नई दिल्ली, केन्द्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ ने मातृभाषा में तकनीकी शिक्षा प्रदान करने के लिए रोडमैप तैयार करने के उद्देश्य से आज यहां कार्यबल का गठन किया है। सचिव, उच्च शिक्षा की अध्यक्षता में बना यह कार्यबल विभिन्न हितधारकों द्वारा दिए गए सुझावों पर विचार कर एक महीने में रिपोर्ट देगा। मातृभाषा में तकनीकी शिक्षा देने के संबंध में उच्च स्तरीय बैठक में केन्द्रीय मंत्री ने यह निर्णय लिया। सचिव, उच्च शिक्षा, श्री अमित खरे, भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थानों (आईआईटी) के निदेशक, शिक्षाविद और मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी भी इस अवसर पर उपस्थित थे। बैठक राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के क्रियान्वयन के संबंध में चर्चा और विचार विमर्श के लिए बुलाई गई थी।
पोखरियाल ने कहा कि आज की बैठक प्रधानमंत्री की इस सोच को हासिल करने की दिशा में कदम है कि विद्यार्थी अपनी मातृभाषा में मेडिकल, इंजीनियरिंग और कानून आदि व्यावसायिक पाठ्यक्रम की पढ़ाई कर सकें।
केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि किसी भी विद्यार्थी पर कोई भाषा थोपी नहीं जाएगी लेकिन उनको सक्षम बनाने के प्रावधान जरूर किए जाएंगे जिससे कोई भी होनहार विद्यार्थी इसलिए तकनीकी शिक्षा से वंचित न रह जाए क्योंकि वह अंग्रेजी भाषा नहीं जानता था।
उन्होंने कहा कि सभी हितधारकों द्वारा राष्ट्रीय शिक्षा नीति -2020 के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए सम्मिलित प्रयास किए जा रहे हैं।
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