Sunday, June 8, 2025
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अमरनाथ यात्रा भारत की आत्मा का जागरण है, श्रद्धालु निर्भय होकर करे यात्राः अवधेशानन्द

हरिद्वार ( कुलभूषण ) श्रीनगर में अमरनाथ श्राइन बोर्ड की 49वीं बैठक जम्मू-कश्मीर के माननीय उपराज्यपाल मनोज सिन्हा की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई। यह बैठक आगामी अमरनाथ यात्रा 2025 की तैयारियों को लेकर अत्यंत महत्वपूर्ण और दूरदर्शी रही, जिसमें यात्रा मार्गों की सुरक्षा, तीर्थयात्रियों की सुविधा और समग्र अनुभव को बेहतर बनाने पर विशेष बल दिया गया।

बैठक की गरिमा को श्रीमत् परमहंस परिव्राजकाचार्य, जूनापीठाधीश्वर, आचार्यमहामण्डलेश्वर स्वामी अवधेशानन्द गिरि महाराज की उपस्थिति ने और अधिक प्रेरणादायक बना दिया।

 

स्वामी अवधेशानंद महाराज ने कहा— “अमरनाथ यात्रा केवल एक धार्मिक यात्रा नहीं, बल्कि यह भारत की सनातन संस्कृति का जीवंत उत्सव है, जो राष्ट्र की आत्मा और संवेदनशीलता को साकार करती है। यहाँ भक्त बाबा अमरनाथ शिव की उस अलौकिक और विराट दिव्यता के दर्शन करते हैं, जो भारत के हर हृदय में धड़कती है। यह यात्रा भारत की आत्मा को अनुभव करने का एक अनुपम अवसर है।”

 

“आज का कश्मीर नया कश्मीर है – शांति, शक्ति और सनातन संस्कृति की पुनर्जनन का प्रतीक अमरनाथ यात्रा इस परिवर्तन की जीवंत सिद्धि बनकर उभर रही है, जो हर भारतीय के हृदय को गर्व और आनंद से भर देगी।

 

 

बैठक में बताया गया कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की सफलता के पश्चात यात्रा मार्ग – विशेषकर पहलगाम और बालटाल – पूर्णतः सुरक्षित और व्यवस्थित हैं। एसएएसबीऔर प्रशासन द्वारा विश्वस्तरीय सुविधाओं की व्यवस्था की जा रही है, जिनमें अत्याधुनिक चिकित्सा सुविधाएँ, आरामदायक आवास, पौष्टिक भोजन और आपातकालीन सेवाएँ शामिल हैं।

 

बैठक में लिए गए प्रमुख निर्णयों में शामिल हैं:यात्रा मार्गों पर आधुनिक चिकित्सा केंद्र और हेल्थ यूनिट की स्थापना- त्वरित आपदा प्रतिक्रिया दल की तैनाती- सूचना एवं सहायता केंद्रों का निर्माण- स्थानीय प्रशासन, सुरक्षा बल और स्वैच्छिक संस्थाएँ एकजुट होकर कार्य करेंगे।

 

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में जम्मू-कश्मीर में शांति और स्थायित्व की पुनर्स्थापना ने इस यात्रा को एक राष्ट्रीय गौरव का अवसर बना दिया है। इस वर्ष की यात्रा न केवल सुरक्षित और सुव्यवस्थित होगी, बल्कि यह श्रद्धालुओं के लिए एक अलौकिक और अविस्मरणीय आध्यात्मिक अनुभव बनेगी।

 

बैठक में जम्मू-कश्मीर के डीजीपी, मुख्य सचिव, सेना और प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारीगण भी उपस्थित रहे, जिनके सुझावों और समन्वय से इस यात्रा की रूपरेखा को ठोस स्वरूप मिला।

 

SASB सभी श्रद्धालुओं से अपील करता है कि वे निर्धारित पंजीकरण प्रक्रिया का पालन करते हुए यात्रा में सम्मिलित हों और बाबा अमरनाथ के दिव्य दर्शन कर भारत की सनातन परंपरा का अनुभव करें।

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