Sunday, November 24, 2024
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पारम्परिक जौनसार-बाबर की वेशभूषा में कैबिनेट मंत्री रेखा आर्या ने मनाई इगास

देहरादून, आज इगास पर्व के उपलक्ष्य में कैबिनेट मंत्री रेखा आर्या कालसी स्थित बोहरी गांव में आयोजित कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में सम्मलित हुई, जहाँ कार्यक्रम में स्थानीय महिलाओं और जनता ने मंत्री रेखा आर्या का भव्य स्वागत किया।

इस अवसर पर सर्वप्रथम कैबिनेट मंत्री ने भगवान परशुराम और माता रेणुका का आशीर्वाद लिया और सभी के सुख समृद्धि की कामना की। इस अवसर पर स्थानीय लोक कलाकारों ने शानदार लोकगीत गाये,साथ ही इस मौके पर स्थानीय महिलाओं के साथ मंत्री रेखा आर्या ने पारम्परिक लोकनृत्य भी किया।
पारम्परिक जौनसार -बाबर की वेशभूषा में पहुंची कैबिनेट मंत्री रेखा आर्या ने स्थानीय जनता और कार्यक्रम आयोजको का धन्यवाद ज्ञापित किया। इस मौके पर उन्होंने कहा कि यहाँ आकर उन्हें आज जौनसार-बाबर की लोक संस्कृति को करीब से देखने का सौभाग्य मिला।उन्हें यह देखकर बड़ी ख़ुशी हुई कि आज एक और जहाँ हम अपने पारम्परिक वेशभूषा को पीछे छोड़ते जा रहे है तो वहीं जौनसार-बाबर के लोग अभी भी अपनी संस्कृति और अपने जड़ो से जुड़े हुए हैं।

 

कैबिनेट मंत्री ने कहा कि आज हमें अपनी संस्कृति के संवर्धन के साथ उसके संरक्षण की भी नितांत आवश्यकता है ताकि हमारी आने वाली पीढ़ी हमारी संस्कृति और परंपरा को जान सके।

इगास पर्व के बारे में जानकारी देते हुए कैबिनेट मंत्री ने कहा कि दीपावली के ठीक 11 दिन बाद ईगास मनाने की परंपरा है।दरअसल दीपावली का उत्सव इसी दिन पराकाष्ठा को पहुंचता है, इसलिए पर्वों की इस शृंखला को ईगास-बग्वाल नाम दिया गया। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार राम के वनवास से अयोध्या लौटने पर लोगों ने कार्तिक कृष्ण अमावस्या को दीये जलाकर उनका स्वागत किया था। लेकिन, गढ़वाल क्षेत्र में राम के लौटने की सूचना दीपावली के ग्यारह दिन बाद कार्तिक शुक्ल एकादशी को मिली,इसीलिए ग्रामीणों ने खुशी जाहिर करते हुए एकादशी को दीपावली का उत्सव मनाया।

 

इस अवसर पर कैंट विधानसभा से विधायक सविता कपूर , पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष रामशरण नौटियाल , मेला समिति अध्यक्ष अमर सिंह , पूर्व जिला पंचायत सदस्य गीता चौहान, क्षेत्र पंचायत सदस्य कुलदीप चौहान ,मंडल महामंत्री प्रवीण ,रण सिंह चौहान , गुलाब सिंह , जिला सोशल मीडिया प्रभारी वीरेंद्र सिंह सहित स्थानीय जनता उपस्थित रही।

 

 

लोकपर्व ‘इगास‘ पर प्रभारी स्वास्थ्य सचिव डॉ आर राजेश कुमार को बेडू ग्रुप ने भेंट की स्थानीय उत्पादों की ‘समूण‘

 

देहरादून, उत्तराखंड में हर्बल उत्पादों को लेकर काम कर रहे बेडू ग्रुप के सदस्यों ने लोकपर्व ‘इगास‘ पर प्रभारी सचिव स्वास्थ्य व राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के मिशन निदेशक डॉ. आर. राजेश कुमार से मुलाकात कर उन्हें बेडू के बने हर्बल उत्पादों के साथ ही स्थानीय उत्पादों की समूण भेंट की। डॉ आर राजेश कुमार ने स्थानीय उत्पादों को बढ़ावा देने की बेडू ग्रुप की मुहिम की सराहना की।

उत्तराखंड के पौड़ी जिले की यमकेश्वर विधानसभा क्षेत्र के बिजनी छोटी में हर्बल उत्पादों का निर्माण कर रहे बेडू ग्रुप ने इस बार इगास पर स्थानीय उत्पादों की ‘समूण भेंट‘ करने की मुहिम शुरू की हुई है। बेडू ग्रुप का प्रयास है लोकपर्व इगास को सभी लोग अपने पारंपरिक रीति रिवाजों के साथ मनाने के अलावा एक-दूसरे को स्थानीय उत्पादों की समूण भेंट करें। इसी कड़ी में बेडू ग्रुप के सदस्यों अमित अमोली, अवधेश नौटियाल और रमन जायसवाल ने प्रदेश के प्रभारी सचिव स्वास्थ्य व राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के मिशन निदेशक डॉ. आर. राजेश कुमार से मुलाकात कर उन्हें बेडू के बने हर्बल उत्पादों के साथ ही स्थानीय उत्पादों की समूण भेंट की। इस समूण में पारंपरिक व्यजन रोट, अरसे, बाल मिठाई, सिंगोरी सहित बेडू ग्रुप के द्वारा तैयार की गई हर्बल उत्पादों की किट है।
प्रभारी सचिव स्वास्थ्य व राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के मिशन निदेशक डॉ. आर. राजेश कुमार सभी प्रदेशवासियों को इगास पर्व की शुभकामनाएं देते हुए सुख समृद्वि की कामना की। डॉ आर राजेश कुमार ने बेडू ग्रुप की मुहिम की सराहना करते हुए आम जनमानस से इस मुहिम में जुड़ने का आहवान किया ताकि संस्कृति, व उत्पादकता के संबर्धन के साथ ही स्थानीय उत्पादों से जुड़े लोगों के चेहरों पर भी इगास में खुशियां देखने को मिले। डॉ आर राजेश कुमार ने कहा राज्य में पलायन बहुत बड़ी समस्या है। स्वास्थ्य, शिक्षा और रोजगार पलायन की बड़ी वजह है। जानकार खुशी हुई कि बेडू ग्रुप के सदस्यों ने रिर्बस पलायन कर राज्य में हर्बल उत्पादों के निर्माण की शुरूआत की है। इसके साथ ही इगास के मौके पर स्थानीय उत्पादों को बढ़ावा मिले इसको लेकर समूण भेंट करने की परंपरा की शुरूआत की है यह अच्छी पहल है।
डॉ. आर. राजेश कुमार ने वोकल फोर लोकल सोच को आगे बढ़ाने के लिए हम सबको मिलकर काम करना होगा। यदि हम पहाड़ी उत्पादों को प्रचलित करने में सहयोग देते हैं। तीज त्यौहारों अन्य मौकों पर यदि हम पहाड़ी उत्पादों पर खर्च करने का प्रण लेते हैं तो हमारे पहाड़ के उत्पादक, काश्तकारों और वहां की बड़ी आबादी को काम मिलेगा। उनका पलायन रुकेगा और जीवन स्तर में सुधार होगा। उन्होंने बेडू ग्रुप की पहल की सराहना करते हुए लोगों से अपील भी कि है कि इगास पर्व की सार्थकता तभी है जब हम इस पर्व को अपनी संस्कृति, प्रकृति और उत्पादकता से जोड़ें।

 

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