देहरादून, प्रदेश में जून से राशन वितरण की नई व्यवस्था लागू की जाएगी, जिसमें बायोमीट्रिक ई-पॉस मशीनों का इस्तेमाल किया जाएगा। इसके तहत राज्य के पांच जिलों में ई-पॉस के जरिए राशन वितरण की प्रक्रिया शुरू की जा रही है। इसके साथ ही इन मशीनों का वितरण भी लगातार किया जा रहा है, और कर्मचारियों को प्रशिक्षण कार्यक्रम के माध्यम से इस प्रणाली के उपयोग में निपुण बनाया जा रहा है। खाद्य आयुक्त कार्यालय द्वारा जारी किए गए निर्देशों के अनुसार जून से बाकी आठ जिलों में भी इस नई व्यवस्था को लागू कर दिया जाएगा। यह कदम राशन वितरण में पारदर्शिता, सटीकता और अनुशासन लाने के उद्देश्य से उठाया गया है, ताकि लाभार्थियों को सही समय पर और सही मात्रा में राशन मिल सके।
खाद्य आयुक्त हरिचंद्र सेमवाल ने राशन विक्रेताओं की मांगों को ध्यान में रखते हुए ई-पॉस मशीनों के इस्तेमाल में कुछ रियायतें दी हैं। उनका कहना हैं कि राशन वितरण में आने वाली परेशानियों और सरकारी राशन विक्रेताओं के ई-पॉस मशीनों के इस्तेमाल में अभ्यस्त होने की उम्मीद में ऑनलाइन राशन वितरण व्यवस्था को 30 सितंबर तक प्रभावी रखने का निर्णय लिया गया है। इस अवधि के दौरान ऑफलाइन या मैनुअल खाद्यान्न वितरण की अनुमति नहीं होगी, ताकि राशन वितरण की प्रक्रिया पूरी तरह से डिजिटल और पारदर्शी हो सके। खाद्य आयुक्त ने कहा कि बीते अप्रैल से जनपद हरिद्वार और ऊधमसिंह नगर में ई-पॉस मशीनों के माध्यम से ऑनलाइन राशन वितरण किया जा रहा है। दूसरे चरण में मई से रूद्रप्रयाग, देहरादून और बागेश्वर में ई-पॉस मशीनें दी जा रही हैं। अब तीसरा और अंतिम चरण जून से निर्धारित है, जब शेष जनपदों को शामिल करके समस्त राज्य में शतप्रतिशत ई-पॉस के माध्यम से राशन वितरण किया जाएगा।यह कदम खाद्यान्न वितरण में सुधार और सटीकता लाने के उद्देश्य से उठाया गया है, साथ ही राशन विक्रेताओं को ई-पॉस सिस्टम में पूरी तरह से प्रशिक्षित होने का समय भी मिल सके।
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