुरू नहीं होता है तो क्षेत्र की जनता वोट भी नहीं देगी।

लोक निर्माण विभाग ऋषिकेश के अतिथि गृह में आयोजित पत्रकार वार्ता में ढांगू विकास समिति के अध्यक्ष उदय सिंह नेगी ने बताया कि 2006 में शासन की ओर से सिंगटाली में मोटरपुल की स्वीकृति दी गई थी। 2017 में लोक निर्माण विभाग श्रीनगर ने इस पुल की मिट्टी की टेस्टिंग के साथ ही अप्रोच रोड की सर्वे कर दिया था। मोटरपुल के निर्माण के लिए विश्व बैंक से 17 करोड़ रुपयेभी स्वीकृत हुए थे। उन्होंने बताया कि सितंबर 2019 में एक एनजीओ के कहने पर तत्कालीन मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत की ओर से इस पुल का स्थान परिवर्तित करने के आदेश दिए थे। जिसका स्थानीय नागरिकों ने विरोध किया था |

क्षेत्र के नागरिकों का कहना था कि मोटरपुल पुराने स्थान पर ही बनना चाहिए। 15 जनवरी 2020 को शासन की ओर से मोटरपुल की जगह बदलने के शासनादेश हुआ था, जिसका स्थानीय लोग ने विरोध किया था। उन्होंने बताया कि स्थानीय नागरिकों के विरोध को देखते हुए राज्य सभा सदस्य अनिल बलूनी ने पुराने चयनित स्थल पर ही मोटर पुल बनाने का आश्वासन स्थानीय जनता को दिया था, उसके बाद तत्कालीन मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने 18 मई 2021 को पुराने चयनित स्थल पर ही मोटर पुल बनाने के आदेश किए थे, लोक निर्माण विभाग की ओर से इसका शासनादेश भी जारी किया गया था, शासनादेश जारी होने के बाद लोक निर्माण विभाग श्रीनगर की ओर से मोटर पुल के दोनों और अप्रोच रोड का सर्वे भी किया गया था। लेकिन सरकार की ओर से मोटरपुल की वित्तीय स्वीकृति ना दिए जाने से अभी तक मोटर पुल का निर्माण शुरू नहीं हो पाया है। इस मोटर पुल के बनने से नेशनल हाईवे 58 तोता घाटी का भी वैकल्पिक मार्ग बनेगा। इसके निर्माण होने से गढ़वाल से कुमाऊं के बीच की दूरी में करीब 45 किलोमीटर की कमी आएगी। सिंगटाली से ब्यासघाट होते हुए देवप्रयाग तक का सफर आसान हो जाएगा। इस पुल के निर्माण होने से पौड़ी जिले के द्वारीखाल, कल्जीखाल, कोट, एकेश्वर, जयहरीखाल, बीरोंखाल, थलीसैंण के करीब 1000 गांव के लोगों को लाभ मिलेगा।

उन्होंने कहा कि यदि सरकार की ओर से मोटर पुल को लेकर कोई कार्रवाई नहीं की जाती है तो सितंबर माह के आखिरी सप्ताह में क्षेत्रीय जनता सिंगटाली में एकदिवसीय सांकेतिक धरना देगी। दो अक्टूबर गांधी जयंती से सिंगटाली में ग्राम सभा वार क्रमिक अनशन किया जाएगा। फिर भी पुल निर्माण को लेकर कोई कार्रवाई नहीं होती है तो क्षेत्र के सात ब्लाक के करीब 1000 गांव के लोग सिंगटाली में मोटर पुल नहीं तो वोट नहीं तो का नारा बुलंद करेंगे। क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों का भी विरोध किया जाएगा। इस दौरान में ढांगू विकास समिति के उपाध्यक्ष भारत सिंह रावत, विनोद बड़थ्वाल, वेद प्रकाश मैठाणी, शैलेंद्र नौटियाल, राजीव बिष्ट, प्रशांत मैठाणी आदि उपस्थित थे।

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