नई दिल्ली, केंद्रीय कर्मचारियों को मोदी सरकार ने कोरोना संकट के बीच बड़ा तोहफा दिया है। सरकार ने पूर्वोत्तर, लद्दाख, अंडमान निकोबार द्वीप समूह और जम्मू-कश्मीर की यात्रा के लिए कर्मियों का लीव ट्रैवल अलाउंस (एलटीए) की सुविधा दो साल के लिए बढ़ा दी है। केंद्रीय कार्मिक राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने यह जानकारी साझा की है, सिंह के मुताबिक कर्मचारियों को एलटीसी के लिए सवेतन छुट्टियों के साथ-साथ आने-जाने के ट्रैवल अलाउंस का भुगतान किया जाएगा। प्राइवेट एयरलाइन्स से भी इन जगहों पर विजिट किया जा सकता है। हवाई यात्रा के इकोनॉमी क्लास के टिकट बुक किए जा सकते हैं।
केंद्रीय कार्मिक राज्य मंत्री ने आगे बताया ‘गैर पात्र सरकारी कर्मचारियों के लिए हवाई यात्रा की सुविधा उपलब्ध होगी। यह सभी सुविधाएं 25 सितंबर, 2022 तक के लिए बढ़ाई गई हैं यानी कर्मचारी छुट्टियां मनाने के लिए पूर्वोत्तर, लद्दाख, अंडमान निकोबार द्वीप समूह और जम्मू-कश्मीर की यात्रा कर सकते हैं।’
बता दें कि केंद्रीय कर्मियों को सरकार की तरफ से एलटीए ऑफर किया जाता है। इसके तहत कर्मचारी और अधिकारी कहीं घूमने जाएं तो उन्हें ट्रैवल अलाउंस क्लेम की सहुलियत मिलती है। कर्मचारी अपने परिवार के साथ या अकेले घूमने जा सकते हैं |
इन सरकारी कर्मचारियों के वेतन में कटौती का फैसला
कोरोना संकट के चलते केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनर्स पर महंगाई भत्ते (डीए) कटौती की सीधी मार पड़ रही है। सरकार ने इस साल अप्रैल में फैसला लिया था कि कर्मचारियों और पेंशनर्स का जनवरी 2020 से जून 2021 तक महंगाई भत्ता नहीं बढ़ेगा। ऐसे में एलटीए पर सरकारी कर्मचारियों के लिए सरकार का यह फैसला राहत भरा है।
पेंशन मामले में सैनिक के परिवारों को बड़ी राहत
मंत्रालय ने रक्षा कर्मियों को बड़ी राहत दी है। मंत्रालय ने इनहांस्ड आर्डनरी फेमिली पेंशन (ईओएफपी) पाने के लिए सात साल की न्यूनतम निरंतर सेवा के नियम को निरस्त कर दिया है। यह पेंशन रक्षा कर्मियों की मृत्यु की स्थिति में उनके परिवार को दी जाती है। रक्षा मंत्रालय ने इस संबंध में कहा है कि 7 साल की निरंतर योग्यता की आवश्यकता (EOFP प्राप्त करने के लिए) 1 अक्टूबर, 2019 से निरस्त कर दिया गया है। मंत्रालय के बयान में कहा गया है कि एक ईओएफपी कर्मियों के पिछली सैलरी का 50% होता है और यह कर्मियों की मृत्यु की तारीख से 10 साल के लिए दिया जाता है।
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