कॉलेजों में बीएड की बहुत सी सीटें खाली रह गई थी इसलिए उच्च न्यायालय में पांच कॉलेजों की तरफ से डाली गई थी याचिका : डा. अग्रवाल
देहरादून, उत्तराखण्ड़ में बीएड के 2023-25 के सत्र में गढ़वाल विश्वविद्यालय से संबद्ध निजी कॉलेजों में प्रवेश सीयूईटी परीक्षा के माध्यम से किए गए थे लेकिन परीक्षा एजेंसी की लापरवाही के चलते गढ़वाल के छात्रों के परीक्षा केंद्र 300 किलोमीटर दूर मुरादाबाद मेरठ मुजफ्फरनगर तक बना दिए गए थे, जिसके कारण अधिकांश छात्र परीक्षा देने से वंचित रह गए थे और इसी कारण से विभिन्न कॉलेजों में 50% से अधिक सीटें खाली रह गई थी, एसोसिएशन ऑफ सेल्फ फाइनेंसड इंस्टीट्यूट्स उत्तराखंड के अध्यक्ष डॉ. सुनील अग्रवाल ने बताया कि सीयूईटी के माध्यम से कराई गई प्रवेश परीक्षा में जब विभिन्न कोर्सों में सीटें खाली रह गई तो यूजीसी द्वारा 4 अक्टूबर 2023 कोई एसओपी जारी की गई कि खाली रह गई सीटों पर या तो विश्वविद्यालय अपने स्वयं से प्रवेश परीक्षा आयोजित करें या मेरिट के आधार पर छात्रों को प्रवेश करवाया जाए, प्रेस को जारी बयान में डा. अग्रवाल ने आरोप लगाया गढ़वाल विश्वविद्यालय ने उक्त एसओपी के पालन में बीएड कोर्स को छोड़कर अन्य कोर्स में मेरिट के आधार पर प्रवेश करवा दिए, वहीं इस संबंध में जब विश्वविद्यालय से चर्चा की गई तो विश्वविद्यालय ने मेरिट के आधार पर या अपने एंट्रेंस के आधार पर प्रवेश से इनकार कर दिया, क्योंकि कॉलेजों में बहुत सी सीटें खाली रह गई थी इसलिए उच्च न्यायालय में पांच कॉलेजों की तरफ से याचिका डाली गई, जिस पर विश्वविद्यालय को यूजीसी की एसओपी का पालन करने का आदेश दिया जाए, डा. अग्रवाल के मुताबिक उच्च न्यायालय में विश्वविद्यालय की तरफ से कहा गया कि यूजीसी ने प्रवेश के लिए 20 दिन का समय दिया था वह अब निकल चुका है इसलिए अब इसमें प्रवेश नहीं किया जा सकते, एकल बेंच में सही आदेश न मिलने के खिलाफ एक कॉलेज मंजीरा देवी शिक्षण एवं प्रशिक्षण संस्थान ने डबल बेंच में अपील दाखिल की और उसमें यह तर्क रखा गया की प्रवेश में देरी विश्वविद्यालय द्वारा एसओपी का पालन न करने के कारण हुई है और बीएड कोर्स 2 वर्षीय है लेकिन इसे 3 वर्ष में भी पूर्ण किया जा सकता है |
अपील में विश्वविद्यालय के साथ-साथ एनसीटीई और यूजीसी को भी पार्टी बनाया गया था जिसमें प्रवेश के संबंध में एनसीटीई और यूजीसी को कोई आपत्ति नहीं थी, इन सभी तथ्यों को ध्यान में रखते हुए उच्च न्यायालय की डबल बेंच ने अपने आदेश में यह कहा कि सीटों को खाली रखना छात्रों के हित की दृष्टि से उचित नहीं है और छात्रों को उच्च शिक्षा का अवसर मिलना चाहिए | उच्च न्यायालय ने 3 मई 2024 के आदेश में कॉलेज को नियमानुसार प्रवेश के आदेश दिए, इसके बाद तीन और कॉलेज कुकरेजा इंस्टिट्यूट, उत्तरांचल कॉलेज और मालिनी वाली कॉलेज ने भी उच्च न्यायालय में अपील दाखिल की जिस पर माननीय उच्च न्यायालय ने 13 जून 2024 के आदेश में अपने पूर्व आदेश को फॉलो किया |
डॉ. सुनील अग्रवाल ने कहा कि विश्वविद्यालय द्वारा स्वयं निर्णय न लेने के कारण कॉलेजों को उच्च न्यायालय की शरण लेनी पड़ी और अब उक्त चारों कॉलेज में सत्र 2023 -25 की रिक्त सीटों पर मेरिट के आधार पर प्रवेश करेंगे जो छात्र किसी कारण से प्रवेश परीक्षा से वंचित रह गए थे अगर वह एनसीटी के नियमों के अनुसार एलिजिबिलिटी
पूरी करते हैं तो उन्हें उक्त सत्र में प्रवेश मिल सकता है, अब हाई कोर्ट के आदेश के बाद कुछ अन्य कॉलेजों ने भी उच्च न्यायालय में अपील दाखिल की है, डॉ. अग्रवाल ने कहा की प्रवेश के मामले में विश्वविद्यालय को अपने स्तर पर निर्णय लेने चाहिए जिससे कॉलेजों को न्यायालय का रुख न करना पड़े क्योंकि कॉलेज या विश्वविद्यालय छात्रों के लिये हैं, छात्रों के भविष्य को अटकाने के लिए या उनके कामों को रोकने के लिए नहीं।
श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल में आयोजित हुआ रक्तदान शिविर : डाॅक्टरों ने बढ़चढ़ की भागीदारी, 100 यूनिट रक्तदान हुआ
देहरादून, दि एसोसिएशन आॅफ सर्जंस आॅफ इण्डिया एवम् श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के ब्लड बैंक के सहयोग से श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल में स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया। स्वैच्छिक रक्तदान शिविर में श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के सर्जरी विभाग के डाॅक्टरों व छात्र-छात्राओं ने बढ़चढ़ कर भागीदारी की। एमबीबीएस के छात्र-छात्राओं ने रक्तदान को बनाईए अभियान नुक्कड़ नाटक के जरिए जनजागरूकता की अलख जगाई।
शनिवार को श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के ब्लड बैंक में स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया। दि एसोसिएशन आॅफ सर्जंस आॅफ इण्डिया के स्वैच्छिक रक्तदान शिविर के राष्ट्रीय संयोजक एवम् श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के वरिष्ठ सर्जन डाॅ जे.पी.शर्मा ने जानकारी दी कि एसोसिएशन की तरफ से 15 जून 2024 को देश भर में रक्तदान शिविर के आयोजन किए गए हैं। श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल में 100 यूनिट रक्तदान हुआ। एसोसिएशन के द्वारा सामाजिक सेवाओं के निर्वहन मंे अपना योगदान देने हेतु देश भर में एसोसिएशन के द्वारा रक्तदान शिविरों के आयोजन किए गए हैं।
श्री गुरु राम राय इंस्टीट्यूट आॅफ मेडिकल एण्ड हैल्थ साइंसेज़ के एमबीबीएस के के छात्र-छात्राओं ने श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के प्रांगण में नुक्कड़ नाटक के माध्यम से आमजन को रक्तदान के महत्व की जानकारी दी व उन्हें रक्तदान के लिए प्रेरित किया। नुक्कड़ नाटक को सफल बनाने में एमबीबीएस छात्र-छात्राओं अदिति शर्मा, आरोहण, आदित्य सैनी, अग्निवेश, अदिति सूद, आयशा व दिपांशु का विशेष सहयोग रहा। इंटर्न डाॅ दीपशिखा व उनकी टीम ने नुक्कड नाटक का संयोजन किया।
Recent Comments