Tuesday, November 26, 2024
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बड़ी खबर : हेलीकॉप्टर हादसे में सीडीएस बिपिन रावत की मौत, भारतीय वायुसेना ने की पुष्टि

“वायुसेना की तरफ से ट्विट कर बताया कि गहरे अफसोस के साथ पता चला है कि इस दुर्भाग्यपूर्ण दुर्घटना में जनरल बिपिन रावत, श्रीमती मधुलिका रावत और उसमें सवार 11 अन्य लोगों की मौत हो गई है।”

नई दिल्ली, तमिलनाडु के कन्नूर में सेना के हेलीकॉप्टर हादसे में जनरल बिपिन रावत की मौत हो गई है। भारतीय वायुसेना ने सीडीएस रावत की मौत की पुष्टि की है। वायुसेना की तरफ से ट्विट कर बताया कि गहरे अफसोस के साथ पता चला है कि इस दुर्भाग्यपूर्ण दुर्घटना में जनरल बिपिन रावत, श्रीमती मधुलिका रावत और उसमें सवार 11 अन्य लोगों की मौत हो गई है।बिपिन रावत बने देश के पहले CDS, जानिए क्यों पड़ी इस पद की जरूरत - army chief general bipin rawat first chief of defence staff role modi government - AajTak वायुसेना की तरफ से कहा गया कि चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (सीडीएस) जनरल बिपिन रावत आज स्टाफ कोर्स के संकाय और छात्र अधिकारियों को संबोधित करने के लिए डिफेंस सर्विसेज स्टाफ कॉलेज, वेलिंगटन (नीलगिरी हिल्स) के दौरे पर थे। एमआई-17वी5 हेलीकॉप्टर सुलूर से वेलिंगटन के लिए रवाना हुआ था और इसमें चालक दल सहित 14 लोग सवार थे। प्रमुख रक्षा अध्यक्ष रावत वेलिंगटन में डिफेंस स्टाफ कॉलेज जा रहे थे। वायुसेना ने कहा कि हादसे की ‘कोर्ट ऑफ इंक्वायरी’ के आदेश दे दिए गए हैं।

 

रक्षा मंत्री ने जताया दुख

हेलीकॉप्टर दुर्घटना को लेकर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने गहरा शोक प्रकट किया है। उन्होंने ट्विट करते हुए कहा कि तमिलनाडु में आज एक बेहद दुर्भाग्यपूर्ण हेलीकॉप्टर दुर्घटना में चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत, उनकी पत्नी और 11 अन्य सशस्त्र बलों के जवानों के आकस्मिक निधन से गहरा दुख हुआ। जनरल रावत ने असाधारण साहस और लगन से देश की सेवा की थी। पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ के रूप में उन्होंने हमारे सशस्त्र बलों की संयुक्तता की योजना तैयार की थी। राजनाथ सिंह ने कहा कि इस हादसे में अपनों को खोने वालों के परिवारों के प्रति मेरी संवेदना है। ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करते हैं, जिनका वर्तमान में सैन्य अस्पताल, वेलिंगटन में इलाज चल रहा है।Dehradun News In Hindi, Latest देहरादून न्यूज़ Headlines - Amarujala.com

 

सीडीएस बिपिन रावत के निधन से राज्य में शोक की लहर, पैतृक गांव सैंण में हर कोई स्तब्ध

देहरादून, तमिलनाडु के कन्नूर में सेना का हेलीकॉप्टर क्रैश हो गया है। जिसमें सीडीएस बिपिन रावत के साथ उनकी पत्नी व अन्य अधिकारियों समेत कुल 14 लोग सवार थे। इस घटना में सीडीएस बिपिन रावत का निधन हो गया, इस हादसे के बाद से पूरे उत्तराखंड में शोक छा गया। लोग देवभूमि के बेटे की मौत की खबर आने से हर कोई स्तब्ध है। जनरल बिपिन रावत के हेलीकाॅप्टर क्रेश होने की खबर फैलने के बाद उत्तराखंड में गहमागहमी और चिंता का माहौल देखने को मिला। घटना को लेकर लगातार अपडेट लिए जा रहे थे। भाजपा चुनाव प्रभारी बीएल संतोष ने भी दोपहर बाद की बैठक छोड़ दी थी। वहीं मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी भी पार्टी कार्यालय नहीं पहुंचे थे। शाम होते-हाेते उनकी मौत की पुष्टि हुई और राज्य में सन्नाटा पसर गया। वहीं उनके पैतृक गांव सैंण में हर कोई स्तब्ध है |

पौड़ी के सैंण गांव के मूल निवासी थे रावत

Army Chief General Bipin Rawat Village Family Happy After Become First Cds  Of India - जनरल बिपिन रावत के सीडीएस बनने पर उत्तराखंड में खुशी का माहौल, पैतृक  गांव में एक जनवरी

सीडीएस बिपिन रावत उत्तराखंड के पौड़ी जिले के द्वारीखाल ब्लॉक के सैंण गांव के मूल निवासी थे। उनकी पत्नी उत्तरकाशी जिले से हैं। जानकारी के मुताबिक देहरादून में जनरल बिपिन रावत का घर भी बन रहा था।जनरल बिपिन रावत थलसेना के प्रमुख रहे। रिटायरमेंट से एक दिन पहले बिपिन रावत को देश का पहला चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (सीडीएस) बनाया गया था।

इनके पिता लेफ्टिनेंट जनरल लक्ष्मण सिंह रावत सेना से लेफ्टिनेंट जनरल के पद से सेवानिवृत्त हुए थे। रावत ने 11वीं गोरखा राइफल की पांचवीं बटालियन से 1978 में अपने करियर की शुरुआत की थी। उन्होंने देहरादून में कैंब्रियन हॉल स्कूल, शिमला में सेंट एडवर्ड स्कूल और भारतीय सैन्य अकादमी देहरादून से शिक्षा ली। आईएमए में उन्हें सर्वश्रेष्ठ स्वोर्ड ऑफ ऑनर सम्मान से भी नवाजा गया था। परिवार वालों का कहना है कि उनके परिवार में सभी बच्चों के सामने जनरल बिपिन और उनके पिता का उदाहरण पेश किया जाता था।
सीडीएस बिपिन रावत अधिक ऊंचाई वाले स्थान पर युद्ध और आतंकवाद विरोधी गतिविधियों की खासा जानकारी और अनुभव रखते थे। उन्होंने पूर्वी सैक्टर में वास्तविक नियंत्रण रेखा पर इंफेंट्री बटालियन की कमान संभाली। उन्होंने कश्मीर घाटी में राष्ट्रीय राइफल्स और एक इंफेंट्री डिविजन की कमान संभाली। जनरल रावत ने सेना मुख्यालय की सेना सचिव शाखा में भी महत्वपूर्ण पदों पर काम किया।

वे पूर्वी कमान मुख्यालय में मेजर जनरल, जनरल स्टाफ भी रहे। उन्होंने कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य में चैप्टर-7 मिशन में बहुराष्ट्रीय ब्रिगेड की कमान संभाली। लेफ्टिनेंट जनरल बिपिन रावत डिफेंस सर्विसेज स्टाफ कॉलेज, वेलिंगटन और हायर कमांड एंड नेशनल डिफेंस कॉलेज कोर्सेज के पूर्व छात्र थे।

उन्हें वीरता और विशिष्ट सेवा के लिए पुरस्कृत भी किया गया, जिनमें यूवाईएसएम, एवीएसएम, वाईएसएम, एसएम, वीएसएम, सीओएएस प्रशस्ति शामिल हैं। संयुक्त राष्ट्र के साथ काम करते हुए उन्हें दो बार फोर्स कमांडर प्रशस्ति पुरस्कार प्राप्त हुए।

मुख्यमंत्री और राज्यपाल ने किया शोक व्यक्त

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, राज्यपाल सहित अन्य गणमान्य लोगों ने बिपिन रावत के निधन पर शोक व्यक्त किया है। उनके निधन को देश के लिए बड़ी क्षति बताया। वहीं उनके परिवार को शक्ति देने की प्रार्थना की।

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